बूढी गंडक व बागमती लाल निशान पार, गंडक की थमी रफ्तार
जिले से गुजरने वाली नदियों का जलस्तर बढ़ रहा है।

मुजफ्फरपुर : जिले से गुजरने वाली नदियों का जलस्तर बढ़ रहा है। बूढी गंडक का जलस्तर 53.48 मीटर पर बह रहा है। जबकि खतरे का निशान 52.53 मीटर पर चिन्हित है। बागमती नदी का जलस्तर 54.60 मीटर जबकि खतरे का निशान 55.23 मीटर पर चिन्हित है। गंडक का जलस्तर 54.05 पर चिन्हित है। जबकि खतरे का निशान 54.41 मीटर पर चिन्हित है। बाढ से दो लाख 67 हजार 5 सौ59 की आबादी प्रभावित है। मिठनसराय, विजयी छपरा, शहर के निचले इलाके सिकंदरपुर कुंडल, बालाट, झीलनगर, कर्पूरी नगर, आश्रम घाट, छिट भगवतीपुर इलाके में बाढ़ से तबाही है। सिकंदरपुर कुंडल, बालूघाट के निचले इलाके में घर से आने के लिए नाव का उपयोग कर रहे हैं। विजयी छपरा में एक छत से दूसरे छत पर जाने के लोग चचरी बनाए हैं।
रेलवे लाइन पर नहीं सुरक्षा, जान पर खतरा
मिठनसराय जाने के लिए रेलवे लाइन के नीचे अंडरपास बना है। उसमें छह फीट पानी की धार इतनी तेज की उसमें नाव नहीं जा सकती। इस बीच गांव से नाव से चढ़कर लोग आ-जा रहे हैं। पैगंबरपुर कोल्हुआ मिठनसराय विकास समिति के संस्थापक अधिवक्ता अरुण पांडेय के आवास के आगे तक आकर नाव छोड़ रहे हैं। उसके फिर दूसरी नाव से रेलवे लाइन पार कर फोरलेन पर पहुंच रहे। रेलवे लाइन पर रेलवे या पुलिस प्रशासन की ओर से कोई सुरक्षा नहीं रहने से जान जोखिम में डालकर लोग इस पार से उस पार तक जा रहे हैं। ग्रामीणों ने बताया कि रेलवे विभाग की ओर से सुरक्षा का इंतजाम होना चाहिए। रेलवे लाइन के दोनों तरफ रोशनी की व्यवस्था हो ताकि रात में किसी इमरजेंसी में लोग इस पार से उस पार तक आ जा सके। मुखिया इंद्रमोहन झा, मुखिया प्रतिनिधि वकील सहनी, ग्रामीण गोपल सिंहं ने कहा कि गाव में जहां लोग फंसे हैं, उनके लिए प्रशासन को ठोस कदम उठाना चाहिए। फोरलेन से रेलवे लाइन तक एप्रोच पथ का निर्माण अविलंब कराया जाए ताकि लोगों को राहत मिले।
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