परमाणु ऊर्जा क्षमता तीन गुना करेगा भारत
अभी देश में 4700 टन यूरेनियम का उत्पादन होता है जिसे तीन गुना करने के लिए नए भंडारों पर काम किया जा रहा है।
जागरण ब्यूरो, नई दिल्ली। भारत सरकार ने यह स्पष्ट कर दिया है कि सौर व अन्य गैर पारंपरिक ऊर्जा स्त्रोतों के साथ ही परमाणु ऊर्जा को बढ़ाना उसकी एक अहम प्राथमिकता होगी। इसके तहत वर्ष 2024 तक जहां परमाणु बिजली उत्पादन को तीन गुणा करने की योजना है वही देश में यूरेनियम व थोरियम के उत्पादन को भी तेजी से बढ़ाने की कोशिश की जा रही है।
अभी देश में 4700 टन यूरेनियम का उत्पादन होता है जिसे तीन गुना करने के लिए नए भंडारों पर काम किया जा रहा है। पीएमओ में राज्य में मंत्री जितेंद्र सिंह ने इस बारे में सदन में जानकारी देते हुए कहा कि बिहार और मेघालय जैसे राज्यों में यूरेनियम के अहम भंडार मिले हैं जिनका खनन किया जाएगा। लोकसभा में परमाणु ऊर्जा पर पूछे गये एक सवाल का जवाब देते हुए सिंह ने बताया कि जब एनडीए सरकार सत्ता में आई तो देश में सिर्फ 4780 मेगावाट बिजली परमाणु ऊर्जा से बनायी जा रही थी लेकिन इसे वर्ष 2024 तक तीन गुणा करने का लक्ष्य रखा गया है। यह लक्ष्य पूरा किया जाएगा। उन्होंने इन आशंकाओं को खारिज किया कि देश के पास पर्याप्त यूरेनियम भंडार है या नहीं।
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उन्होंने कहा कि देश के पास भी पर्याप्त यूरेनियम है और दूसरे देशों के पास भी है जिसका आयात किया जा सकता है। सरकार थोरियम से परमाणु ऊर्जा बनाने की तीन चरणों की रणनीति भी लागू की है। इसके तहत पहला रिएक्टर (जो थोरियम से तैयार यूरेनियम 233 से बिजली बनाता है) कलपक्कम परमाणु ऊर्जा संयंत्र में लगाया गया है। लेकिन अभी पहला चरण चरण चल रहा है और दूसरा चरण जल्द ही शुरु होगा। तीसरा चरण वर्ष 2050 तक ही पूरा होगा जब देश थोरियम आधारित परमाणु संयंत्रों को लेकर पूरी तरह से आत्मनिर्भर होगा।
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सिंह ने बताया कि सरकार तेजी से देश में नए परमाणु प्लांट पर काम कर रही है। हरियाणा के गोरखपुर में नया परमाणु पावर प्लांट बनाने का काम शुरु हो चुका है। सरकारी कंपनियों को दूसरी कंपनियों के साथ मिल कर संयुक्त उपक्रम में परमाणु पावर प्लांट लगाने की मंजूरी दी गई है। सनद रहे कि राजग सरकार ने अपनी ऊर्जा नीति के तहत वर्ष 2050 तक परमाणु ऊर्जा से 60 हजार मेगावाट बिजली बनाने का लक्ष्य रखे हुए है। अभी देश में इससे 5300 मेगावाट बिजली पैदा हो रही है।