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    Bihar Teacher Recruitment : भागलपुर शिक्षा विभाग ने चौथे चरण की रिक्तियों का विवरण भेजा मुख्यालय, आप भी जान लीजिए

    By Abhishek PrakashEdited By: Dilip Kumar Shukla
    Updated: Fri, 19 Dec 2025 07:49 PM (IST)

    भागलपुर शिक्षा विभाग ने चौथे चरण की शिक्षक नियुक्ति के लिए रिक्तियों का विवरण मुख्यालय को भेज दिया है। जिले के प्राथमिक विद्यालयों में नए शिक्षक नहीं ...और पढ़ें

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    प्रतीकात्मक तस्वीर

    जागरण संवाददाता, भागलपुर। बिहार लोक सेवा आयोग के चौथे चरण की शिक्षक नियुक्ति प्रक्रिया से जिले के प्राथमिक विद्यालयों को नए शिक्षक नहीं मिलेंगे। इसका मुख्य कारण यह है कि जिले में प्राथमिक स्तर पर छात्र-शिक्षक अनुपात पहले से ही निर्धारित मानक के अनुसार पूरा है। जिला शिक्षा विभाग से प्राप्त आंकड़ों के अनुसार कक्षा 1 से 5 तक पढ़ने वाले कुल 2 लाख 14 हजार 770 बच्चों के लिए 7 हजार 56 शिक्षक कार्यरत हैं। ऐसे में प्राथमिक स्तर पर नई नियुक्ति की आवश्यकता नहीं मानी गई है।

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    भागलपुर जिले को प्राथमिक स्कूलों में नहीं मिलेंगे शिक्षक

    हाल ही में जिला शिक्षा विभाग द्वारा चौथे चरण की रिक्तियों का विवरण मुख्यालय को भेजा गया है। इसमें कक्षा 6 से 12 तक के लिए कुल 506 पदों को रिक्त दर्शाया गया है। यानी इस चरण में नियुक्ति का लाभ मुख्य रूप से माध्यमिक और उच्च माध्यमिक स्तर के विद्यालयों को मिलेगा।

    • विभागीय निर्देश के बाद जनवरी से डीएम के नेतृत्व में बनेगी टीम, छात्र शिक्षक अनुपात पर शिक्षकों का होगा रेशेलाइजेशन
    • जिले में ई-शिक्षाकोष के मुताबिक 5 पांच 36 हजार 81 बच्चों को पढ़ने के लिए 16823 शिक्षक
    • जिले में बीपीएससी के चौथे चरण में कक्षा 6 से 12वीं तक के 506 पद खाली

     

    स्कूलों में छात्र शिक्षक अनुपात में असमानता बरकरार


    हालांकि जिले में शिक्षकों की उपलब्धता के बावजूद अधिकांश विद्यालयों में असमानता की स्थिति बनी हुई है। दर्जनों ऐसे विद्यालय हैं जहां छात्रों की संख्या कम है, लेकिन शिक्षकों की संख्या अपेक्षाकृत अधिक है। वहीं कई विद्यालय ऐसे भी हैं जहां छात्रों की संख्या अधिक है, लेकिन शिक्षकों की भारी कमी है। जिले में कुल 5 लाख 31 हजार बच्चों को शिक्षा देने के लिए 16 हजार 682 शिक्षक मौजूद हैं, लेकिन इनका समुचित वितरण नहीं होने से शिक्षा व्यवस्था प्रभावित हो रही है। इसी असमानता को दूर करने के लिए शिक्षकों के रेशलाइजेशन की आवश्यकता है, ताकि सभी विद्यालयों में एक समान छात्र-शिक्षक अनुपात सुनिश्चित किया जा सके और बच्चों की पढ़ाई बाधित न हो।


    1 से 5 तक के दो लाख 14 हजार 750 बच्चों को पढ़ने के लिए 7056 शिक्षक हैं मौजूद


    जिला शिक्षा पदाधिकारी राजकुमार शर्मा ने रेशलाइजेशन पर विभाग की ओर से कोई विस्तृत गाइडलाइंस प्राप्त नहीं हुई है। मुख्यालय से निर्देश प्राप्त होने के बाद रेशलाइजेशन को लेकर कार्ययोजना तैयार की जाएगी। योजना के अनुसार जिलाधिकारी के नेतृत्व में जिला शिक्षा समिति इस प्रक्रिया को पूरा करेगी।

    इन स्कूलों से समझिए क्यों है जरूरी रेशलाइजेशन

    • नारायणपुर प्रखंड के प्राथमिक विद्यालय चकरामी ब्राह्मण टोला में अभी 5 बच्चे हैं। इन्हें पढ़ने के लिए पांच शिक्षक मौजूद हैं।
    • नाथनगर प्रखंड के प्राथमिक विद्यालय भरत रसलपुर मैं छात्रों की संख्या 10 है। जिनको पढ़ाने के वाले पांच शिक्षक हैं।
    • नारायणपुर प्रखंड के अंतर्गत उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय दुधैला में 24 छात्र को पढ़ाने के लिए 10 शिक्षक तैनात हैं।