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Lok Sabha Election 2024: सर्वेश सिंह चौथी बार मुरादाबाद से प्रत्याशी, पश्चिमी यूपी में अब तक अकेले ठाकुर प्रत्याशी

भाजपा में टिकट को लेकर चल रही अटकलों पर रविवार देर शाम विराम लग गया। तमाम आशंका और संभावनाओं के बीच आखिरकार भाजपा ने पूर्व सांसद सर्वेश सिंह पर ही अपना भरोसा जताते हुए मुरादाबाद से प्रत्याशी बनाया है। पिछले कुछ दिनों से सर्वेश सिंह का टिकट फाइनल होने की चर्चाएं चल रही थीं। मुरादाबाद से पार्टी ठाकुर प्रत्याशी को उतारने का संकेत भी दे चुकी थी।

By Tarun Parashar Edited By: Prateek Jain Published: Mon, 25 Mar 2024 06:24 AM (IST)Updated: Mon, 25 Mar 2024 06:24 AM (IST)
मुरादाबाद पहुंचने के बाद दिल्ली रोड पर कार्यकर्ताओ का अभिवादन करते सर्वेश सिंह व बढ़ापुर विधायक सुशांत सिंह। जागरण

जागरण संवाददाता, मुरादाबाद। भाजपा में टिकट को लेकर चल रही अटकलों पर रविवार देर शाम विराम लग गया। तमाम आशंका और संभावनाओं के बीच आखिरकार भाजपा ने पूर्व सांसद सर्वेश सिंह पर ही अपना भरोसा जताते हुए मुरादाबाद से प्रत्याशी बनाया है।

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पिछले कुछ दिनों से सर्वेश सिंह का टिकट फाइनल होने की चर्चाएं चल रही थीं। भाजपा के शीर्ष नेतृत्व ने नया प्रयोग करने के बजाय पुराने समीकरण को आजमाने का निर्णय लिया है।

मुरादाबाद से पार्टी ठाकुर प्रत्याशी को उतारने का संकेत दे चुकी थी। फिलहाल सर्वेश सिंह पश्चिमी उत्तर प्रदेश से भाजपा के अकेले ठाकुर प्रत्याशी हैं। सर्वेश सिंह 26 मार्च को नामांकन कराने का दावा कर रहे हैं।

सर्वेश सिंह ने 1991 में पहली बार भाजपा के टिकट पर ठाकुरद्वारा सीट पर विधानसभा चुनाव लड़े थे। इसके बाद चार बार लगातार चुनाव जीतकर भाजपा के कद्दावर नेता बने। ठाकुरद्वारा सीट पर अभी तक पार्टी उनका विकल्प नहीं खोज पाई है।

पार्टी के बड़े नेताओं से घनिष्ठ संबंधों के चलते उनकी पकड़ भी मजबूत मानी जाती है। यहां तक कि संगठन के साथ उनका तालमेल कभी अच्छा नहीं रहा है। यहां तक कि वह कई बार पार्टी अवसर पर वह पार्टी के निर्णयों के विरोध में खड़े हो गए थे। इसके बावजूद पार्टी उन पर ही भरोसा जताती आ रही है जो अभी तक बरकरार है।

पांच दावेदारों पर पड़े भारी

2024 के लोकसभा चुनाव के लिए प्रत्याशी चयन के पांच दावेदारों के नाम केंद्रीय समिति को भेजे गए थे। इसमें सर्वेश सिंह, राजपाल सिंह चौहान, डा. शैफाली सिंह, डा. विजय चौहान और पूर्व राज्यसभा सदस्य व पार्टी के राष्ट्रीय प्रवक्ता सैयद जफर इस्लाम शामिल थे। इनमें से चार ठाकुर दावेदार थे।

पिछले एक साल से कई नाम सामने आए थे। इसके बाद पार्टी के आंतरिक समीकरणों के आधार पर मुरादाबाद सीट से ठाकुर प्रत्याशी उतारे जाने की प्रबल संभावना बनने लगी थी। वहीं, सर्वेश सिंह के नाम पर पार्टी के पदाधिकारियों में विरोध था।

अंतरविरोध और बिजनौर के बढ़ापुर क्षेत्र के रहने वाले डा. विजय चौहान की दावेदारी के कारण सर्वेश सिंह का टिकट कटने को लेकर संभावनाएं जताई जाने लगी थी। वहीं, सर्वेश सिंह ने सभी आशंकाओं को सफल नहीं होने देने के लिए लखनऊ और दिल्ली के चक्कर लगाना शुरू कर दिया।

उन्होंने कई बार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से मुलाकात की। इसके साथ ही दिल्ली में भी केंद्रीय नेताओं से संपर्क साधे। सभी को भरोसा दिलाने में सफल रहे कि मुरादाबाद में उनके अलावा कोई विकल्प नहीं है।

पार्टी मुरादाबाद में मान रही है बड़ी चुनौती

भारतीय जनता पार्टी मुरादाबाद और मुरादाबाद मंडल की सीटों को चुनौती मानकर चल रही है। 2019 में भाजपा को मोदी लहर के बावजूद मुरादाबाद मंडल की सभी छह सीटों पर हार का सामना करना पड़ा था। ऐसे में पार्टी पांचों दावेदारों में ऐसा प्रत्याशी उतारना चाह रही थी जो मजबूती से चुनाव लड़ सके।

वहीं पुराने आंकड़े सर्वेश सिंह के पक्ष में थे। इसके अलावा सर्वेश सिंह के मन मुताबिक निर्णय नहीं होने की स्थिति में उनके पार्टी विरोध में आने की संभावनाओं को देखते हुए पदाधिकारियों ने नए प्रत्याशी का चयन कर जोखिम न उठाने ही बेहतर समझा।

तीसरी बार आमने-सामने होंगे सर्वेश सिंह और डा. हसन

सर्वेश सिंह को भाजपा ने चौथी बार मुरादाबाद लोकसभा सीट पर प्रत्याशी बनाया है। 2009 में वह पूर्व क्रिकेटर अजहरुद्दीन से लगभग 50 हजार मतों से हारे थे। 2014 में उनके सामने सपा की टिकट पर डा. एसटी हसन थे। इस बार उन्होंने जीत दर्ज कर मुरादाबाद सीट पर भाजपा को पहली बार जीत दिलाई।

इस बार सर्वेश सिंह ने 43 प्रतिशत वोट प्राप्त किए थे। 2019 में दोनों एक बार फिर से आमने-सामने थे और जीत डा. एसटी हसन के खाते में रही। तब डा. हसन ने 51 प्रतिशत से अधिक मत प्राप्त किए, जबकि भाजपा 43 प्रतिशत पर ठिठक गई। अब 2024 में दोनों एक दूसरे से मुकाबले करने को तैयार हैं।

एक बार सांसद और पांच बार विधायक रहे हैं सर्वेश सिंह

सर्वेश सिंह भाजपा की टिकट पर 1991, 1993, 1996 और 2002 में लगातार चुनाव जीतकर विधानसभा पहुंचे। 2007 में उन्हें बसपा प्रत्याशी से हार का सामना करना पड़ा था। 2009 में उन्हें लोकसभा प्रत्याशी बनाया। लेकिन, अजहरुद्दीन के स्टारडम के आगे सफल नहीं हुए।

2012 में वह ठाकुरद्वारा सीट पर फिर से विधायक चुने गए। 2014 के लोकसभा चुनाव में भाजपा ने उन्हें फिर से प्रत्याशी बनाया और उन्होंने जीत दर्ज की। 2019 के लोकसभा चुनाव में उन्हें हार का सामना करना पड़ा। हालांकि, 2022 में भी उन्होंने ठाकुरद्वारा सीट के दावेदारी की, लेकिन टिकट नहीं मिला।

घोषणा से पहले ही हुआ स्वागत

सर्वेश सिंह पिछले कई दिनों से वह दिल्ली में डेरा जमाए हुए थे। रविवार शाम वह मुरादाबाद लौटे तो जगह-जगह उनका प्रत्याशी के तौर पर स्वागत किया गया। सबसे पहले पाकबड़ा में जिला सहकारी बैंक चेयरमैन विजय भान सिंह के नेतृत्व में फूल बरसाए गए। अनेक स्थानों पर स्वागत के कारण वह रात 12 बजे के बाद ठाकुरद्वारा पहुंचे।

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