हिमायलय पर शिव भक्ति में लीन हुई लखनऊ की महिला, लौटने को तैयार नहीं, बोली-महादेव ने कर लिया है मेरा वरण
उत्तराखंड के हिमालयी क्षेत्र में एक महिला शिव भक्ति में इस कदर रम गई है कि वापस लौटने का नाम नहीं ले रही है। खुद को परम भक्त कहने वाली महिला का कहना है कि महादेव ने उसका वरण कर लिया है जब तक वह चाहेंगे वह तब तक रहेगी।
संवाद सूत्र, धारचूला : महादेव का वास कहे जाने वाले उत्तराखंड के हिमालयी क्षेत्र में एक महिला इस कदर रम गई है कि वापस लौटने का नाम नहीं ले रही है। खुद को परम भक्त कहने वाली महिला का कहना है कि महादेव ने उसका वरण कर लिया है, जब तक वह चाहेंगे वह तब तक वहीं रहेगी। पिथौरागढ़ जिले का नावीढांग क्षेत्र इनर लाइन है, लिहाजा युवती को लाने के लिए पुलिस और आईटीबी के जवान वहां रवाना हो गए हैं।
लखनऊ से पहुंची है महिला
बीते दिनों लखनऊ की अलीगंज निवासी हरमीत कौर अपनी मां हरविंदर कौर के साथ नावीढांग गई थी। बीते दिनों लखनऊ की अलीगंज निवासी हरमीत कौर अपनी मां हरविंदर कौर के साथ नावीढांग गई थी। यह क्षेत्र प्रतिबंधित है यहां पर इनर लाइन परमिट लेकर ही पहुंचा जाता है। परमिट में जो अवधि रहती है उस अवधि तक क्षेत्र से लौटना होता है।
मां लौटी पर बेटी नहीं
28 वर्षीय हरमीत कौर परमिट में दी गई अवधि पूरी होने के बाद भी नहीं लौटी जबकि उसकी मां लौट गई। प्रतिबंधित क्षेत्र में परमिट में दी गई समय सीमा पूरी होने के बाद भी हरमीत कौर के नहीं लौटने उस उठाने के लिए पुलिस टीम गई। जिनके प्रति वह बेहद आक्रामक हो गई। उसने कहा कि वह भगवान शिव की अराधना में डूबी है अब जब शिव चाहेंगे तभी वह लौटेगी। उसका रौद्र रूप देखकर पुलिस टीम को वापस लौटना पड़ा है।
आइटीबीपी और पुलिस टीम लेने पहुंची
शुक्रवार को पुलिस और आइटीबीपी की महिला जवान, पुलिस एसआई सहित एक टीम उसे नावीढांग से लेने रवाना हुई है। शनिवार को हरमीत को नावीढांग से उठाया जाएगा। वहीं महिला पर्यटक किसी भी सूरत में नावीढांग से हिलने को तैयार नहीं है। उसका कहना है कि वह शिव की अनन्य भक्त है। भगवान शिव की कृपा से ही यहां पहुंची है जब तक शिव नहीं चाहेंगे उसे यहां से कोई हिला नहीं सकता है।
12 जवान पहुंचे हैं नावीढांग
विगत दिनों से नावीढांग में डटी हरमीत को वहां से लाना पुलिस के लिए चुनौती बन चुका है। इस प्रतिबंधित क्षेत्र में इनर लाइन परमिट में निर्धारित समय से अधिक समय तक कोई भी नहीं रह सकता है। शुक्रवार को महिला को लाने के लिए गए बारह जवान गुंजी को गए हैं। आज फिलहाल कोई अपडेट नहीं मिल सकी है।