प्रेमिका ने आशिक से मांगा था पति की मौत का तोहफा, आशिक ने मुस्कुराते हुए दिया ऐसा गिफ्ट
31 दिसंबर 2021 को बिहार के पूर्णिया जिले में एक हत्या हुई। गोली मारकर की गई मेडिकल स्टोर संचालक मोहन चंद्र दास की इस हत्या के पीछे चौंकाने वाला खुलासा हुआ है। मोहन की पत्नी ने नए साल में अपने आशिक से उसकी लाश तोहफे में मांगी थी।

जागरण संवाददाता, पूर्णिया: Bihar News- गत 31 दिसंबर की रात्रि सहायक मरंगा थाना क्षेत्र के सत्संग विहार मरंगा निवासी दवा दुकानदार मोहन चंद्र दास की गोली मार की गई हत्या का पुलिस ने पर्दाफाश कर दिया है। इस पूरी वारदात के केंद्र में पति, पत्नी व वो की कहानी रही है। मृतक की पत्नी चुमकी दास ने ही अपने प्रेमी आयुष कुमार उर्फ सौरभ की मिलीभगत से मोहन चंद्र की हत्या करवाई थी। हत्या के लिए 31 दिसंबर का चयन भी खास मकसद से किया गया था। चुकि चुमकी ने अपने आशिक से नए साल के तोहफा में अपने पति की मौत की मांग की थी, इसलिए हत्या की तारीख 31 दिसंबर मुकर्रर हुआ था। इसके लिए प्रेमी ने पांच लाख की सुपारी दी थी।
बहरहाल पुलिस ने इस हत्याकांड के मास्टर माइंड सह आशिक आयुष कुमार उर्फ सौरभ के साथ मृतक की पत्नी चुमकी दास के अलावा घटना को अंजाम देने वाले तीन अपराधियों को भी दबोच लिया है। गिरफ्तार आयुष कुमार उर्फ सौरभ पिता कुमार साह केनगर थाना क्षेत्र के परोरा का रहने वाला है। घटना को अंजाम देने वाले अपराधियों में गौरव कुमार, रमण कुमार व मनीष कुमार भी केनगर थाना क्षेत्र के परोरा का ही रहने वाला है। पुलिस ने अपराधियों के पास से नौ मोबाइल, घटना में प्रयुक्त दो अपाचे व एक लिवो समेत तीन बाइक व हत्या के एवज में दिए गए पांच लाख रुपये में से 54 हजार नकद भी बरामद किया है। यह प्राथमिकी मृतक के भाई दीपक दास ने दर्ज कराई थी।
इस घटना को लेकर एसपी दयाशंकर द्वारा एसडीपीओ सदर सुरेंद्र कुमार सरोज के नेतृत्व में विशेष टीम का गठन किया गया था। इस टीम में मरंगा थानाध्यक्ष पुअनि मिथिलेश कुमार, पुअनि जितेंद्र राणा, पुअनि मनीष चंद्र यादव, परिक्ष्यमान पुअनि आनंद कुमार, परि. पुनि पूजा गुप्ता, सअनि संजीव रंजन लाल एवं तकनीकी शाखा के रोहित कुमार एवं इंद्रजीत कुमार शामिल थे। एसडीपीओ सुरेंद्र कुमार सरोज ने बताया कि वैज्ञानिक व तकनीकी अनुसंधान एवं साक्ष्य संकलन कर टेक्नीकल सर्विलांष एवं साक्ष्य के आधार टीम ने पहले मास्टर माइंड आयुष कुमार को उसके परोरा स्थित घर से एवं आयुष की प्रेमिका तथा मृतक की पत्नी चुमकी दास को सत्संग विहार स्थित घर से गिरफ्तार किया गया। बाद में दोनों की निशानदेही पर शूटर रमन कुमार एवं उसके सहयोगी गौरव कुमार व मनीष कुमार को उसके परोरा स्थित घर से गिरफ्तार किया गया।
गत चार साल से दोनों के बीच चल रहा था प्रेम प्रसंग
एसडीपीओ ने बताया कि इस कांड के मास्टर माइंड आयुष कुमार एवं मृतक की पत्नी चुमकी दास के बीच गत चार साल से प्रेम प्रसंग चल रहा था। घटना से कुछ दिन पहले मोहन चंद्र दास को इसकी भनक लग गई। मोहन दास ने अपनी पत्नी का मोबाइल छिन लिया और उसके साथ मारपीट भी की। यह बात पत्नी के साथ उसके आशिक को भी नागवार गुजरा। ऐसे में पत्नी ने नए साल के तोहफे के रुप में पति से छुटकारा की सौगात अपने आशिक से मांग ली।
- -चुमकी ने आशिक से नए साल में मांगा था पति की मौत का तोहफा
- - प्रेमी ने पांच लाख की सुपारी देकर करवाई थी प्रेमिका के पति की हत्या
- - सत्संग विहार, मरंगा निवासी दवा दुकान मोहन चंद्र दास हत्याकांड का हुआ खुलासा
- - मृतक की पत्नी व उसके प्रेमी के साथ-साथ घटना को अंजाम देने वाले तीन अपराधी भी धराए
जमीन बेचकर बदमाशों को दिया था पैसा
एसडीपीओ ने बताया कि पूछताछ में आयुष ने यह स्वीकारा कि उसने मोहन दास की हत्या के लिए बदमाशों को अपनी जमीन बेचकर पैसा दिया था। इसमें कुछ सहयोग चुमकी दास ने किया था। चार अपराधियों ने मिलकर हत्या की घटना को अंजाम दिया था। एक फरार अपराधी की तलाश में फिलहाल छापेमारी चल रही है।
नये मोबाइल का तोहफा बन गया जी का जंजाल
मोहन दास की हत्या के बाद पुलिस ने चुमकी का मोबाइल भी जब्त कर लिया था। इधर कुछ दिन बातचीत नहीं होने पर आशिक आयुष ने फिर से एक नया मोबाइल अपनी प्रेमिका को खरीद कर दिया था। पुलिस ने बाद में उसके नए नंबर को भी सर्विलांस पर ले लिया था। इस माध्यम से पूरी कहानी खुद ब खुद बेपर्द हो गई।
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