भागलपुर सहित 7 जिले पर्यटन केंद्र के रूप में होंगे विकसित, स्थानीय लोगों को मिलेगा रोजगार
भागलपुर समेत बिहार के सात जिलों में पर्यटन विकास की योजना शुरू की गई है। बिहार स्टेट टूरिज्म डेवलपमेंट कारपोरेशन (बीएसटीडीसी) ने इसके लिए कंसल्टेंट एज ...और पढ़ें

अभिषेक प्रकाश, भागलपुर। जिले के प्रमुख पर्यटन स्थलों का कायाकल्प करने की दिशा में बड़ा कदम उठाया गया है। बिहार स्टेट टूरिज्म डेवलपमेंट कॉरपोरेशन (बीएसटीडीसी) ने डेस्टिनेशन स्ट्रेटेजी डेवलपमेंट प्लान के तहत भागलपुर सहित सात जिलों बांका, जमुई, मुंगेर, लखीसराय, कैमूर और रोहतास में पर्यटन विकास की व्यापक रूपरेखा तैयार करने की प्रक्रिया शुरू कर दी है।
इसके लिए जल्द ही एक कंसल्टेंट एजेंसी का चयन किया जाएगा, जो जिलों में मौजूद प्रमुख ऐतिहासिक व धार्मिक स्थलों का भौतिक मूल्यांकन तथा पर्यटक आगमन के आधार पर विकास योजना एवं डीपीआर (विस्तृत परियोजना रिपोर्ट) तैयार करेगी।
एजेंसी चयन के बाद तीन महीने के भीतर डीपीआर सौंपना अनिवार्य होगा, जिसके आधार पर पर्यटन स्थलों को सशक्त एवं आकर्षक स्वरूप देने की दिशा में कार्य शुरू होगा।
क्या है उद्देश्य?
डेस्टिनेशन स्ट्रेटेजी प्लान का उद्देश्य इन स्थलों को राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय पर्यटन मानचित्र पर स्थापित करना है। इसके लिए पर्यटकों की सुविधाओं को सुदृढ़ किया जाएगा। जिसमें सड़क मार्ग सुधार, सुरक्षित पार्किंग, स्वच्छ शौचालय, पेयजल, प्रकाश व्यवस्था, बेंच, साइनेज बोर्ड, हैंडीक्राफ्ट स्टाल, ई-गाइड सुविधा, ऑनलाइन बुकिंग, पहले दर्जे के होटल-गेस्ट हाउस, फूड कोर्ट, आपात चिकित्सा सहायता, सुरक्षा व्यवस्था, टूरिस्ट इंफॉर्मेशन सेंटर समेत सभी आवश्यक सुविधाएं शामिल होंगी।
पर्यटन हब बनने से स्थानीय स्तर पर होगा रोजगार का सृजन
भागलपुर जिले में विभागीय सूत्र के मुताबिक इस योजना से विक्रमशिला विश्वविद्यालय, बटेश्वरस्थान, शाहकुंड पहाड़, अजगैबीनाथ धाम, कहलगांव स्थित तीन पहाड़ को प्रमुख पर्यटन स्थल के रूप में सूचीबद्ध किया गया है।
इन जगहों पर पर्यटन हब बनने से साथ ही स्थानीय स्तर पर रोजगार सृजन होगा, आसपास के लोगों को टूर गाइड, स्टाल संचालन, परिवहन और सेवाओं में सहभागिता दी जाएगी। स्थानीय उत्पादों को ब्रांडिंग कर हस्तशिल्प बाजार एवं फूड फेस्टिवल के रूप में बढ़ावा मिलेगा।

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