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    ग्यारहवीं शरीफ पर खानकाह शहबाजिया में चादरपोशी, नातगो ने पेश किए अपने-अपने कलाम

    By Dilip Kumar ShuklaEdited By:
    Updated: Sat, 28 Nov 2020 07:56 AM (IST)

    उर्स पाक गौस पाक की पुण्य तिथि पर खानकाश शहबाजिया में तकरीर का आयोजन हुआ। नातिया मुशायरा में नातगो ने पेश किए अपने-अपने कलाम। मुए मुबारक गिलाफे काबा तस्बीह मुबारक का कराया गया दर्शन। लोगों ने दुआ मांगी।

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    खानकाह शबाजिया में तबर्रुकात का दर्शन कराते (बायें) गद्दीनशीं हजरत इंतखाब आलम अता शहबाजी मियां साहब

    भागलपुर, जेएनएन। पीरों के पीर बड़े पीर (गौस पाक) के उर्स पाक ग्यारहवीं शरीफ के मौके पर शुक्रवार को मुल्लाचक शरीफ स्थित खानकाह शहबाजिया में कई कार्यक्रम हुए। दिन में शजराखानी व रात में सुल्तानुल आरफीन हजरत शहबाज मुहम्मद भागलपुरी के मजार पर चादरपोशी की गई। तकरीर व नातिया मुशायरे का आयोजन किया गया।

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    ग्यारहवीं शरीफ के मौके पर खानकाह स्थित शाहजहांनी मस्जिद और गद्दी पर शजराखानी की गई। बड़ी संख्या में आए लोग गद्दीनशीं से मुरीद भी हुए। शाहजहांनी मस्जिद में अस्र की नमाज के बाद शाम चार बजे से गद्दीनशीं के अलावा नाएब सज्जादा सैयद शाह शानदार आलम शहबाजी, मौलाना सैयद शाह शाहकार आलम शहबाजी और सैयद शाह अहरार आलम शहबाजी ने मौजूद लोगों को हजरत मुहम्मद सअव. और गौस पाक के मुए मुबारक (दाढ़ी के बाल), सुल्तानुल आरफीन हजरत शहबाज मुहम्मद भागलपुरी का अमामा (पोशाक) मुबारक, असा मुाबरक का दस्ता, उनकी तस्बीह, गिलाफे काबा और सभी पूर्व सज्जादानशीनों की तस्बीह का जियारत (दर्शन) कराया। इस मौके पर मदरसा जामिया शहबाजिया के हेड मुदर्रिस मुफ्ती फारूक आलम अशरफी मिस्बाही के आलावा सभी खानवादा मौजूद थे।

     

    रात नौ गद्दीनशीं हजरत इंतखाब आलम अता शहबाजी मियां साहब ने चादरपोशी की। चादरपोशी के बाद सामूहिक दुआ भी की गई। गद्दीनशीं की अध्यक्षता में आयोजित कार्यक्रम की देर रात पटना के कारी कैसर ने तिलावते कुरान से शुरुआत की। उत्तरप्रदेश के मौलाना मुफ्ती अतहर हुसैन जियायी ने तकरीर पेश की। अपनी तकरीर में उन्होंने गौस पाक की जीवनी पर प्रकाश डालते हुए लोगों से उनके बताए मार्ग पर चलने का आह्वान किया। वहाब सालिक के संचालन में आयोजित नातिया मुशायरा में कोलकाता के नातगो इश्तियाक रहबर, हाफिज शम्स रजा, बांका के मौलाना तुफैल अहमद मिस्बाही, भागलपुर के हाफिज गुलजार और हाफिज तारिक के अलावा मदरसा जामिया शहबाजिया के छात्रों ने नातिया कलाम पेश किए। प्रात: चार बजे पुराना महल स्थित तबर्रुकातखाना के निकट सलात व सलाम के साथ उर्स का समापन किया गया।