भारतीय पर्यटकों के लिए नेपाल ने खोले नए रास्ते, नीतियों में किया अहम बदलाव
नेपाल सरकार ने भारतीय पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए बड़ा फैसला लिया है। अब पर्यटक 4 लाख 25 हजार रुपये तक नकद ले जा सकते हैं। इस निर्णय से पर्यटन स्थलों पर पर्यटकों को सुविधा होगी और पर्यटन व्यवसाय को बढ़ावा मिलेगा। होटल संचालकों और व्यापारियों ने इस कदम का स्वागत किया है जिससे भारत-नेपाल के संबंध मजबूत होंगे।

जागरण संवाददाता, रक्सौल (पूच)। नेपाल सरकार ने चालू वित्तीय वर्ष के बजट में बड़ा निर्णय लेते हुए भारतीय पर्यटकों को आकर्षित करने के लिए अपनी नीतियों में महत्वपूर्ण बदलाव किया है। इससे न केवल भारत-नेपाल सीमावर्ती क्षेत्रों में खुशी की लहर है, बल्कि नेपाल के होटल और पर्यटन व्यवसायियों में भी उत्साह देखा जा रहा है।
नेपाल के बजट के बिंदु संख्या 405 में यह व्यवस्था की गई है कि देशी और विदेशी पर्यटक अब नेपाल में प्रवेश के समय अधिक मात्रा में नकद राशि ला सकेंगे। अब तक जहां केवल 25 हजार रुपये तक की भारतीय मुद्रा ले जाने की अनुमति थी, वहीं अब यह सीमा बढ़ाकर 4 लाख 25 हजार रुपये कर दी गई है।
नेपाली मुद्रा में यह राशि 6 लाख 80 हजार रुपये और अमेरिकी डॉलर में लगभग 5 हजार डॉलर के बराबर होगी। इसके अलावा ट्रैवेलर्स चेक आदि को भी शामिल किया गया है।
पर्यटकों को होगी सुविधा
यह फैसला विशेष रूप से लुंबिनी, काठमांडू, पशुपतिनाथ, जनकपुर, पोखरा और चितवन जैसे प्रमुख पर्यटन स्थलों पर आने वाले पर्यटकों के लिए राहतभरा साबित होगा। इससे पर्यटक अब अपनी यात्रा के दौरान जरूरत के अनुसार खर्च कर सकेंगे, जिससे पर्यटन व्यवसाय को भी गति मिलेगी।
होटल संचालकों ने फैसले का किया स्वागत
काठमांडू के पांच सितारा होटल संचालक इच्छा बागले ने सरकार के इस निर्णय को स्वागत योग्य बताते हुए कहा कि इससे न केवल पर्यटकों को सुविधा होगी बल्कि नेपाल को पर्यटन क्षेत्र से अधिक राजस्व भी प्राप्त होगा।
नेपाल राष्ट्र बैंक के पूर्व कार्यकारी निदेशक ने दिया सुझाव
नेपाल राष्ट्र बैंक के पूर्व कार्यकारी निदेशक भास्कर ज्ञावली ने इस व्यवस्था के सफल क्रियान्वयन के लिए भारतीय रिजर्व बैंक से समन्वय की आवश्यकता पर बल दिया है।
उन्होंने भारत के विदेशी विनिमय कानून (फेमा) के अंतर्गत नेपाल और भूटान के लिए विशेष प्रावधानों के तहत 2000, 1000 और 500 रुपये के नोटों की अनुमति देने का सुझाव दिया है।
व्यापार और पर्यटन दोनों को मिलेगी गति
इधर, रक्सौल के प्रमुख व्यापारिक संगठन चेंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्रीज के अध्यक्ष राकेश कुशवाहा, नितिन कुमार, संरक्षक शिवपूजन प्रसाद, आलोक श्रीवास्तव, शंभु प्रसाद चौरसिया और अरुण कुमार गुप्ता समेत कई व्यापारियों ने नेपाल सरकार के इस निर्णय का स्वागत किया है।
उन्होंने नेपाल के अर्थमंत्री विष्णु प्रसाद पौडेल का आभार व्यक्त करते हुए कहा कि यह कदम दोनों देशों के व्यापारिक और पर्यटन संबंधों को सशक्त बनाएगा।
व्यापारियों ने इसके साथ ही नेपाल सरकार से यह भी मांग की है कि भारतीय वाहनों को बिना इंट्री टैक्स सिमरा एयरपोर्ट तक प्रवेश की अनुमति दी जाए। इससे व्यापार और पर्यटन दोनों को गति मिलेगी और सीमावर्ती क्षेत्रों के लोगों को भी सुविधा प्राप्त होगी।
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