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    आरबीआई मुख्यालय में होगा डिजिटल पेमेंट पर मंथन

    By Surbhi JainEdited By:
    Updated: Thu, 08 Dec 2016 04:16 PM (IST)

    नकदी लेनदेन कम करने और डिजिटल पेमेंट्स को बढ़ावा देने के उपायों पर विचार कर रही मुख्यमंत्रियों की उप समिति गुरुवार को रिजर्व बैंक के मुंबई स्थित मुख्या ...और पढ़ें

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    नई दिल्ली। नकदी लेनदेन कम करने तथा डिजिटल पेमेंट्स को बढ़ावा देने के उपायों पर विचार कर रही मुख्यमंत्रियों की उप समिति गुरुवार को रिजर्व बैंक के मुंबई स्थित मुख्यालय में मंथन करेगी। आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री चंद्रबाबू नायडू की अध्यक्षता वाली उप समिति की इस बैठक में सभी बैंकों के शीर्ष अधिकारियों को भी बुलाया जा रहा है। माना जा रहा है कि इसमें कैशलेस ट्रांजैक्शन को बढ़ावा देने के लिए कर छूट सहित कई प्रोत्साहनों पर विचार किया जा सकता है।

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    सूत्रों ने कहा कि बैठक में सभी बैंकों के प्रमुखों को बुलाया गया है ताकि कैशलेस ट्रांजैक्शन को बढ़ावा देने की राह में आ रही व्यावहारिक दिक्कतों और संभावित लागत के संबंध में आकलन किया जा सके। इसके अलावा आरबीआइ और बैंक अधिकारियों की मौजूदगी में समिति बैंकों से नोटबंदी के बाद धन निकासी की प्रक्रिया सुचारू बनाने के संबंध में भी सवाल करेगी। बैठक में नीति आयोग के उपाध्यक्ष अरविंद पानगड़िया और सीईओ अमिताभ कांत भी भाग लेंगे।

    इसमें डेबिट कार्ड, क्रेडिट कार्ड, डिजिटल वॉलेट, इंटरनेट बैंकिंग, यूनीफाइड पेमेंट इंटरफेस और बैंकिंग एप के माध्यम से डिजिटल पेमेंट को तेजी से बढ़ावा देने के उपायों पर विचार किया जाएगा। साथ ही डिजिटल पेमेंट की सर्वश्रेष्ठ वैश्विक प्रणालियों और उन्हें भारत में अपनाने के संबंध में चर्चा की जाएगी। उल्लेखनीय है कि इस उप समिति की पहली बैठक पिछले हफ्ते वीडियो कांफ्रेंसिंग के जरिये हुई थी। सूत्रों ने कहा कि बैठक में नोटबंदी के बाद कई बैंकों में 500 और 1000 रुपये के पुराने नोट जमा करने में अनियमितताओं का मुद्दा भी उठ सकता है।
    साथ ही बैंक अगले चार महीने में 10 लाख अतिरिक्त प्वाइंट ऑफ सेल (पीओएस) मशीनें लगाने जा रहे हैं। बैंकों को ग्राहकों को अधिकाधिक कैशलेस ट्रांजैक्शन के लिए प्रोत्साहित करने को कहा जा सकता है।

    नायडू की अध्यक्षता वाली इस उप समिति में उड़ीसा के मुख्यमंत्री नवीन पटनायक, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान, सिक्किम के मुख्यमंत्री पवन कुमार चामलिंग और महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री देवेंद्र फड़नवीस शामिल हैं। साथ ही यूआइडीएआइ के पूर्व अध्यक्ष नंदन नीलेकणि, बोस्टन कंसल्टेंसिंग ग्रुप के अध्यक्ष जन्मेजय सिन्हा, नेटकोर के प्रबंध निदेश राजेश जैन, आइस्पिरिट के सह संस्थापक शरद शर्मा और आइआइएम अहमदाबाद के प्रोफेसर जयंत वर्मा विशेष आमंत्रित सदस्य के तौर पर शामिल हैं।

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