कैबिनेट में आएगा मोटर यान अधिनियम के तहत जुर्माना बढ़ाने का मसला
उत्तराखंड में संशोधित मोटर यान अधिनियम के तहत विभागीय स्तर पर लिए जाने वाले जुर्माने की दरें कैबिनेट की मुहर लगने के बाद ही लागू होंगी।
देहरादून, राज्य ब्यूरो। प्रदेश में संशोधित मोटर यान अधिनियम के तहत विभागीय स्तर पर लिए जाने वाले जुर्माने (कंपाउंडिंग) की दरें कैबिनेट की मुहर लगने के बाद ही लागू होंगी। परिवहन मुख्यालय ने विभागीय स्तर से लिए जाने वाली जुर्माने की दरों का प्रस्ताव शासन को भेज दिया है। इस प्रस्ताव को वित्त की मंजूरी लेने के बाद कैबिनेट में प्रस्तुत किया जाएगा।
प्रदेश में संशोधित मोटर यान अधिनियम लागू हो चुका है। इसमें जुर्माने की दरों में कई गुणा बढ़ोतरी की गई है। इसके अलावा यातायात के उल्लंघन को लेकर कई नई धाराएं भी शामिल की गई हैं। हालांकि, विभागीय स्तर पर ही जुर्माना वसूलने को दरें तय करने का अधिकार राज्य को है। केंद्र की दरों का मामला सीधे कोर्ट में जाने पर ही प्रभावी होता है। इस बार कुछ धाराएं ऐसी भी हैं जिन पर विभाग अपने स्तर से कोई जुर्माना तय नहीं कर सकता।
शेष पर विभागीय स्तर से जुर्माने की दरें तय की जानी हैं, जिस पर विभाग ने प्रस्ताव तैयार कर लिया है। विभाग ने इस पर अभी तक लिए जा रहे जुर्माने में तीन से चार गुणा बढ़ोतरी प्रस्तावित की है। हालांकि, यह एक्ट में उल्लिखित जुर्माने से कम है। इस प्रस्ताव का अभी शासन में अध्ययन किया जा रहा है।
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अब इस मसले पर शुक्रवार को एक बैठक प्रस्तावित की गई है। इस बैठक में शासन व विभागीय अधिकारी इन दरों पर चर्चा करेंगे। इसके बाद यह प्रस्ताव वित्त को अनुमति के लिए भेजा जाएगा। मामला क्योंकि सरकार के राजस्व से जुड़ा है, इसलिए इन दरों पर कैबिनेट ही अंतिम मुहर लगाएगी।
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