Bihar School Time Table: बिहार के सभी सरकारी स्कूलों का बदला समय, सुबह 9.30 बजे से चलेगा विद्यालय
अररिया के सरकारी स्कूलों में नया टाइम टेबल (Bihar School Time Table) लागू किया गया है, जिसके अनुसार विद्यालय सुबह 9:30 बजे से शाम 4 बजे तक चलेंगे। इसम ...और पढ़ें

सरकारी स्कूलों का बदला टाइम टेबल। (जागरण)
जागरण संवाददाता, अररिया। Bihar School Time Table: सरकारी स्कूलों के लिए नया टाइम टेबल जारी करते हुए इसे तत्काल प्रभाव से लागू किया गया है।
इसके तहत सभी सरकारी प्राथमिक, मध्य, माध्यमिक और उच्च माध्यमिक विद्यालय सुबह साढ़े नौ बजे से शाम चार बजे तक संचालित होंगे। चाहे वह सरकारी स्कूल हो या सामान्य विद्यालय या संस्कृत विद्यालय हों या उर्दू विद्यालय।
एक समान समय सारणी के अनुसार संचालित होंगे। विद्यालय की पहली घंटी सुबह दस बजे से शुरू होगी, चार बजे छुट्टी कर दी जाएगी। सुबह साढ़े नौ से दस बजे तक का समय प्रार्थना एवं अन्य शैक्षणिक-सह-सांस्कृतिक गतिविधियों के लिए निर्धारित किया गया है।
इस दौरान छात्रों की उपस्थिति सुनिश्चित करने के साथ-साथ उनके गेटअप, पोशाक, बाल और नाखून की भी जांच की जाएगी, ताकि अनुशासन और स्वच्छता पर विशेष ध्यान दिया जा सके।
40 मिनट का होगा इंटरवेल
पहली घंटी दस से 10:40 बजे तक चलेगी। दूसरी घंटी 10:40 से 11:20 बजे तक, तीसरी घंटी 11:20 से 12:00 बजे तक निर्धारित की गई है। दोपहर 12 बजे से 12:40 बजे तक 40 मिनट का मध्यांतर रहेगा।
इसी मध्यांतर के दौरान बच्चों को मध्याह्न भोजन (मिड-डे मील) परोसा जाएगा। मध्यांतर के बाद चौथी घंटी 12:40 से 1:20 बजे तक, पांचवीं घंटी 1:20 से 2:00 बजे तक, छठी घंटी दो से 2:40 बजे तक, सातवीं घंटी 2:40 से 3:20 बजे तक और आठवीं व अंतिम घंटी 3:20 से चार बजे तक चलेगी।
शनिवार को पूरे दिन गैर-शैक्षणिक गतिविधियों के लिए आरक्षित किया गया है। इन गतिविधियों में बाल संसद, खेलकूद, चित्रकला, सांस्कृतिक कार्यक्रम और अन्य रचनात्मक कार्यक्रम शामिल होंगे।
नए आदेश के अनुसार कमजोर विद्यार्थियों को कक्षा में आगे की पंक्ति में बैठाया जाएगा, ताकि शिक्षकों का उन पर विशेष ध्यान रहे और उनकी शैक्षणिक समस्याओं का समय रहते समाधान किया जा सके। इसका उद्देश्य ड्रापआउट दर को कम करना और सभी छात्रों को समान सीखने का अवसर देना है।
प्राथमिक शिक्षक संघ के जिलाध्यक्ष अब्दुल कुद्दुस ने कहा कि विभाग का सराहनीय प्रयास है। कमजोर बच्चे आगे बैठेंगें तो उसमें बेहतर एकाग्रता और टीचर बच्चे पर ज्यादा ध्यान दे पाएंगे।
शिक्षक सीधे सवाल पूछ सकते हैं और बच्चा जवाब देने में झिझकेगा नहीं, जिससे सीखने की ललक तेज होती है। वहीं प्राथमिक शिक्षक संघ के जिला उपाध्यक्ष योगेश चंद्र साह ने कहा कि बच्चों के आत्मविश्वास में वृद्धि होगी। जब बच्चे समझ पाते हैं और अच्छा करते हैं, तो उनका आत्मविश्वास बढ़ेगा।

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