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मसूद अजहर पर रोक लगाने के प्रस्ताव में बाकी है कसर

चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लू कांग ने कहा, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सहमति बनाने के लिए संबंधित देशों को और काम करने की जरूरत है।

By Mohit TanwarEdited By: Published: Wed, 08 Feb 2017 07:30 PM (IST)Updated: Wed, 08 Feb 2017 08:12 PM (IST)
मसूद अजहर पर रोक लगाने के प्रस्ताव में बाकी है कसर
मसूद अजहर पर रोक लगाने के प्रस्ताव में बाकी है कसर

बीजिंग, प्रेट्र। पठानकोट हमले के मास्टरमाइंड जैश-ए-मुहम्मद के सरगना मसूद अजहर को वैश्विक आतंकी घोषित करने के अमेरिकी प्रस्ताव में रुकावट डालने के लिए चीन ने सफाई दी है। चीन ने कहा है कि अभी वह स्थितियां पैदा नहीं हुई हैं जिनमें अजहर को वैश्विक आतंकी घोषित करने के प्रस्ताव का वह समर्थन करे। उल्लेखनीय है कि दो बार भारत के प्रस्ताव और हाल के अमेरिकी प्रस्ताव को मिलाकर कुल तीन बार चीन पाकिस्तान में शरण पाए आतंकी सरगना को बचा चुका है।

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चीनी विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता लू कांग ने कहा, संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद में सहमति बनाने के लिए संबंधित देशों को और काम करने की जरूरत है। 2016 में आए प्रस्ताव पर सदस्य देशों की राय अलग-अलग थी, उन्हें एकमत करने के लिए कुछ नहीं किया गया। इसीलिए चीन ने उस पर तकनीक रोक लगाई है जिससे कि सदस्य देशों को प्रस्ताव पर एकमत होने के लिए समय मिल सके। यह सुरक्षा परिषद के फैसलों के लिए जरूरी है। प्रस्ताव को अमेरिका द्वारा पेश किए जाने के महत्व पर प्रवक्ता ने कहा, सदस्य देशों का किसी प्रस्ताव पर विचार-विमर्श का अपना तरीका है, इस मामले में भी उसी का पालन किया गया है।

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प्रस्ताव को रोके जाने का भारत-चीन संबंध प्रभावित होने पर पूछे सवाल के जवाब में प्रवक्ता ने कहा, बीजिंग और नई दिल्ली मुद्दे पर विचारों का आदान-प्रदान कर रहे हैं। हमें आशा है कि इसका दोनों देशों के संबंधों पर कोई असर नहीं पड़ेगा। पूछे जाने पर कि प्रस्ताव पर चीन की लगातार तीसरी बार रोक क्या पाकिस्तान से उसके संबंधों के चलते लगी है ? लू कांग ने कहा, चीन नियम और परंपरा का पालन करते हुए कार्य करता है। भारतीय प्रस्ताव की रोक और पाकिस्तान के संबंध अलग-अलग विषय हैं।

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