मद्रास हाई कोर्ट की चीफ जस्टिस के ट्रांसफर पर सुप्रीम कोर्ट कोलेजियम अडिग
जस्टिस ताहिलरमानी ने बांबे हाई कोर्ट की कार्यवाहक चीफ जस्टिस के तौर पर मई 2017 में बिलकिस बानो सामूहिक दुष्कर्म मामले में 11 लोगों की उम्र कैद की सजा बरकरार रखी थी।
नई दिल्ली, एएनआइ। सुप्रीम कोर्ट कोलेजियम ने मद्रास हाई कोर्ट की चीफ जस्टिस विजया के. ताहिलरमानी का ट्रांसफर मेघालय हाई कोर्ट में करने की सिफारिश फिर से की है। मंगलवार को हुई बैठक में कोलेजियम ने यह फैसला लिया।
प्रधान न्यायाधीश जस्टिस रंजन गोगोई, जस्टिस एसए बोबडे, एनवी रमना, अरुण मिश्रा और आर. नरीमन वाले कोलेजियम ने जस्टिस ताहिलरमानी के उस अनुरोध को ठुकरा दिया जिसमें उन्होंने 28 अगस्त के ट्रांसफर प्रस्ताव पर पुनर्विचार का आग्रह किया था। कोलेजियम ने साफ किया कि जस्टिस ताहिलरमानी के अनुरोध पर विचार करना संभव नहीं है क्योंकि मेघालय हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस एके मित्तल का ट्रांसफर पहले ही मद्रास हाई कोर्ट में किया जा चुका है।
गुजरात से महाराष्ट्र किया गया था ट्रांसफर
जस्टिस मित्तल ने 28 मई, 2019 को ही मेघालय हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस के रूप में शपथ ग्रहण की थी। समाचार एजेंसी प्रेट्र के अनुसार, जस्टिस ताहिलरमानी ने बांबे हाई कोर्ट की कार्यवाहक चीफ जस्टिस के तौर पर मई, 2017 में बिलकिस बानो सामूहिक दुष्कर्म मामले में 11 लोगों की उम्र कैद की सजा बरकरार रखी थी। इस मामले को सुप्रीम कोर्ट के आदेश पर गुजरात से महाराष्ट्र ट्रांसफर किया गया था।
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कोलेजियम से फैसले पर पुनर्विचार का अनुरोध
कोलेजियम ने मध्य प्रदेश हाई कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस विवेक अग्रवाल का ट्रांसफर इलाहाबाद हाई कोर्ट करने की सिफारिश भी फिर से की है। उन्होंने भी कोलेजियम से फैसले पर पुनर्विचार का अनुरोध किया था। इसी तरह कोलेजियम ने पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट के न्यायाधीश जस्टिस अमित रावल का ट्रांसफर केरल हाई कोर्ट करने की सिफारिश भी दोहराई है। उन्होंने भी कोलेजियम से उनके ट्रांसफर पर पुनर्विचार का आग्रह किया था।
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