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    Bihar Tourist Place: भीमबांध बनेगा पर्यटन का प्रमुख केंद्र, 54.35 करोड़ से बदल जाएगी सूरत

    Updated: Tue, 23 Dec 2025 12:31 PM (IST)

    बिहार के मुंगेर जिले में स्थित भीमबांध अब पर्यटन का केंद्र बनेगा। इसके विकास के लिए 54.35 करोड़ रुपये की परियोजना शुरू की गई है। यह क्षेत्र अपनी प्राक ...और पढ़ें

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    भीमबांध वन्यजीव अभयारण्य का भविष्य। फाइल फोटो

    स्मार्ट व्यू- पूरी खबर, कम शब्दों में

    मनीष कुमार, मुंगेर। जिले के हवेली खड़गपुर प्रखंड क्षेत्र स्थित प्रसिद्ध पर्यटन स्थल भीमबांध का जल्द ही कायाकल्प होने वाला है। भीमबांध को वन्य जीव आश्रयणी को वन्यजीव अभ्यारण्य का रूप दिया जाएगा। साथ ही आसपास के क्षेत्र में पर्यटक तथा नागरिक सुविधाएं विकसित की जाएगी।

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    इसके लिए राज्य सरकार ने 54.35 करोड़ के डीपीआर को स्वीकृति दे दी है। भीमबांध क्षेत्र में भीमबांध से बेलटांड होते हुए चोरमारा तक के क्षेत्र के विकास पर कुल 54.35 करोड़ रुपये खर्च किए जाएंगे। इस मद का खर्च निम्न अनुसार होगा:

    • गर्म पानी के झरने (दो झरने) के निर्माण पर 3 करोड़ रुपये
    • वेटिंग एरिया, रिसेप्शन और रेस्टोरेंट के साथ आदिम ब्लाक एंट्रेंस प्लाजा निर्माण पर 2.75 करोड़ रुपये
    • वेलनेस सेंटर, एक्सपीरियंस सेंटर और इंडोर स्पोर्ट्स एरिया के विकास पर 6.75 करोड़ रुपये
    • वयस्कों और बच्चों के लिए एक्टिविटी एरिया विकास पर 3.50 करोड़ रुपये
    • चोरमारा में नेचुरल स्पा सेंटर और आयुर्वेद गांव के विकास पर 3.50 करोड़ रुपये
    • भीमबांध में आगंतुकों के लिए वर्कशाप एरिया के विकास पर 2.75 करोड़ रुपये
    • तीस ट्री हाउस कॉटेज के निर्माण पर 3.50 करोड़ रुपये
    • नदी के पास बेलटांड में वयस्क और बच्चों के लिए एक्टिविटी एरिया के विकास पर 4.50 करोड़ रुपये
    • फूड कियोस्क के निर्माण पर 2.25 करोड़ रुपये
    • पार्किंग एरिया निर्माण पर 1.15 करोड़ रुपये
    • ट्रैकिंग रूट 2 किमी (पहाड़ी की चोटी पर मंदिर तक) के निर्माण पर 0.85 करोड़ रुपये
    • लैंडस्केप और साइनेज पर 2.75 करोड़ रुपये
    • पास के गांव में सामुदायिक सुविधा केंद्र के निर्माण पर 15.00 करोड़ रुपये
    • दो पक्षी देखने के टावर निर्माण पर 0.95 करोड़ रुपये
    • पहाड़ पर दो व्यू प्वाइंट निर्माण पर 1.15 करोड़ रुपये

    जीविकोपार्जन को मिलेगा बढ़ावा

    क्षेत्र के जनसांख्यिकीय सर्वेक्षणों के आधार पर इस क्षेत्र में जीविकोपार्जन को बढ़ावा के उद्देश्य से मुर्गी पालन, बकरी पालन, मछली पालन, हर्बल तेल निकालने और दवा बनाने के लिए प्रोसेसिंग यूनिट स्थापना, आयुर्वेदिक जड़ी-बूटियों का औषधालय की स्थापना के अलावा पेड़ लगाने (जैसे, महोगनी, साल, आदि), फलों के बाग, हस्तशिल्प और हाथ से बनी चीजें को बढ़ावा देने का प्रस्ताव है।

    सामुदायिक विकास को लगेगा पंख

    भीमबांध क्षेत्र में विविध आजीविका सृजन किया जाएगा। इससे स्थानीय समुदाय का आर्थिक उत्थान होगा। इससे समुदाय को मजबूत करने, उसकी लचीलापन और समृद्धि सुनिश्चित किया जा सकेगा। वहीं दूसरी ओर पर्यटक सुविधाओं के विकास से आगंतुक आकर्षित होंगे। इससे स्थानीय अर्थव्यवस्था में योगदान मिलेगा।

    विकसित होगा इको टूरिज्म

    सरकार की पहल से भीमबांध वन्यजीव अभयारण्य के लिए इको-टूरिज्म विकास होगा। भीम सेन कुंड के पास, आम जनता के लिए एक गर्म पानी का झरना बनाया जाएगा। इसमें एक टिकट काउंटर, स्मारिका दुकान, कार्यशाला और प्रशिक्षण क्षेत्र के साथ एक व्याख्या गैलरी और एक वेलनेस सेंटर बनेगा है।

    ये सुविधाएं आम जनता और रिसार्ट में रहने वाले दोनों के लिए सुलभ होंगी। काटेज और निजी पूल के साथ एक अलग गर्म पानी का झरना भी बनाया जाना है, जो आवास और पूरे भीमबांध सर्किट का अनुभव करने का कराएगा। पहाड़ी की चोटी पर चढ़ने के लिए दो किमी का ट्रेकिंग मार्ग भी बनाया जाएगा।इससे क्षेत्र का आर्थिक और सामाजिक दोनों स्तर पर विकास होगा।