Trending

    Move to Jagran APP
    pixelcheck
    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    Madhubani : एनएच-227 पर रातभर सुलगता रहा तनाव, मुठभेड़ के दावे पर सवाल, व्यापारियों के गंभीर आरोप

    By Braj Mohan Mishra Edited By: Dharmendra Singh
    Updated: Wed, 17 Dec 2025 08:04 PM (IST)

    मधुबनी के लौकहा थाना क्षेत्र में एनएच-227 पर पुलिस कार्रवाई के दौरान तनाव बढ़ गया। पुलिस ने मुठभेड़ और हथियार बरामदगी का दावा किया है, जबकि व्यापारियो ...और पढ़ें

    Hero Image

    मामले की छानबीन करने लौकहा थाना पर पहुंचे डीएसपी व अन्य। जागरण

    संवाद सहयोगी खुटौना मधुबनी । लौकहा थाना क्षेत्र के एनएच-227 पर चन्नीपुर–पिपराही गांव के समीप मंगलवार की रात कथित पुलिस कार्रवाई के दौरान हालात उस समय तनावपूर्ण हो गए, जब पुलिस ने मुठभेड़ जैसी स्थिति, फायरिंग और हथियार बरामदगी का दावा किया।

    विज्ञापन हटाएं सिर्फ खबर पढ़ें

    वहीं दूसरी ओर, स्थानीय व्यापारियों और ईंट भट्ठा संचालक पक्ष ने पुलिस पर अवैध वसूली, डराने-धमकाने और फर्जी मामले में फंसाने के गंभीर आरोप लगाए हैं। घटना को लेकर क्षेत्र में दिनभर तरह-तरह की चर्चाएं होती रहीं और लोगों में भय व आक्रोश का माहौल बना रहा।

    पुलिस का दावा: लौकहा थाना में पदस्थापित पु.नि. सह थानाध्यक्ष अखिलेश कुमार के अनुसार, 16 दिसंबर की रात करीब 8:30 बजे सूचना मिली कि चन्नीपुर मार्ग से काले रंग के वाहन द्वारा गांजा तस्करी की जा सकती है। इसके बाद धौकड़ा नदी पुल के समीप एनएच-227 पर निगरानी शुरू की गई।

    रात करीब 10 बजे संदिग्ध वाहन को रोकने का प्रयास किया गया, लेकिन वाहन सवारों ने कथित रूप से गेट नहीं खोला। इसी दौरान 15–20 लोगों की भीड़ एकत्र हो गई। पुलिस का कहना है कि भीड़ ने गाली-गलौज व धक्का-मुक्की शुरू कर दी और एक व्यक्ति ने कट्टा निकालकर दो राउंड फायरिंग की।

    स्थिति बिगड़ने पर अतिरिक्त बल बुलाया गया, जिसके बाद कुछ लोग वाहन लेकर फरार हो गए। मौके से राहुल कुमार (29) एवं नथुनी सिंह (60) को गिरफ्तार किया गया। पुलिस का दावा है कि काले रंग की जिमनी (BR07BG8545) से 315 बोर का जिंदा कारतूस बरामद किया गया, जबकि एक बलेनो कार (BR07AX1734) को भी जब्त किया गया है।

    पीड़ित व्यापारियों का आरोप: घटना को लेकर स्थानीय व्यापारियों एवं आशिर्वाद ईंट भट्ठा संचालक पक्ष ने पुलिस कार्रवाई पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं। उनका आरोप है कि ईंट भट्टा का आग प्रज्वलित में दुर दुर से लोग आए थे और एक भोज का आयोजन किया गया था जिसमें लोग खाना खाकर घरों को लौट रहे थे।

    पुलिस ने गश्ती के नाम पर बिना नंबर प्लेट की वाहन जो मालखाने की है से उन्हें रोका, सर्विस रिवॉल्वर दिखाकर डराया और अवैध वसूली का दबाव बनाया। व्यापारियों का कहना है कि विरोध करने पर फर्जी मामलों में फंसाने की धमकी दी गई। आरोप है कि मौके से मजदूरों सहित दो लोगों को जबरन थाने ले जाया गया, हालांकि बाद में मजदूरों को छोड़ दिया गया।

    व्यापारियों ने पुलिस के दावों पर सवाल उठाते हुए कहा कि यदि वास्तव में जिंदा कारतूस बरामद हुए तो उसकी वीडियोग्राफी मौके पर पीओ द्वारा क्यों नहीं कराई गई। वहीं, यदि फायरिंग हुई तो मौके से खोखा क्यों बरामद नहीं हुआ। इन सवालों ने पुलिस की कार्रवाई पर संदेह को और गहरा कर दिया है।

    व्यापारियों का कहना है कि इस घटना के बाद इलाके में भय का माहौल है और पुलिस की कार्यप्रणाली को लेकर आम लोगों का भरोसा डगमगाया है। निष्पक्ष जांच की मांग: घटना को लेकर पुलिस और व्यापारियों के दावों में स्पष्ट विरोधाभास सामने आने के बाद स्थानीय लोगों ने निष्पक्ष और उच्चस्तरीय जांच की मांग की है।

    सोशल मीडिया पर वायरल बताए जा रहे वीडियो की स्वतंत्र पुष्टि दैनिक जागरण नहीं करता। इस संबंध में फुलपरास एसडीपीओ ने बताया कि पूरे मामले की गंभीरता से जांच की जा रही है। गिरफ्तार व्यक्तियों के आपराधिक पृष्ठभूमि सहित सभी तथ्यों की पड़ताल के बाद निष्पक्ष कार्रवाई की जाएगी।