Gopalganj: ठोस अपशिष्ट प्रबंधन को सुदृढ़ करने के लिए प्रशासन सक्रिय, 215 पंचायतों में कचरा उठाव शुरू
गोपालगंज जिले में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन को सुदृढ़ करने के लिए प्रशासन सक्रिय है। तीन चरणों में 215 पंचायतों में कचरा उठाव शुरू हो गया है। जिले के 1326 गांवों में से 1276 ओडीएफ प्लस हो चुके हैं जिसका लक्ष्य स्वच्छ और समृद्ध गांव बनाना है। गोबर गैस और कम्पोस्ट खाद का उत्पादन प्लास्टिक कचरा प्रबंधन और घरेलू जल प्रबंधन पर भी कार्य किया जा रहा है।
जागरण संवाददाता, गोपालगंज। जिले में ठोस अपशिष्ट प्रबंधन की व्यवस्था को चुस्त-दुरुस्त बनाने के लिए प्रशासनिक स्तर पर कवायद अंतिम चरण में पहुंच गई है। तीन चरणों में जिले की 230 में से 215 पंचायतों में कचरा उठाव शुरू कर दिया गया है।
अंतिम चरण में जिले की शेष पंचायतों को ओडीएफ प्लस बनाया जाएगा। इससे ग्राम पंचायतों में स्वच्छ गांव और समृद्ध गांव की परिकल्पना साकार हो सकेगी। प्रशासनिक आंकड़ों के अनुसार जिले के कुल 1326 गांवों में से 1276 गांव ओडीएफ प्लस हो चुके हैं। यह कुल लक्ष्य का करीब 96 प्रतिशत है।
जानकारी के अनुसार वर्ष 2021 में गांवों को ओडीएफ प्लस बनाने के अभियान के दूसरे चरण में सर्वेक्षण का कार्य किया गया। जिले के 1326 गांवों के सर्वेक्षण के आंकड़े सामने आने के बाद लोहिया स्वच्छ बिहार अभियान के तहत ओडीएफ प्लस का दूसरा चरण शुरू किया गया।
वर्ष 2021 के अंत में सरकार के निर्देश के आलोक में गांवों को ओडीएफ प्लस बनाने की कार्ययोजना के तहत कर्मियों को प्रशिक्षण देने का कार्य प्रारंभ किया गया। इसी बीच, जनवरी 2022 में प्रथम चरण में जिले की 52 पंचायतों को ओडीएफ प्लस बनाने के निर्णय के बाद चिन्हित पंचायतों में कार्य प्रारंभ किया गया।
अभियान के दूसरे चरण में जिले की 56 पंचायतों और तीसरे चरण में 107 पंचायतों को ओडीएफ प्लस बनाने का कार्य पूरा कर लिया गया है। इस अभियान में कुल 1326 गांवों में से 1276 गांव ओडीएफ प्लस बन चुके हैं।
ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन पर कार्य
इस अभियान के तहत चिन्हित पंचायत के गांवों में ठोस एवं तरल अपशिष्ट प्रबंधन पर कार्य किया जा रहा है। ठोस अपशिष्ट पदार्थ में गोबर से गोबर गैस तैयार की जाएगी। कम्पोस्ट तैयार कर कृषि में उपयोग किया जाएगा। पर्यावरण संरक्षण हेतु प्लास्टिक अपशिष्ट प्रबंधन पर कार्य किया जाएगा।
इसके तहत प्लास्टिक अपशिष्ट को एकत्रित कर नष्ट किया जाएगा। तरल अपशिष्ट प्रबंधन के अंतर्गत, समुदाय को घर से निकलने वाले गंदे पानी को सोखने योग्य बनाकर घरेलू स्तर पर ही उसका प्रबंधन करने के लिए प्रोत्साहित किया जा रहा है।
किस प्रखंड में कितने गांव खुले में शौच से मुक्त (ODF)
प्रखंड | कुल गांव | खुले में शौच से मुक्त (ODF) गांव |
---|---|---|
बैकुंठपुर | 80 | 76 |
बरौली | 70 | 70 |
भोरे | 143 | 135 |
विजयपुर | 118 | 113 |
गोपालगंज | 58 | 54 |
हथुआ | 90 | 86 |
कटेया | 100 | 96 |
कुचायकोट | 212 | 209 |
मांझा | 94 | 92 |
पंचदेवरी | 98 | 97 |
फुलवरिया | 98 | 95 |
सिधवलिया | 45 | 44 |
थावे | 46 | 45 |
उचकागांव | 74 | 71 |
कुल | 1326 | 1276 |
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