Uttarakhand Weather Update: चकराता के देवघार और बंगाण क्षेत्र में ओलावृष्टि से हुआ भारी नुकसान
मौसम के अचानक करवट बदलने से सीमांत देवघार व बंगाण क्षेत्र के कई ग्रामीण इलाकों में मूसलाधार बारिश हुई। इस बीच ओलावृष्टि होने के कारण किसानों की फसलें भी तबाह हो गई।
चकराता (देहरादून), जेएनएन। गुरुवार शाम को मौसम के अचानक करवट बदलने से सीमांत देवघार व बंगाण क्षेत्र के कई ग्रामीण इलाकों में मूसलाधार बारिश हुई। इस बीच ओलावृष्टि होने के कारण किसानों की फसलें भी तबाह हो गई। खेती-बागवानी से जुड़े ग्रामीण किसानों को बड़े पैमाने पर नुकसान हुआ है। करीब 30 मिनट की ओलावृष्टि से बगीचों में लगे फल व नकदी फसलें बर्बाद हो गई। प्रभावित किसानों ने सरकार से फसलों को हुए नुकसान के एवज में उचित मुआवजे की मांग की है, जिससे वह इस घाटे की भरपाई कर सकें।
इस बार मौसम का कहर खेती-बागवानी से जुड़े पहाड़ के किसान व बागवानों पर जमकर टूटा। सीमांत क्षेत्र में दो दिन से चल रही धूल भरी आंधी के बाद गुरुवार की मौसम ने अचानक करवट बदला। चकराता ब्लॉक के सुदूरवर्ती देवघार खत से जुड़े बानपुर, झिटाड़ पंचायत सीमांत त्यूणी से सटे बंगाण क्षेत्र के थुनारा, डामठी, भूटाणू, किरोली मैंजणी समेत आसपास के इलाकों में बारिश के साथ जबरदस्त ओलावृष्टि हुई। शाम करीब तीन बजे शुरू हुई ओलावृष्टि पचीस से तीस मिनट चली।
बेमौसम बारिश व भारी ओलावृष्टि के चलते ग्रामीण किसान व बागवानों के बगीचों में लगे सेब, खुमानी, पुलम, आडू, नाशपाती और खेतों में लगी टमाटर व अन्य नकदी फसलें तबाह हो गई। बानपुर निवासी सामाजिक कार्यकर्ता अनिल रावत, प्रभावित किसानों में रघुवीर सिंह चंदन सिंह, सोहन सिंह, कृपाल सिंह, मातबर सिंह, रामलाल, सूरतराम व बंगाण निवासी रघुवीर राणा, चमन चौहान, सरदार सिंह, नरेश, संदीप रावत, शमशेर राणा आदि ने कहा कि खेतों में जो कुछ बचा भी था वह सब बर्बाद हो गया। इस बार मौसम के कहर बरपाने से ग्रामीण किसानों की सालभर की पूरी मेहनत बेकार चली गई। खेतीबाड़ी व बागवानी के लिए बैंक से लोन लेकर फसलों की अच्छी पैदावार होने की उम्मीद पाले किसानों को बेमौसम बारिश व ओलावृष्टि ने काफी हद तक प्रभावित किया।
पंद्राणू खड्ड आने से जेपीआरआर हाइवे पर फंसे वाहन
गुरुवार शाम को सीमांत क्षेत्र में मूसलाधार बारिश व भारी ओलावृष्टि होने से उत्तराखंड व हिमाचल दोनों राज्य के बार्डर क्षेत्र पंद्राणू के पास खड्ड ऊफान पर आ गया। इसके चलते आवागमन कर रहे कई वाहन बीच सड़क में फंस गए। त्यूणी से कुछ दूर आगे पंद्राणू खड्ड के ऊफान पर आने से भारी मात्रा में आए मलबे के कारण दो पर्वतीय राज्यों के चार जिलों देहरादून, उत्तरकाशी, शिमला व सिरमौर के सीमांत इलाकों को जोड़ने वाले जेपीआरआर हाईवे पर वाहनों का संचालन काफी देर बाधित रहा।
इस दौरान हाईवे से गुजर रहे कुछ वाहन पंद्राणू के पास खड्ड में पानी की मात्रा जलजले के रुप में बढ़ने से मलबे के बीच फंस गए। जिसे बड़ी मुश्किल से लोगों ने खड्ड के तेज बहाव में बहने से बचाया। मई माह में पंद्राणू खड्ड का इस तरह विकराल रूप देखकर लोग सहम गए। गनीमत यह रही कि हाईवे से आवाजाही के वक्त एकाएक पंद्राणू खड्ड ऊफनने से लोग हादसे का शिकार होने से बच गए। बारिश थमने के काफी देर बाद वाहनों का आवागमन काफी देर तक प्रभावित रहा।
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