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कानपुर में बनेगा एक और रेलवे स्टेशन, सेंट्रल का लोड होगा कम, जानिए- और क्या-क्या होंगे फायदे

Kanpur Central ट्रेनों का सामान्य संचालन शुरू होते ही भेजी जाएगी सर्वे रिपोर्ट। कोरोना के चलते वर्ष 2020 में नहीं हो पाया प्रोजेक्ट पर काम। जहां गोविंदपुरी को टर्मिनल के तौर पर विकसित किया जा रहा है वहीं अब जूही को भी स्टेशन बनाने की कवायद शुरू की गई है।

By Shaswat GuptaEdited By: Published: Sun, 07 Feb 2021 06:20 AM (IST)Updated: Sun, 07 Feb 2021 06:20 AM (IST)
खबर से संबंधित कानपुर सेंट्रल की सांकेतिक तस्वीर।

कानपुर, जेएनएन। Kanpur Central सेंट्रल स्टेशन का भार कम करने के लिए जूही में नया रेलवे स्टेशन बनेगा जिसे न्यू कानपुर स्टेशन का नाम दिया जाएगा। इस योजना पर सहमति तो काफी पहले बन गई थी, लेकिन कोरोना के चलते काम शुरू नहीं हो सका। अब एक बार फिर मंडल स्तर पर इसके लिए कवायद शुरू हो चुकी है। ट्रेनों का संचालन सामान्य होने के बाद इसकी सर्वे रिपोर्ट मुख्यालय को भेजी जाएगी। इस स्टेशन के बनने के बाद एक साथ सेंट्रल आ रही कई गैर महत्वपूर्ण ट्रेनों को गोविंदपुरी से सुजातगंज होते प्रयागराज के लिए निकाल दिया जाएगा। ट्रेनों को सेंट्रल स्टेशन आने की जरूरत नहीं होगी। 

सामान्य दिनों में सेंट्रल स्टेशन पर ज्यादा संख्या के कारण ट्रेनों का भार अधिक रहता है। चूंकि अभी ट्रेनें कम चल रही हैं। इसलिए ज्यादा समस्या नहीं है। पूरी क्षमता के साथ ट्रेनों का आवागमन शुरू होते ही आउटर पर घंटों ट्रेनों को खड़ा रखने जैसी समस्याएं फिर शुरू हो जाएंगी। इसे खत्म करने के लिए जहां गोविंदपुरी को टर्मिनल के तौर पर विकसित किया जा रहा है वहीं अब जूही को भी स्टेशन बनाने की कवायद शुरू की गई है। अधिकारी बताते हैं जल्द ही सर्वे कर रिपोर्ट मुख्यालय भेजी जाएगी।

2019 में बनी थी सहमति

जूही में न्यू कानपुर स्टेशन बनाने की सहमति अक्टूबर 2019 में बनी थी। प्रयागराज मुख्यालय में हुई बैठक में रेलवे अधिकारियों ने इसका प्रस्ताव दिया था जिस पर मुख्यालय के अफसरों ने सहमति देते हुए सर्वे रिपोर्ट मांगी थी। रिपोर्ट भेजी जाती, उससे पहले कोरोना के चलते सर्वे ही नहीं हो पाया। 

यह होगा फायदा 

रेलवे अधिकारियों के मुताबिक सेंट्रल स्टेशन पर ट्रेनों का लोड इसकी क्षमता से डेढ़ गुना अधिक है। जूही यार्ड सेंट्रल और गोविंदपुरी स्टेशन के बीच में है। यहां से दो लाइनें चंदारी स्टेशन की तरफ जाती हैं। वर्तमान में यहां से गुड्स ट्रेनों को पास कराया जाता है। न्यू कानपुर स्टेशन बनने के बाद ऐसी ट्रेनों को, जिसमें सेंट्रल स्टेशन से गिने चुने यात्री जाते हैं, इस स्टेशन से पास कराया जाएगा। इससे सेंट्रल पर ट्रेनों के साथ ही यात्रियों का लोड कम हो जाएगा। तब ट्रेनें गोविंदपुरी से न्यू कानपुर स्टेशन होते हुए सीधे चंदारी होते हुए प्रयागराज निकल जाएंगी। 

वीआइपी ट्रेनों को मिल सकता अलग रूट 

न्यू कानपुर स्टेशन बनने के बाद राजधानी, गरीब रथ, दूरंतो जैसी कई वीआइपी ट्रेनों को अलग रूट मिल सकता है। हालांकि इस पर निर्णय मुख्यालय से लिया जाएगा। रेल अधिकारियों के मुताबिक वीआइपी ट्रेनों को न्यू कानपुर स्टेशन से चलाया जाएगा। इससे इन ट्रेनों का समय भी सुधरेगा और आउटर जैसी समस्या से भी नहीं गुजरना होगा। यात्रियों को भी आसानी होगी। 

सामान्य दिनों में सेंट्रल का लोड

  • 416 ट्रेनों का आवागमन
  • तीन लाख से अधिक यात्रियों का आवागमन 
  • 55 गुड्स ट्रेनों का आवागमन

इनका ये है कहना 

अक्सर एक साथ कई ट्रेनें आ जाती हैं। इनमें कई ऐसी होती हैं जिनमें सेंट्रल स्टेशन से कम यात्री चढ़ते हैं। नए स्टेशन बनने के बाद तब ऐसी ट्रेनों को वहां से गुजारा जाएगा। इसका प्रस्ताव है। सर्वे कर रिपोर्ट मुख्यालय भेजनी है। -हिमांशु कुमार उपाध्याय, डिप्टी सीटीएम कानपुर सेंट्रल 


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