बिहार और बंगाल की सीमा को जोड़ता है यह चचरी पुल, बाढ़ में रोड ध्वस्त होने के बाद लोगों ने खुद तैयार किया पुल
बिहार का यह चचरी पुल किसी गांव टोला या जिले की सीमा को नहीं बल्कि दो राज्यों की सीमो को जोड़ता है। कटिहार में स्थित इस चचरी पुल के सहारे बिहार और ...और पढ़ें

अमदाबाद (कटिहार), मनीष कुमार सिंह। चचरी पुल। आम तौर पर दियारा इलाके में देखने को मिलता है। लेकिन एक ऐसा भी चचरी पुल है, जो दो राज्यों की सीमाओं को जोड़ता है।
दरअसल, बिहार और बंगाल को अमदाबाद प्रखंड क्षेत्र में सड़कों की हालत जर्जर होने के कारण लोगों को आवागमन में परेशानी का सामना करना पड़ रहा है। प्रखंड के पहाड़पुर बांध से होते हुए पश्चिम बंगाल के गरैया गांव तक जाने वाली सड़क की हालत भी खस्ता है। बाढ़ में सड़क ध्वस्त हो जाने के कारण कई स्थानों पर कङ्क्षटग हो जाने से लोगों को चचरी पुल बना आवागमन के लिए विवश होना पड़ रहा है।
सात वर्षों से जर्जर हालत में है सड़क
महानंदा बांध के पहाड़पुर के समीप से पड़ोसी राज्य पश्चिम बंगाल के गरैया गांव को जोडऩे वाली सड़क सात वर्ष पूर्व बाढ़ में क्षतिग्रस्त हो गई थी। सड़क की मरम्मत को लेकर अब तक कोई पहल नहीं की गई है। सड़क पर बन आए कङ्क्षटग पर ग्रामीण आपसी सहयोग से चचरी पुल बना बंगाल तक पहुंचते हैं। स्थानीय लोग व्यापारिक कारोबार व खरीदारी के लिए भी बंगाल के बाजार पर निर्भर हैं। पश्चिम बंगाल से दूरी कम होने के कारण घरेलू सामान की खरीदारी भी बंगाल के बाजार से की जाती है।
क्या कहते हैं ग्रामीण
ग्रामीण मसौवर आलम, गुड्डू कयुम, शंकर तांती, जमाल, हजरत आदि ने बताया कि यह सड़क अमदाबाद के पहाड़पुर को पश्चिम बंगाल के गरैया गांव से जोड़ती है। बंगाल तक आवागमन के लिए यह मुख्य सड़क है। बैरिया, रघुनाथपुर केवाला मिली मजहर टोला आदि गांव के ग्रामीण इसी सड़क होकर गरैया गांव के रास्ते महानंदा नदी तक जाते हैं। नदी पार कर बंगाल के दूसरे शहर तक पहुंचते हैं। इस सड़क होकर प्रतिदिन 10 हजार से अधिक लोग आवगामन करते हैं।
चचरी पुल बना करते हैँ आवागमन
ग्रामीणों ने बताया कि रोजी रोजगार व व्यापारिक कारोबार के लिए सैकड़ों लोग बंगाल आना जाना करते हैं। सड़क क्षतिग्रस्त होने के कारण ग्रामीण चचरी पुल बना आवागमन करते हैं। बंगाल का बाजार नजदीक होने के कारण दैनिक उपयोग से संबंधित सामान भी क्षेत्र के लोग बंगाल से ही खरीदते हैं। ग्रामीणों ने कहा कि सड़क की मरम्मत होने से बंगाल तक आवागमन में सुविधा होगी।

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