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झारखंड के चार विधायक 31 मार्च तक निलंबित

सीएनटी संशोधन के विरोध में 23 नवंबर को सदन में तोड़ी थी कुर्सियां, उछाले थे जूते, किया था फोम स्प्रे

By Rahul SharmaEdited By: Published: Fri, 20 Jan 2017 01:26 AM (IST)Updated: Fri, 20 Jan 2017 03:11 AM (IST)
झारखंड के चार विधायक 31 मार्च तक निलंबित
झारखंड के चार विधायक 31 मार्च तक निलंबित

राज्य ब्यूरो, रांची। झारखंड विधानसभा ने गुरुवार को झामुमो के तीन तथा कांग्रेस के एक विधायक को 31 मार्च तक के लिए निलंबित कर दिया। सदाचार कमेटी की अनुशंसा पर चार विधायकों के निलंबन की घटना झारखंड विधानसभा के इतिहास में पहली बार हुई है। वेतन और विशेषाधिकार से वंचित करने का यह पहला मामला है।

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पिछले साल 23 नवंबर को शीतकालीन सत्र के दौरान सीएनटी-एसपीटी एक्ट में संशोधन के विरोध में सदन में इनके द्वारा कुर्सियां व माइक आदि तोड़ने, फोम स्पे्र का छिड़काव करने, कुर्सी के टूटे हुए हिस्से स्पीकर की ओर फेंकने, जूते उछालने तथा असंसदीय भाषा के प्रयोग करने के आरोप में यह कार्रवाई हुई। निलंबित किए गए विधायकों में झामुमो के पौलुस सुरीन, अमित कुमार महतो, शशिभूषण सामड तथा कांग्रेस के इरफान अंसारी शामिल हैं।

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वहीं, गुरुवार को भी सीएनटी-एसपीटी संशोधन को ले विपक्षी दलों, खासकर झामुमो ने जमकर हंगामा किया, भारी हंगामे को देखते हुए विधानसभा की कार्यवाही शुक्रवार तक के लिए स्थगित कर दी गई। हालांकि झामुमो विधायकों के हंगामे के बीच चालू वित्तीय वर्ष का तीसरा अनुपूरक बजट पेश कर दिया गया। संसदीय कार्यमंत्री सरयू राय ने आननफानन में सदन के पटल पर 2069.66 करोड़ का अनुपूरक बजट पेश किया। इसके बाद सदन की कार्यवाही स्थगित कर दी गई।

नहीं मिलेगा वेतन, विशेषाधिकार भी नहीं

निलंबन के दौरान चारों विधायकों को वेतन, भत्ता व अन्य सुविधाएं नहीं मिलेंगी। उनके पास विशेषाधिकार भी नहीं रहेगा। उनके सवालों को भी तब तक के लिए नहीं लिया जाएगा। ये इस दौरान सदन में प्रवेश भी नहीं कर सकेंगे। ये किसी सभा या समिति के सदस्य भी नहीं रहेंगे।

विधानसभा में लहराया दैनिक जागरण

विधानसभा में गुरुवार को दैनिक जागरण छाया रहा। जामताड़ा के विधायक डा. इरफान अंसारी ने स्पीकर का ध्यान दिलाते हुए कहा कि पथ निर्माण विभाग में निर्धारित बजट से तीन गुना ज्यादा की योजनाएं ले ली गई हैं। विधायकों की विभाग नहीं सुनता और मनमानी करता है। इसका प्रबल विरोध होगा। उन्होंने स्पीकर को दैनिक जागरण की प्रति भी दिखाई। कहा, बजट राशि का 48 फीसद खर्च नहीं हुआ है। ऐसे में सरकार का दावा उसकी पोल खोलता है। इस मसले पर सदन के बाहर प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष सह विधायक सुखदेव भगत ने भी सरकार की खिंचाई करते हुए कहा कि वित्तीय अनुशासन चरम पर है। अधिकारियों की मनमानी से अराजकता फैल रही है।

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