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रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने गाजीपुर के बिजेंद्र का पकड़ा हाथ और हर मोड़ पर निभाया साथ

बिजेंद्र की पढ़ाई-लिखाई सैदपुर से ही शुरू हुई। प्राथमिक विद्यालय प्रथम से पांच तक की पढ़ाई पूरी करने के बाद बिजेंद्र के एक रिश्तेदार ने उनका प्रवेश वाराणसी स्थित आश्रम पद्धति विद्यालय में कराया। बचपन से ही पढऩे में तेज बिजेंद्र ने वाराणसी मंडल में कक्षा आठ में टाप किया।

By Saurabh ChakravartyEdited By: Published: Fri, 26 Feb 2021 07:30 AM (IST)Updated: Fri, 26 Feb 2021 07:30 AM (IST)
डा बिजेंद्र फैजाबाद के गोसाईगंज स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में चिकित्सक के रूप में तैनात हैं।

गाजीपुर देवेंद्र जायसवाल। बचपन से ही परेशानियां झेल रहे बिजेंद्र को उम्मीद नहीं थी कि उसका जीवन इस तरह बदल जाएगा। वर्ष 2002 में आश्रम पद्धति विद्यालय वाराणसी में टाप करने वाले बिजेंद्र व उसके साथी शिवप्रसाद को उम्मीद नहीं थी कि आगे की पढ़ाई को पूरा करने में उन्हें किसी भी प्रकार की कोई बड़ी परेशानी होगी।

आजमगढ़ के वीरपुर खिलवा निवासी सुशीला देवी के सबसे बड़े पुत्र बिजेंद्र के सिर से उसके पिता जगननाथ का साया बचपन में ही उठा गया। पति का साथ छूटने के बाद सुशीला देवी अपने तीनों पुत्रों बिजेंद्र कुमार, विपिन कुमार एवं मंजेश कुमार को लेकर सैदपुर अपने मायके चली आईं। बिजेंद्र की पढ़ाई-लिखाई सैदपुर से ही शुरू हुई। नगर के प्राथमिक विद्यालय प्रथम से कक्षा पांच तक की पढ़ाई पूरी करने के बाद बिजेंद्र के एक रिश्तेदार ने उनका प्रवेश वाराणसी स्थित आश्रम पद्धति विद्यालय में कराया। बचपन से ही पढऩे में तेज बिजेंद्र ने वाराणसी मंडल में कक्षा आठ में टाप किया। उस समय राजनाथ सिंह मुख्यमंत्री थे। उन्होंने बिजेंद्र के पारिवारिक स्थिति के बारे में पता किया। इसके बाद बिजेंद्र व उसके साथी चौबेपुर निवासी शिवप्रसाद को गोद लिया। उनकी सारी जिम्मेदारी निभाने का वादा किया। आगे की पढ़ाई के लिए बिजेंद्र का प्रवेश कानपुर स्थित बीएनएसडी शिक्षा निकेतन करवा दिया। कक्षा नौ से 12 तक की पढ़ाई उन्होंने यहां से पूरी करने के बाद एमबीबीएस की तैयारी की। उनका सलेक्शन भी हो गया। बिहार के किशनगंज स्थित मेडिकल कालेज से एमबीबीएस की पढ़ाई पूरी करने के बाद उन्होंने एक वर्ष तक संविदा पर कार्य किया। इसके बाद उनका चयन सरकारी चिकित्सक के तौर पर हो गया। वर्तमान में डा बिजेंद्र फैजाबाद के गोसाईगंज स्थित सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में चिकित्सक के रूप में तैनात हैं। पूरे पढ़ाई के दौरान रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने डा बिजेंद्र कुमार का साथ निभाया। इस दौरान डा बिजेंद्र समय-समय पर रक्षामंत्री से मिलते रहे। डा बिजेंद्र ने बताया कि रक्षामंत्री ने कभी पिता की कमी महसूस नहीं होने दी। उन्होंने पिता की तरह सारी जिम्मेदारियां निभाई और मुझे कभी किसी तरह की परेशानी नहीं हुई।

मेरे भगवान मेरे घर आ रहे

डा. बिजेंद्र की मां सुशीला देवी रक्षामंत्री के आने को लेकर काफी उत्साहित हैं। उन्होंने कहा कि हमारे लिए रक्षामंत्री राजनाथ सिंह भगवान हैं। मेरे भगवान घर आ रहे हैं। इस खुशी में मुझे न भूख लग रही है और न प्यास। उन्होंने केवल मेरे बड़े बेटे का भविष्य नहीं संवारा। बड़े बेटे को उच्च शिक्षा मिलने से मेरे दो और बेटे भी अच्छी शिक्षा प्राप्त कर रहे हैं।

प्रधानमंत्री आवास में बैठेंगे रक्षामंत्री

डा. बिजेंद्र परिवार के साथ अपने ननिहाल में ही रहते हैं। उनके मामा के प्रधानमंत्री आवास का निर्माण अभी कुछ दिन पहले ही हुआ है। रक्षामंत्री यहां आकर उसी आवास में बैठेंगे। आवास की रंगाई-पुताई का कार्य पूर्ण हो चुका है।

डा. महेंद्र नाथ पांडेय के भी आने की संभावना

डा. बिजेंद्र की शादी में रक्षामंत्री राजनाथ सिंह के साथ केंद्रीय मंत्री डा महेंद्रनाथ पांडेय के भी आने की संभावना है। इसकी चर्चा राजनीतिक गलियारों व अधिकारियों में है, लेकिन अब तक कोई लिखित कार्यक्रम न आने के कारण इसकी अधिकारिक पुष्टि नहीं हो पा रही है। डा. पांडेय के करीबी नगर निवासी व पूर्व सभासद नवीन अग्रवाल ने बताया कि डा महेंद्रनाथ पांडेय जी भी आएंगे। मंत्री जी का नगर के डाक बंगला के सामने फूल-मालाओं से भव्य स्वागत भी किया जाएगा।

कार्ड देने गई बिजेंद्र की मां सुशीला

रक्षामंत्री राजनाथ सिंह को शादी का निमंत्रण कार्ड देने के लिए डा बिजेंद्र के साथ उनकी मां सुशीला देवी गईं थीं। बताया कि रक्षामंत्री ने हमें बहुत सम्मान दिया। साथ ही वादा किया कि मैं अपने बेटे की शादी में जरूर आऊंगा।


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