महिला बोली- मां दुर्गा ने मांगी है मेरी एक आंख, और फिर किया ये काम
बिहार के दरभंगा जिले में एक महिला भक्त ने खुद अपनी आंख निकालकर देवी दुर्गा के चरणों में चढ़ा दी। घटना के बाद महिला को अस्पताल में भर्ती करवाया गया ह ...और पढ़ें

दरभंगा [जेएनएन]। बिहार के दरभंगा जिले के एक दुर्गा मंदिर में उस समय अफरा-तफरी का माहौल कायम हो गया, जब महिला ने अपनी आंख निकालकर माता के चरणों में चढ़ाने का प्रयास किया। महिला को आनन-फानन में डीएमसीएच में भर्ती करवाया गया है।
दरभंगा जिले के बहेड़ी थाने के सिरुआ गांव में आस्था की पराकाष्ठा का मामला सामने अाया है। शनिवार को देवी भक्त एक युवती ने मां दुर्गा को अपनी एक आंख अर्पित करने के लिए अपने ही हाथों से निकालने का प्रयास किया। इस क्रम में उसकी बायीं आंख गंभीर रूप से जख्मी हो गई।
डॉक्टरों का कहना है कि उस आंख की राेशनी जा भी सकती है। उसका इलाज डीएमसीएच में चल रहा है। जानकारी के मुताबिक सिरुआ गांव के अरुण कुमार सिंह की बेटी सोना कुमारी उर्फ कोमल (18) मां दुर्गा की परम भक्त है। वह प्रति दिन सुबह शाम मां दुर्गा की पूजा अर्चना करती है।
शनिवार की सुबह वह हर वर्ष की भांति चैती नवरात्र में गांव में स्थापित मां दुर्गा की प्रतिमा के समक्ष से निकाली गई कलश शोभा यात्रा में हिस्सा ली। यात्रा का समापन पंडाल में आकर हुआ। उसके बाद कोमल ने मां के चरणों में अपनी बायीं आंख निकालने का प्रयास किया। जिसमें उसकी बायींं आंख गंभीर रूप से जख्मी हो गई। यह देख आसपास के लोगों ने आननफानन में उसे डीएमसीएच में भर्ती कराया। इमरजेंसी वार्ड में उसकी बायीं आंख को चिकित्सकों ने ऑपरेशन करके निर्धारित स्थान पर रख दिया।
घायल युवती ने बताया कि उसे दो तीन दिन पूर्व भगवती ने एक आंख दान में देने का स्वप्न दिया। इसी को लेकर उसने भगवती को आंख देने का प्रयास किया। उसने अंगुली से आंख निकलने का प्रयास किया। जानकारी के अनुसार युवती ने पुजारी उमेश झा से कहा कि वह अपनी एक आंख भगवती को चढ़ाउंगी। इसके बाद वह मंदिर के अंदर गई और भगवती की मूर्ति के सामने आंख निकालने का प्रयास किया। इस दौरान उसकी बायीं आंख का तीन चौथाई हिस्सा निकल चुका था। उस समय घायल युवती के चेहरे पर कोई दर्द या पश्चाताप नहीं था। 
खून से लथपथ युवती पर नजर अन्य श्रद्धालुओं की नजर पड़ी। लोगों ने उस युवती को गंभीर अवस्था में डीएमसीएच ले जाने के लिए प्रयास किया तो वह इलाज नहीं कराने की बात कही। लोगों ने घायल युवती को किसी तरह डीएमसीएच में भर्ती कराया। युवती ने सीटी स्कैन के दौरान गले में पहनी भगवतीजी का लॉकेट उतारने को तैयार नहीं थी। उसके हाथ में भगवती की एक छोटी मूर्ति भी थी। वह भगवती की पूजा पाठ 12 साल से करती आ रही है। वह मैट्रिक फेल कर गई थी। उसके बाद उसने आगे की पढाई नहीं की। घर में ही पूजा पाठ करने लगी
युवती की आंख गंभीर: डॉ. मनोज
आंख रोग विभाग के अध्यक्ष डॉ. मनोज कुमार ने बताया कि घायल युवती की आंख गंभीर अवस्था में है। उसका आई बाॅल तय जगह से तीन चौथाई निकल चुका है। रोशनी आने की संभावना कम है। फिर भी कुछ रोशनी लाने के लिए इलाज जारी है।

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