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    Surendra Mehta: इंटर के बाद छोड़ी पढ़ाई, चुनी राजनीति, आज बछवाड़ा का लाल दूसरी बार बना बिहार का मंत्री

    By Rupesh Hans RajEdited By: Nishant Bharti
    Updated: Thu, 20 Nov 2025 12:14 PM (IST)

    सुरेंद्र मेहता, जिन्होंने इंटर के बाद पढ़ाई छोड़कर राजनीति में कदम रखा, आज बछवाड़ा के लिए गर्व का विषय हैं। वे दूसरी बार बिहार के मंत्री बने हैं। युवावस्था से ही राजनीति में सक्रिय, उन्होंने अपने क्षेत्र के विकास को प्राथमिकता दी और जनता के मुद्दों को उठाया। उनकी लोकप्रियता और कुशलता के कारण उन्हें यह महत्वपूर्ण पद प्राप्त हुआ है।

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    बछवाड़ा विधायक सुरेंद्र मेहता

    संवाद सूत्र,बछवाड़ा (बेगूसराय)। बछवाड़ा विधायक सुरेंद्र मेहता के दूसरी बार मंत्री बनाए जाने से क्षेत्र के एनडीए कार्यकर्ताओं समेत स्थानीय लोगों में हर्ष का माहौल है। सुरेंद्र मेहता के राजनीतिक जीवन की शुरुआत भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी से शुरू हुई थी। वे छात्र जीवन में एआईएसएफ से जुड़ गए थे। आगे चलकर कम्युनिस्ट पार्टी से भी जुड़े। 

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    उन्होंने वर्ष 2001 में तेघड़ा प्रखंड के क्षेत्र संख्या 17 से जिला परिषद सदस्य के रूप में चुनाव जीतकर अपनी सक्रिय राजनीतिक जीवन की शुरुआत कर दी। वर्ष 2005 के बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर तत्कालीन बरौनी विधानसभा से भाजपा प्रत्याशी के रूप में चुनाव लड़ा था। इस चुनाव में वे मामूली अंतर से चुनाव हार जाने के बाद भी पार्टी के सक्रिय कार्य करता के रूप में बने रहे। 

    2015 के चुनाव में मिली हार

    वर्ष 2010 के विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी ने उन्हें बेगूसराय नगर से प्रत्याशी घोषित किया। उक्त चुनाव में उन्होंने अपनी जीत दर्ज कर विशेष पहचान बनाई। 2015 के विधानसभा चुनाव में पार्टी ने उन्हें बेगूसराय नगर से प्रत्याशी घोषित किया। इस चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा। 

    2020 के विधानसभा चुनाव में उन्हें पार्टी ने पुनः बछवाड़ा से प्रत्याशी के रूप में मैदान में उतारा। इस चुनाव में उन्होंने अपने निकटतम प्रत्याशी भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के अवधेश कुमार राय को चार सौ चौरासी मत से पराजित कर विधायक के रूप में जीत दर्ज कर ली। 

    2025 में रिकॉर्ड वोट मिले

    पुनः वर्ष 2025 के विधानसभा चुनाव में पार्टी ने सुरेंद्र मेहता पर दांव आजमाया। 2025 के विधानसभा चुनाव में सुरेंद्र मेहता ने अपनी पिछली परिणाम का रिकॉर्ड तोड़ते हुए एक लाख तीन सौ मत हासिल कर जबरदस्त जीत दर्ज कर ली। 

    इंटर के बाद ही राजनीति में एंट्री

    विधायक सुरेंद्र मेहता के गांव के रिश्ते में चाचा उपेंद्र मेहता ने बताया कि सुरेंद्र मेहता की प्रारंभिक शिक्षा अपने गांव किरतौल से प्रारंभ हुई। उन्होंने मैट्रिक परीक्षा राधा कृष्ण चमरिया हाई स्कूल बरौनी से उत्तीर्ण करने के पश्चात जीडी कॉलेज बेगूसराय से इंटरमीडिएट की शिक्षा ग्रहण करने के पश्चात सीपीआई से जुड़ गए। 

    आगे चलकर  उन्होंने भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ग्रहण करने के पश्चात तीसरी बार विधायक चुने गए। उनके पिता स्वर्गीय पल्लव मेहता भारतीय रेल में तृतीय श्रेणी के कर्मचारियों के पद पर कार्यरत थे।