'सर हमें छह बजे के बाद अकेले में बुलाते हैं'
महिलाओं के साथ यौन हिंसा पर पूरे देश में उठे तूफान के बीच एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय का दामन भी दागदार हो गया। नीयत पर सवाल कुछ शिक्षकों की ही उठे हैं। आरोप बेहद संगीन हैं, रोंगटे खड़े कर देने वाले हैं।
बरेली। महिलाओं के साथ यौन हिंसा पर पूरे देश में उठे तूफान के बीच एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय का दामन भी दागदार हो गया। नीयत पर सवाल कुछ शिक्षकों की ही उठे हैं। आरोप बेहद संगीन हैं, रोंगटे खड़े कर देने वाले हैं।
उन हजारों अभिभावकों के भरोसे को तोड़ने वाले, जो अपने बच्चों को शिक्षकों के भरोसे भेजते हैं अकेले पढ़ने के लिए। बगावत पर छात्राएं हैं, जो पर्दे के पीछे गंभीर आरोप लगा रही हैं। हूबहू बयां करना मुश्किल है।
मर्यादित शब्दों में इतना ही बोलीं-'सर' हमें छह बजे के बाद अकेले में मिलने को बुलाते हैं। इधर-उधर की बातें करते हैं। न सुनने पर इंटरनल एग्जाम में परिणाम भुगतने की धमकी दी जाती है..। अब पानी सिर से ऊपर गया तो मुंह खोला। जाहिर है, हंगामा बरपना ही था। वही हुआ। शनिवार को कैंपस विरोध का अखाड़ा बन गया।
विश्वविद्यालय को शर्मसार करने वाला यह मामला कैंपस में संचालित एप्लाइड केमिस्ट्री विभाग का है। आरोपों के घेरे में हैं दो शिक्षक। कहने को विवाद की शुरुआत तीन दिन पहले आधा-अधूरा सिलेबस पढ़ाने और परीक्षा में उसे पूरा देने को लेकर हुई।
नतीजन, गुरुवार को परीक्षा बहिष्कार छात्र-छात्राओं ने कर दिया। बात ज्यादा बढ़ी तो उसकी उसकी जड़ में जो निकला बेहद चौंकाने वाला था। हालांकि, दो दिन तक छात्राएं दबी जुबां शिक्षकों पर गंभीर आरोप लगाती रहीं लेकिन शनिवार दोपहर को उन्होंने खुलकर मोर्चा ले लिया।
प्रो-वीसी प्रोफेसर वीपी सिंह के सामने यौन शोषण का सनसनीखेज आरोप दोनों शिक्षकों पर लगाया। उन्होंने वो सारी बातें कह दीं जो आरोपी शिक्षक उनसे अकेले में कहते थे। छात्राओं का आरोप था, दोनों ही छींटाकशी करते हैं। शाम छह बजे के बाद विभाग में अकेले रुकने को कहते हैं। केबिन में बुलाते और अश्लील बातें करते हैं।
एबीवीपी भी कूदी विरोध में
छात्राएं प्रो-वीसी से अपनी बात कह रही थीं, इसी दौरान अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद भी उनके समर्थन में कूद पड़ा। प्रांतीय सह-संगठन मंत्री महेश राठौर, विश्वविद्यालय संयोजक सुमित गुर्जर और प्रदेश मंत्री यशवंत सिंह दर्जनों छात्रों के साथ प्रो-वीसी वीपी सिंह के कार्यालय पहुंच गए। उनका घेराव कर लिया। कार्रवाई की मांग को एक घंटे हंगामा किया।
शिक्षकों पर जांच बैठी
छात्राओें के खुलेआम आरोप और हंगामे को देख प्रो-वीसी को भी बैकफुट पर आना पड़ा। आनन-फानन में उन्होंने दोनों आरोपी शिक्षकों को मूल्यांकन से हटाने की घोषणा कर दी। भरोसा दिलाया कि सोमवार से महिला प्रकोष्ठ से जांच भी शुरू करा दी जाएगी। आरोप साबित हुए दोनों शिक्षकों पर कड़ी कार्रवाई तय है।
यह कहा
एप्लाइड केमिस्ट्री विभाग के दो शिक्षकों पर छात्राओं ने शारीरिक शोषण का आरोप लगाया है। मामले को गंभीरता से लेते हुए दोनों शिक्षकों को मूल्यांकन से हटाने की संस्तुति कर दी गई है। वहीं जांच कमेटी भी बनाने की संस्तुति कर दी गई है।
-प्रोफेसर वीपी सिंह, प्रो-वीसी रुविवि
स्थगित की गई परीक्षा
एमएससी द्वितीय के इंटरनल एग्जाम तो गए लेकिन प्रथम वर्ष की छात्राओं ने पेपर विरोध के चलते नहीं दिए। उनकी परीक्षाओं को स्थगित कर दिया गया।
डॉ. एसके पांडेय, एचओडी, एप्लाइड केमिस्ट्री विभाग
बाहरी शिक्षक करेंगे मूल्यांकन
प्रो-वीसी के सामने छात्राओं ने कहा कि यदि दोनों शिक्षकों ने मूल्यांकन किया तो उन्हें फेल कर दिया जाएगा। इस पर प्रो-वीसी ने बाहरी शिक्षकों से मूल्यांकन कराने के निर्देश दे दिए।