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प्राणी संग्राहलय की लापरवाही से हुई पेंग्विन की मौत?

जू के सूत्रों के मुताबिक पेंग्विन को 18 अक्टूबर से ही सांस लेने में दिक्कत हो रही थी लेकिन जू कर्मियों को ऑक्सीजन की व्यवस्था करने में पांच दिन लग गए।

By Atul GuptaEdited By: Published: Wed, 02 Nov 2016 08:03 PM (IST)Updated: Wed, 02 Nov 2016 08:16 PM (IST)

मुंबई। पिछले महीने जीजामाता प्राणी संग्राहलय में हुई पेंग्विन की मौत के मामले में एक नया खुलासा हुआ है। एक अंग्रेजी अखबार की खबर के मुताबिक पेंग्विन की मौत खराब रखरखाव और आपातकालीन स्थिति में किसी भी तरह की कोई सुविधा के अभाव के वजह से हुई है। रिपोर्ट में दावा किया गया है कि जू में ऑक्सीजन सिलेंडर तक की व्यवस्था नहीं थी जिसकी वजह से पेंग्विन की मौत हो गई।


गौरतलब है कि 22 अक्टूबर को डेढ़ साल के पेंग्विन को सांस लेने में दिक्कत हो रही थी और उसे ऑक्सीजन की आवश्यक्ता थी। जू के निदेशक डॉ संजय त्रिपाठी को उस वक्त पास के बालाजी अस्पताल से ऑक्सीजन मंगवाना पड़ा था। हालांकि जू के कर्मचारियों ने एक ऑक्सीजन सिलेंडर को अब आपातकालीन स्थिति के लिए रख लिया है।

बालाजी अस्पताल के सीईओ डॉ रमेश कागजी ने भी इस खबर को सही बताया है कि अस्पताल में पेंग्विन के इलाज के लिए ऑक्सीजन सिलेंडर और दूसरे जरूरी सामान जू भिजवाए थे।

जू के सूत्रों के मुताबिक पेंग्विन को 18 अक्टूबर से ही सांस लेने में दिक्कत हो रही थी लेकिन जू कर्मियों को ऑक्सीजन की व्यवस्था करने में पांच दिन लग गए। बताया जा रहा है कि 22 अक्टूबर शाम पांच बजे एक ऑक्सीजन सिलेंडर की व्यवस्था हुई लेकिन 23 अक्टूबर सुबह सवा आठ बजे पेंग्विन की मौत हो गई जबकि दूसरा ऑक्सीजन सिलेंडर शाम पांच बजे आया।

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