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    Katihar News: आठवीं की छात्र ने AI को सिखाई गणित, हल करके भेजा सवाल का जवाब; एआई ने की तारीफ

    कटिहार के एक छात्र रमण कुमार ने एआई चैटजीपीटी को गणित का सवाल सिखाया। एआई ने पहले गलत उत्तर दिया जिसके बाद रमण ने उसे सही हल भेजा। एआई ने अपनी गलती मानी और छात्र को प्रशंसा पत्र दिया। रमण के माता-पिता बेटे की इस उपलब्धि से बहुत खुश हैं।

    By Ashish Kumar Singh Edited By: Divya Agnihotri Updated: Thu, 29 May 2025 03:06 PM (IST)
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    आठवीं के छात्र रमण कुमार ने सुधारी AI की गलती, मिला प्रशस्ति पत्र

    आशीष सिंह चिंटू, कटिहार। शहर स्थित एक स्कूल के आठवीं के छात्र रमण कुमार ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (AI) चैटजीपीटी की गलती सुधारते हुए उसे गणित सिखाई। इसके बाद एआई ने अपनी गलती मानते हुए छात्र को प्रशस्ति पत्र प्रदान किया है।

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    इस छात्र ने एक सवाल के जवाब में एआई की ओर से की गई गलती को सुधारकर उस सवाल का सही जवाब बनाकर भेजा था। बरारी प्रखंड के बारीनगर काढ़ागोला रोड निवासी रणवीर कुमार चौधरी के पुत्र रमण कुमार ने बताया कि गणितीय समीकरण का एक सवाल उसने एआई को हल करने के लिए प्रेषित किया।

    सवाल के जवाब में थे 4 ऑप्शन

    इसमें चार विकल्प भी दिए गए थे। इसमें एक विकल्प 2/300 और इसमें से कोई नहीं भी था। एआई ने इसका जवाब तुरंत 2/300 दिया। बताया की गणितीय समीकरण का हल सबसे सरलतम रूप या न्यूनतम पद में होना चाहिए। अमन ने फिर सवाल को खुद से हल किया और जवाब सरलतम रूप में नहीं आने पर इसमें से कोई नहीं विकल्प को सही मानते हुए एआई को मेल किया।

    पहले दिन नहीं मानी गलती

    अमन ने बताया कि पहले दिन एआई अपनी बात पर अड़ा रहा। फिर दूसरे दिन उस गणितीय समीकरण को पूरी तरह हल कर एआई को भेजा गया तथा बताया कि सरलतम रूप वाली स्टेप को स्किप कर दिया गया है।

    अमन से समीकरण का हल स्टेप बाय स्टेप करते हुए अंतिम भिन्न को सरलम बनाकर एआइ को बताया कि इस गणितीय समीकरण का सही जवाब 1/150 है जो विकल्प में मौजूद नहीं है। इसलिए सही जवाब इनमें से कोई नहीं विकल्प होगा।

    तब एआई ने इसे सही माना और प्रशस्ति पत्र प्रदान करते हुए अमन की प्रशंसा की। कहा कि आपके प्रदर्शन और स्टेप बाय स्टेप हल से तर्क संबंधी त्रुटि की पहचान चैटजीपीटी को हुई है।

    अपने बेटे की इस उपलब्धि पर माता सरिता कुमारी व पिता रणवीर कुमार चौधरी फूले नहीं समा रहे हैं। उन्होंने कहा कि इससे इस बात की संतुष्टि मिली कि बेटे की पढ़ाई सही दिशा में जा रही है। वो सिर्फ बेटे की पढ़ाई के लिए ही कटिहार शहर में किराए पर रहते हैं।