भकचोन्हर के बाद बिहार की राजनीति की डिक्शनरी में जुड़ा लबरा-लबरी, भागलपुर वालों ने बताया इसका अर्थ
बिहार की राजनीति की डिक्शनरी में भकचोन्हर के बाद एक और शब्द जुड़ा लबरा-लबरी। यह मगही और भोजपुरी शब्द है। आज कल इन शब्दों ने यहां खूब चर्चा हो रही है। इसका सही अर्थ जानने के लिए भागलपुर के साहित्यकार से संपर्क किया तो उन्होंने बताया...

आनलाइन डेस्क, भागलपुर। इन दिनों बिहार की राजनीति में नए-नए शब्दकोश जुड़ रहे हैं। भकचोन्हर के बाद अब लबरा-लबरी ने एंट्री ले ली है। राजनीति की डिक्शनरी में इन शब्दों के असल मायने लोग इंटरनेट पर सर्च करने लगे हैं। दरअसल, राजद सुप्रीमो लालू यादव ने जहां कांग्रेस प्रदेश प्रभारी भक्त चरण दास को भकचोन्हर कहा था, तो वहीं अब हम प्रमुख जीतन राम मांझी की बहू ने तेजस्वी यादव को लबरा और उनकी बहन रोहिणी को लबरी कह ये शब्द राजनीति की डिक्शनरी में जोड़ दिया है।
मांझी की दीपा मांझी ने अपने ट्विटर हैंडल पर लिखा, 'लबरी बहन के लबरा भाई तेजस्वी यादव (टैग करते हुए) जी, अनाज की रक्षा के लिए हमनी पोठली में सल्फास की गोली रखते हैं ताकि कीड़ा न लगे। अब ओकरा कोई खाएगा तो एह में सरकार का करेगा। वइसेही दारू बंद है, अब आपका लोग जहरीला दारू बेचवाएगा तो जनता मरबे न करेगा। आप भी जागरूकता फैलाइए, सिर्फ आरोप मत लगाइए।'
यहां दीपा मांझी ने रोहिणी आचार्या को फिर एक दफा निशाने पर लिया है। इससे पहले उन्होंने रोहिणी को लबरी कह दिया था। अब उन्होंने तेजस्वी पर बड़ा बयान दिया है। लबरी-लबरा शब्दों के असल मायने क्या हैं ये जानने के लिए हमने भागलपुर के अंगिका, हिंदी और मगही के जानकार गीतकार और कवि राजकुमार से संपर्क किया। उन्होंने बताया कि लबरी-लबरा लोकोक्ति है। लोकभाषा का प्रचलित शब्द है। मगही और भोजपुरी भाषा में इसे ज्यादा इस्तेमाल किया जाता है। हालांकि इस शब्द का प्रयोग हरेक जगह होता है। उन्होंने कहा कि जरुरत से ज्यादा बोलने वाले लड़के को लबरा और ज्यादा बोलने वाली लड़की को लबरी कहा जाता है। यहां ज्यादा बोलने का अभिप्राय यह है कि जानकारी कुछ नहीं खाली टर-टर बोलना। या यूं कहें तत्थविहीन बकवास।
भकचोन्हर को लेकर तिमांविवि के सेवानिवृत प्रो डा मथूरा दूबे ने कहा कि यह भोजपुरी का शब्द है। भक यानी जिसका आंख काम नहीं करता हो। चोन्हर का मतलब है कि आंख के आगे अंधेरा। इस लोकोक्ति में आंख का मतलब विवेक से है। इस मततब है अकबका गए। जवाब नहीं है। वहीं, गीतकार राजकुमार ने कहा कि भकचोन्हर मगही और भोजपुरी शब्द है। इसका भी प्रयोग लगभब सब जगह होता है। भकचोन्हर, यानी जो देखकर भी नहीं देख पा रहा हो। हकीकत की जानकारी नहीं हो। समझदारी की कमी हो। भकचोन्हर लोकभाषा शब्द है।
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