जमुई इंजीनियरिंग कॉलेज में छात्र ने आत्महत्या का किया प्रयास, प्रिंसिपल पर लगाए गंभीर आरोप
जमुई इंजीनियरिंग कॉलेज में प्रिंसिपल की डांट से नाराज एक छात्र ने आत्महत्या करने की कोशिश की लेकिन उसे बचा लिया गया। छात्र प्रिंस राज ने प्रिंसिपल पर मानसिक रूप से प्रताड़ित करने और कॉलेज से निकालने की धमकी देने का आरोप लगाया है। पुलिस ने छात्र का बयान दर्ज कर लिया है।

संवाद सहयोगी, जमुई। जमुई इंजीनियरिंग कॉलेज में प्रिंसिपल के डांट से नाराज थर्ड ईयर के छात्र ने गुरुवार की देर रात बंद कमरे में फांसी लगाकर आत्महत्या करने का प्रयास किया।
हालांकि, साथी छात्रों के द्वारा फौरन उसे बचा कर सदर अस्पताल में भर्ती कराया गया। छात्र की पहचान जहानाबाद जिले के घोसी गांव निवासी धर्मेंद्र कुमार के पुत्र प्रिंस राज के रूप में हुई है।
प्रिंस राज ने प्रिंसिपल डॉक्टर आशीष कुमार पर मानसिक रूप से प्रताड़ित करने ब्लैकलिस्टेड कर कॉलेज से निकालने की धमकी देने का आरोप लगाया है।
सूचना पर टाउन थाना की पुलिस ने सदर अस्पताल पहुंचकर छात्र का बयान लिया। छात्र ने बताया कि प्रिंसिपल डॉक्टर आशीष कुमार के द्वारा बच्चों को टारगेट कर मनमानी किया जाता है। उसे धमकी दी जाती है और प्रताड़ित भी किया जाता है।
आगे छात्र प्रिंस राज ने बताया कि हॉस्टल में कुछ सामानों की तोड़फोड़ हुई थी। उस वक्त लाइट कटा हुआ था। अंधेरा था किसी ने तोड़फोड़ करते नहीं देखा था, लेकिन प्रिंसिपल डॉ. आशीष कुमार के द्वारा 10 लड़कों का लिस्ट तैयार किया गया और तोड़फोड़ का आरोप उनपर लगाए जाने लगा, फिर गार्जियन को जबरन बुलाने की बात कही गई।
जिससे वे भी तनाव में आ गए और आत्महत्या का प्रयास किया। उन्होंने बताया कि प्रिंसिपल की डांट से वह इस कदर तनाव में हो गए थे कि उसे कुछ पता ही नहीं चला। हालांकि, सदर अस्पताल में इलाजरत प्रिंस राज की हालत फिलहाल खतरे से बाहर बताई जा रही है।
क्या कहते हैं वार्डन
वहीं, वार्डन डॉ. गोपाल कुमार ने बताया कि कुछ त्रुटि की वजह से हॉस्टल में लाइट नहीं थी। जिस वजह से सभी बच्चे हंगामा करने लगे और कुर्सी टेबल वह अन्य सामग्री तोड़ो- फोड़ की। जिस वजह से कुछ लड़कों से प्रिंसिपल द्वारा पूछताछ की जा रही थी और गार्जियन को बुलाने की बात कही गई थी।
इसी रंजिश में पता चला कि प्रिंस राज ने फांसी लगाने का प्रयास किया है। उसके बाद वे लोग आए और प्रिंस राज को सदर अस्पताल में भर्ती कराया। उन्होंने बताया कि छात्र द्वारा लगाया गया आरोप गलत है। किसी छात्र को टारगेट नहीं किया जाता है।
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