13 IPS, 22 PPS और 6000 पुलिसकर्मी नहीं बचा सके छात्र की जान, नोएडा में अपहरण के बाद रेस्तरां संचालक के बेटे की हत्या
व्यापारी के बेटे के अपहरण व हत्या मामले में शहर के लोगों का गुस्सा पुलिस के प्रति सोशल मीडिया पर फूटा। विपक्ष ने भी इस मौके पर जमकर बयानबाजी की है। ग्रेटर नोएडा वेस्ट में रहने वाले यहां तक कहने को मजबूर हो गया कि पुलिस ने उनको निराश किया है। किसी भी स्तर पर पुलिस ने बच्चे को बचाने का प्रयास नहीं किया।
प्रवीण विक्रम सिंह, ग्रेटर नोएडा। बीटा दो कोतवाली क्षेत्र अंतर्गत हुए व्यापारी के बेटे के अपहरण के बाद हत्याकांड की घटना ने कमिश्नरेट पुलिस को कठघरे में खड़ा कर दिया है। व्यापारी कृष्ण शर्मा के बेटे कुनाल की बदमाशों ने हत्या कर दी और पुलिस अभी भी अपहरण मानने को तैयार नहीं है।
बयानों से लेकर लिखित जवाब में पुलिस यही कह रही है कि लड़का लड़की के साथ अपनी मर्जी से गया। पुलिस यदि मामले को अपहरण मानकर शुरू से गंभीरता से कार्रवाई करती तो छात्र की जान नहीं जाती। जिले में तैनात 13 आइपीएस, 22 पीपीएस और छह हजार पुलिसकर्मियों की फौज भी अपहृत छात्र की जान नहीं बचा पाई।
पुलिस ने नहीं माना था अपहरण
दरअसल, व्यापारी के बेटे का अपहरण करने के बाद पुलिस शुरू से मानती रही कि वह अपनी मर्जी से गया है। अपहरण के दिन ही उसकी हत्या कर दी गई और पुलिस चार दिन तक परिवार के इर्द गिर्द जांच की सुई घुमाती रही।
चार दिन पुलिस की तरफ से बरती गई लापरवाही की वजह से ही पुलिस छात्र को सकुशल बरामद नहीं कर सकी। अपहरणकांड की घटना सीसीटीवी कैमरे में कैद हुई। इसके बाद भी पुलिस आरोपितों की पहचान नहीं कर पाई है। छात्र के स्वजन पुलिस की कार्यप्रणाली पर लगातार सवाल उठा रहे है।
ऐसे मिली शव की सूचना
व्यापारी के परिचित बुलंदशहर में सिंचाई विभाग में तैनात है। उन्होंने शव मिलने की सूचना पीड़ित पिता कृष्णपाल को दी। मोबाइल पर शव का फोटो भेजा, तब पहचान करने पर पता चला कि शव छात्र कुनाल का है। यह सब होता रहा और शव मिलने की पुलिस को भनक तक नहीं लगी। स्वजन ने ही पुलिस को सूचना दी।
पुलिस को लोगों ने दौड़ाया
छात्र का शव मिलने के बाद एहतियात के तौर पर उसके गांव, रेस्टोरेंट पर पुलिस बल तैनात किया गया। तभी एक पुलिसकर्मी रेस्टोरेंट के अंदर चला गया। यह देखकर वहां मौजूद लोग भड़क गए और पुलिसकर्मी को दौड़ा लिया। इसका वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ है। लोग पुलिस को कहते सुने गए कि जान को बचा नहीं पाए, चले आए यहां।
अभिभावक यह बरतें सावधानी
- बच्चों की सुरक्षा के मद्देनजर उनको किसी अज्ञात व्यक्ति के पास न भेजे
- बच्चों को घर पर जागरूक करें कि उनको माता-पिता का मोबाइल नंबर याद हो, जरूरत पड़ते ही राहगीर से फोन लेकर फोन करें
- कोई भी चाकलेट या अन्य किसी चीज का लालच दें तो उसके पास न जाएं
छात्र का शव गांव पहुंचते ही मची चीख पुकार
छात्र कुनाल का शव रविवार शाम पांच बजे जैसे ही गांव म्याना पहुंचा तो स्वजन और ग्रामीणों में चारों ओर चीख पुकार मच गई। ग्रामीणों की पुलिस से जमकर नोक झोंक हुई। ग्रामीणों का आरोप है कि अगर पुलिस समय से कार्रवाई करती तो छात्र की जान नहीं जाती।
इस दौरान मौके पर पहुंचे जेवर विधायक धीरेंद्र सिंह के बड़े भाई ठाकुर वीरेंद्र प्रताप सिंह ने ग्रामीणों को समझा बुझाकर शांत कराया। तब जाकर ग्रामीण शव का अंतिम संस्कार करने को राजी हुए।
भारी पुलिस बल के बीच गमगीन माहौल में शव का अंतिम संस्कार कर दिया गया। इस दौरान अपर पुलिस आयुक्त शिव हरि मीणा म्याना गांव में मौजूद रहे।
मां की जलकर हुई थी मौत
ग्रामीणों ने बताया कि कुनाल जब छह महीने का था, तभी उसकी मां की संदिग्ध परिस्थिति में आग से जलकर मौत हो गई थी। कक्षा आठ के छात्र कुनाल की तीन बहनें और एक भाई है।
कुनाल छोटा था। उसकी बड़ी बहन की शादी दस मई को है। पूरा परिवार खुशी-खुशी शादी की तैयारी में लगा हुआ था, लेकिन अपहरण के बाद हुई हत्या के बाद खुशी का माहौल गम में तब्दील हो गया है।
कमिश्नरेट पुलिस के दामन पर लगा अपहरण के बाद छात्र की हत्या का चौथा दाग
- इसी वर्ष फरवरी 2024 में दनकौर के बिलासपुर क्षेत्र में व्यापारी के नाबालिग बेटे वैभव सिंघल की अपहरण के बाद हत्या
- मई 2024 में बीटा दो क्षेत्र में आठवीं के छात्र व व्यापारी के बेटे कुणाल शर्मा की हुई है अपहरण के बाद हत्या
- फरवरी 2024 में ग्रेनो की बेनेट विश्वविद्यालय के छात्र यश मित्तल की अपहरण के बाद अमरोहा में कर दी गई हत्या
- अप्रैल 2021 में दादरी में साढ़े तीन साल के बच्चे दक्ष लोहिया की अपहरण के बाद कर दी गई थी हत्या