Updated: Wed, 10 Sep 2025 02:40 PM (IST)
भागलपुर के शिक्षा विभाग में सीआरसी राशि के बंदरबांट का मामला सामने आया है। प्रधानाध्यापिका रिंकू कुमारी ने प्रधानाध्यापक शशि शेखर गुप्ता पर सरकारी पद का दुरुपयोग करने का आरोप लगाया है। उन्होंने कहा कि ग्रांट की राशि से खरीदे गए सामान का वाउचर उनके घर के पते का है। डीपीओ ने मामले की जांच का आश्वासन दिया है।
जागरण संवाददाता, भागलपुर। शिक्षा विभाग में आए दिन अजीबोगरीब मामला सामने आता रहता है। एक बार फिर जिला शिक्षा विभाग में सीआरसी की राशि के बंदरबांट का मामला सामने आया है। मामला नारायणपुर प्रखंड के काम्प्लेक्स रिसोर्स सेंटर उत्क्रमित उच्च माध्यमिक विद्यालय दुधैला से जुड़ा हुआ है।
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वर्तमान में मध्य विद्यालय दुधैला की प्रधानाध्यापिका रिंकू कुमारी ने डीपीओ स्थापना को भेजे गए पत्र में सीआरसी ग्रांट की राशि को लेकर लिखा है कि प्रखंड संसाधन केंद्र के लेखापाल मनोज कुमार एवं मध्य विद्यालय आठगामा के प्रभारी प्रधानाध्यापक शशि शेखर गुप्ता दोनों बिजनेस पार्टनर हैं।
सीआरसी कंपोजिट ग्रांट 2024-25 की जो राशि आई थी, उसके माध्यम से जो समान खरीदारी की गई है वह मध्य विद्यालय आठगामा के प्रभारी प्रधानाध्यापक शेखर गुप्ता के आवास की है। जिस कंपनी का वाउचर दिया गया है, वह उनके घर के पते का है।
प्रभारी प्रधानाध्यापक शशि शेखर गुप्ता द्वारा नारायणपुर प्रखंड के 10 संकुल में जो बिल उपलब्ध कराया गया है, उन सभी का पता उनके घर का है। इसके अलावा जो बिल पर प्रोपराइटर के हस्ताक्षर हैं, वह भी शशि शेखर गुप्ता का ही है। यानी मध्य विद्यालय आठगामा के प्रभारी प्रधानाध्यापक शेखर गुप्ता द्वारा सरकारी पद पर रहते हुए अपनी खुद की कंपनी स्थापित कर उसी के माध्यम से सरकारी योजनाओं का फायदा लेते हैं।
प्रधानाध्यापिका ने शिकायत पत्र में यह भी लिखा है कि सीआरसी को जो सामान उपलब्ध कराए गए थे, बिल के अनुसार वह अब तक नहीं मिला है। इस संदर्भ में डीपीओ स्थापना अमरेंद्र कुमार पांडे ने कहा कि जो पत्र मिला है, वह एसएसए से जुड़ा हुआ है। पत्र वहां फॉरवर्ड कर दिया गया है। जांच के बाद जो रिपोर्ट आएगी, उस अनुसार कार्रवाई होगी।
प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी नहीं आते हैं स्कूल की जांच में
प्रधानाध्यापिका रिंकू कुमारी ने पत्र में लिखा है कि मध्य विद्यालय दुधैला गंगा नदी के दो धार के बीच स्थित है। जहां आने-जाने का रास्ता अत्यंत दुर्गम और कठिन है। उन्होंने प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को लेकर लिखा है कि वह स्कूल जांच में नहीं आते हैं। बीते दो वर्षों से लगातार निरीक्षण का काम चल रहा है, जिसमें सिर्फ एक बार ही वे विद्यालय आए हैं। बांकी कागजी खाना पूर्ति करके निरीक्षण रिपोर्ट भेजते हैं।
मेरे संबंधी की है कंपनी, मेरी नहीं
इस संदर्भ में जब मध्य विद्यालय आठगामा के प्रभारी प्रधानाध्यापक शशि शेखर गुप्ता से बात की गई तो उन्होंने कहा कि कंपनी मेरे घर के पते पर है, लेकिन वह कंपनी मेरी नहीं, मेरे एक संबंधी की है। उन्होंने हस्ताक्षर को लेकर बताया कि मैं शशि शेखर गुप्ता लिखता हूं, लेकिन जो हस्ताक्षर किया गया है उसमें कुमारी लिखा हुआ है। इस दौरान उन्होंने कई बार यह भी कहीं कि आप हमसे आकर मिलिए।
यह मामला सीआरसी ग्रांट से जुड़ा है। मामले की जानकारी मिली है। पत्र को मैंने देखा है। इसकी जांच कराई जाएगी। प्रधानाध्यापिका ने जो भी बातें लिखी है, अगर उसमें से कोई भी बातें जांच में सही पाई जाती है, तो संबंधित पर विधिसम्मत कार्रवाई की जाएगी। - बबीता कुमारी, डीपीओ एसएसए
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