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बारिश से तीन रजबाहे टूटे, 700 एकड़ फसल का नुकसान

पिछले दो दिनों से रुक रुक हो रही बारिश के कारण जहां शहर की सड़कें जलमग्न हो गई हैं, वहीं धान व कपास की फसल के खराब होने के डर से किसानों की ¨चताएं बढ़ गए हैं।

By JagranEdited By: Published: Sun, 23 Sep 2018 08:03 PM (IST)Updated: Sun, 23 Sep 2018 08:03 PM (IST)
बारिश से तीन रजबाहे टूटे, 700 एकड़ फसल का नुकसान

जागरण संवाददाता, ब¨ठडा : पिछले दो दिनों से रुक रुक हो रही बारिश के कारण जहां शहर की सड़कें जलमग्न हो गई हैं, वहीं धान व कपास की फसल के खराब होने के डर से किसानों की ¨चताएं बढ़ गए हैं। इन दिनों नरमे की कटाई तो लगभग शुरू हो चुकी है और धान की कटाई अक्टूबर महीने के पहले सप्ताह में शुरू हो जाती है। लेकिन अब नरमे की पक्की पकाई फसल के ¨टडे बारिश के कारण गलने लग सकते हैं और धान की फसल में पानी भरने से इसका नुकसान हो सकता है। दूसरी तरफ बारिश के कारण जिले के रजबाहे व नहरें भर जाने से जगह जगह पर दरारें भी पड़ गई, जिसके चलते जब नहरी विभाग ने कोई हरकत नहीं दिखाई तो विरोध में लोगों ने कई जगहों पर जाम भी लगा दिया। इसके तहत ब¨ठडा-सिरसा मुख्य मार्ग पर विधायक प्रो. बल¨जदर कौर की अगुवाई में धरना लगाया गया। इस दौरान लोगों की तरफ से जिन लोगों की फसल की नुकसान हुआ है, उनके लिए मुआवजे की मांग की गई। वहीं बारिश के कारण रजबाहों के टूटने से जिले में 700 एकड़ के करीब धान की फसल का भी नुकसान हो गया।

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आज भी हो सकती है बारिश

मौसम विभाग के अनुसार सोमवार को भी बारिश हो सकती है, जिसके बाद मंगलवार को हलके बादल छाए रहेंगे और बुधवार को मौसम खुश्क होगा। मगर रविवार सुबह तक 38 एमएम बारिश रिकार्ड की गई थी। जबकि जिले में इस बार नरमे की फसल का रकबा 1.10 लाख हेक्टेयर है। वहीं खेती विकास अधिकारी डॉ. बलजीत ¨सह बराड़ का कहना है कि अब बारिश का फसल पर बुरा असर ही होगा।

रजबाहे में 150 फीट दरार

से फसल में पानी भरा

तलवंडी साबो ब्लॉक के गांव फतेहगढ़ नौआबाद के पास ¨सगों ब्रांच का रजवाहा टूटने से 250 एकड़ के करीब फसल में पानी भर गया। किसानों ने नहरी विभाग पर रजवाहों की रिपेयर न करने व समय पर आकर टूटी हुई करीब 150 फीट दरार को ठीक न करने के विरोध में ब¨ठड-सिरसा रोड़ पर जाम लगा दिया। इसमें विधायक प्रो. बल¨जदर कौर भी शामिल हुई। उन्होंने सरकार से जिन किसानों की फसलों का नुकसान हुआ है, उनके लिए मुआवजे की मांग की गई। उनके द्वारा आरोप लगाया गया कि रजवाहे में दरार पड़ने की सूचना मिलने के बाद बार बार नहरी विभाग को फोन भी किया गया, लेकिन किसी भी अधिकारी ने मौके पर पहुंच कर दरार को ठीक करने का प्रयास नहीं किया। इसके विरोध में ही उनको धरना लगाने के लिए मजबूर होना पड़ा। किसान जगतार ¨सह ने बताया कि गुरु प्रताप ¨सह, भोला ¨सह, जसवीर ¨सह, कर्म ¨सह, अमर ¨सह, जंटा ¨सह, मेजर ¨सह, र¨जदर ¨सह, जोबन ¨सह, बीरा ¨सह, रणजोध ¨सह, जसवीर ¨सह, बलबीर ¨सह काका, लख¨वदर ¨सह आदि के खेतों में पानी भरने से फसल का नुकसान हो गया।

इस मौके पर बाबा जस¨वदर ¨सह जस्सा, हरप्रीत ¨सह, तरसेम ¨सह, प्रीतपाल ¨सह, लाडी ¨सह, गुरदीप ¨सह, मेवा ¨सह आदि उपस्थित थे।

दरार बंद करवाने के लिए जेसीबी मंगवाई गई है : सिंगला

नायब तहसीलदार सु¨रदर ¨सगला ने कहा कि दरार बंद करवाने के लिए जेसीबी मंगवाई है। खराब फसलों के लिए पटवारी कानूनगो की ड्यूटी लगाकर पीड़ित किसानों को बनता मुआवजा दिया जाएगा। किसानों ने उठाई मुआवजे की मांग

गांव जोधपुर पाखर के खेतों में कोटला ब्रांच नहर व मौड़ कलां के खेतों में घुम्मन ब्रांच में दरार पड़ने से 300 एकड़ के करीब फसल का नुकसान हो गया। इस कारण गांव जोधपुर पाखर, बुर्ज सेमा व नत्त के किसानों की फसलें प्रभावित हुई। किसान यूनियन के जसवीर ¨सह बुर्ज सेमा ने नहरी विभाग पर आरोप लगाया कि जब भी किसानों की फसलें पकने को आती हैं, तभी हर साल कोटला ब्रांच नहर टूट जाती है। जिस कारण किसानों को बहुत ज्यादा नुकसान होता है। मगर प्रशासन को सूचना देने के बाद भी नहरी विभाग द्वारा कोई ध्यान नहीं दिया जाता। इसके अलावा घुम्मन रजवाहा ब्रांच में भी दरार पड़ने से 100 एकड़ के करीब फसल में पानी भर गया। जबकि किसान यूनियन की ओर से प्रशासन से मांग की गई कि किसानों की आर्थिक स्थिति को देखते हुए जिस फसल का नुकसान हुआ है, उसका मुआवजा दिया जाए।


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