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    Bihar Police करने पर आए तो क्या नहीं कर सकती? 15 लाख खाते से उड़ाने वाले साइबर फ्राड से एक-एक पाई की वसूली

    Updated: Thu, 25 Sep 2025 01:43 AM (IST)

    Bihar Police बिहार पुलिस के साइबर सेल ने साइबर फ्राड के शिकार हुए पीड़ित को उसकी एक-एक पाई की वसूली कर लौटा दी। इस मामले में 7 अपराधियों को गिरफ्तार कर पुलिस ने जेल भेज दिया है। अररिया में एक्सिस बैंक के खाते से 15 लाख 62 हजार रुपये साइबर अपराधियों ने उड़ा लिए थे।

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    Bihar Police: बिहार पुलिस के साइबर सेल ने साइबर फ्राड के शिकार पीड़ित को 15 लाख 62 हजार रुपये लौटाए।

    संवाद सूत्र, अररिया। Bihar News बिहार के अररिया में साइबर थाना पुलिस ने फारबिसगंज (अड़ाराहा) एक्सिस बैंक शाखा के खाते से फ्राड हुए 15 लाख 62 हजार 201 का सफल उद्वेदन करते हुए सात लोगों को गिरफ्तार कर जेल भेज दिया है। उक्त जानकारी एसपी अंजनी कुमार ने प्रेसवार्ता कर दी। उन्होंने बताया कि 18 जून को भरगामा थाना क्षेत्र के खजुरी निवासी श्याम सुंदर यादव के पुत्र पवन कुमार, साइबर थाना में आवेदन देकर फ्राड का मामला दर्ज कराया था।

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    आवेदन में बताया गया कि उनके पिता के फारबिसगंज (अड़ाराहा) एक्सिस बैंक खाते से जुड़े मोबाइल नंबर को बदलकर अज्ञात अपराधियों द्वारा अवैध रूप से 15 लाख 62 हजार 201 की राशि निकाल ली गई हैं। मामले की गंभीरता को देखते हुए डीएसपी सह-थानाध्यक्ष रजिया सुल्तान के नेतृत्व में पु.अ.नि. सरोज कुमार, कुन्दन कुमार, मनीषा कुमारी, आपरेटर दीपक कुमार के साथ मिलकर एक विशेष छापामारी दल का गठन किया गया।

    जिसके द्वारा अनुसंधान के क्रम में वैज्ञानिक एवं तकनीकी विश्लेषण से साक्ष्य संकलित करते हुए साइबर पुलिस ने अमोद लहोटिया, प्रकाश कुमार मंडल, राजू रंजन, यश कुमार, योगेन्द्र कुमार मेहता, रसिकलाल मेहता, बरुण किशोर ठाकुर कुल सात आरोपितों को गिरफ्तार किया। जिनमें संबंधित बैंक कर्मी भी शामिल हैं। गिरफ्तार सभी आरोपितों को न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है।

    एसपी ने कहा कि पुलिस की तत्परता और अथक प्रयासों से पीड़ित पवन कुमार को उनके खाते से अवैध रूप से निकाली गई पूरी राशि उसके पिता के खाते में वापस कराया गया। साथ ही अन्य बैंक कर्मी एवं अपराकर्मी के विरूद्ध अनुसंधान जारी रखा गया है।

    दो युवकों को आजीवन कारावास की सजा

    अररिया जिला मुख्यालय स्थित ककुड़वा बस्ती निवासी सोनू आलम की मोबाइल नहीं देने पर एक साल पहले उसके दो साथियों ने चाकू से गला रेत कर हत्या कर दी। इस लंबित मामले में जिला एवं अपर सत्र न्यायाधीश चतुर्थ रवि कुमार की अदालत ने स्पीडी ट्रायल के तहत सुनवाई पूरी की। बुधवार को सजा की बिंदु पर सुनवाई करते हुए दोनों दोषसिद्ध आरोपितों को आजीवन कैद की सजा सहित 40-40 हजार रुपए जुर्माना भरने का फैसला सुनाया है। जुर्माना की राशि अदा नहीं करने पर दोनों को एक-एक साल का अतिरिक्त सजा भी काटनी होगी। दोनों दोषसिद्ध आरोपित अररिया नगर परिषद क्षेत्र के वार्ड नंबर-29 स्थित ककुड़वा बस्ती का 23 वर्षीय शहनवाज तथा 20 वर्षीय अकबर है। दोनों के खिलाफ अदालत ने सत्र वाद संख्या- 542/24 में सोनू आलम नामक एक टीन ठोकने वाले कामगार की निर्दयतापूर्ण हत्या कर शव छिपाने का आरोप प्रमाणित पाया। दोनों को हत्या के आरोप में आजीवन कैद की सजा सहित प्रत्येक को पच्चीस- पच्चीस हजार रुपए जुर्माना भरने तथा मृतक के शव छिपाने के आरोप में पांच-पांच साल की कैद सहित प्रत्येक को पंद्रह- पंद्रह हजार रुपए जुर्माना भरने का फैसला सुनाया है। साथ ही दोनों सजायें एक साथ चलने का फैसला देते हुए जुर्माना नहीं अदा करने पर एक-एक साल अतिरिक्त सजा काटने का भी फैसला हुआ है। इस मामले में सात अक्टूबर,24 को अदालत में आरोप गठित हुआ तथा 11 फरवरी, 25 से मामले का साक्ष्य के बिंदु पर ट्रायल शुरू हुआ। स्पीडी ट्रायल के तहत मात्र आठ महीने में मामला न्याय के अंतिम मुकाम पर पहुंचा, जिसमें सरकार की ओर से एपीपी प्रभा कुमारी मंडल ने तत्परता दिखाई।

    क्या थी घटना

    18 मई, 24 को दोषसिद्ध आरोपित शहनवाज तथा अकबर, सोनू आलम को अपने साथ गोपिया बाड़ी की ओर लेकर गया। इसके बाद तीनों युवक त्रिसुलिया घाट की ओर पहुंचे और गांजा पीने के दौरान मोबाइल मांगने के क्रम में दोनों सोनू से उलझ गए। इसी रंजिश में शहनवाज एवं अकबर ने सोनू के पेट व सिर पर वार कर गला काट कर उसकी हत्या कर दी। दोनों ने मृतक के शरीर में पहने कपड़े को भी छुपा दी। इस मामले में अररिया नगर थाना के थानाध्यक्ष मनीष कुमार रजक ने स्वयं सूचक बन कर 19 मई को कांड दर्ज कराया था।