नई दिल्ली, पीटीआई। भारत में मेडिकल कॉलेजों की संख्या में 69 प्रतिशत की वृद्धि हुई है। सरकार ने मंगलवार को संसद में बताया कि कॉलेजों की संख्या 2014 से पहले 387 से अब तक 654 हो गई है। वहीं एमबीबीएस सीटों की संख्या 51,348 से 99,763 हो गई है, यानी 94 प्रतिशत की वृद्धि। इस बात की जानकारी स्वास्थ्य राज्य मंत्री भारती प्रवीण पवार ने राज्यसभा में एक प्रश्न के लिखित उत्तर में दी।
पीजी सीटों की संख्या में भी हुई वृद्धि
इसके अलावा, स्नातकोत्तर (पीजी) सीटों की संख्या में 107 प्रतिशत की वृद्धि हुई है, जो 2014 से पहले 31,185 से अब तक 64,559 हो गई है। स्वास्थ्य राज्य मंत्री भारती प्रवीण ने कहा कि देश में डॉक्टरों की संख्या बढ़ाने के लिए सरकार ने मेडिकल कॉलेजों की संख्या और एमबीबीएस सीटों की संख्या बढ़ाई है।
94 नए मेडिकल कॉलेज कर रहे हैं काम: केंद्रीय मंत्री
केंद्रीय मंत्री पवार ने कहा कि देश में मेडिकल सीटों की संख्या बढ़ाने के लिए सरकार द्वारा कई कदम उठाए गए हैं। इसमें जिला और रेफरल अस्पतालों को अपग्रेड करके नए मेडिकल कॉलेजों की स्थापना के लिए केंद्र प्रायोजित योजना शामिल है। पवार ने कहा कि मंजूरी दिए गए 157 नए मेडिकल कॉलेजों में से 94 पहले से ही काम कर रहे हैं।
मेडिकल कॉलेजों को मजबूत करने के लिए केंद्र प्रायोजित योजना की गई है लागू
मंत्री ने कहा कि एमबीबीएस और पीजी सीटों की संख्या बढ़ाने के लिए राज्य या केंद्र सरकार द्वारा संचालित मौजूदा मेडिकल कॉलेजों को मजबूत या उन्नत करने के लिए एक केंद्र प्रायोजित योजना लागू की गई है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुरक्षा योजना (पीएमएसएसवाई) के 'सुपर स्पेशियलिटी ब्लॉकों के निर्माण द्वारा सरकारी मेडिकल कॉलेजों का उन्नयन' के तहत कुल 75 परियोजनाओं को मंजूरी दी गई है, जिनमें से अबतक 60 पूरी हो चुकी हैं।
केंद्रीय क्षेत्र की योजना के तहत ऐसी 22 सुविधाओं को दी गई मंजूरी
मंत्री पवार ने कहा कि नए अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान (एम्स) की स्थापना के लिए केंद्रीय क्षेत्र की योजना के तहत ऐसी 22 सुविधाओं को मंजूरी दी गई है और उनमें से 19 में स्नातक पाठ्यक्रम शुरू हो गए हैं। उन्होंने कहा कि फैकल्टी, स्टाफ, बेड स्ट्रेंथ और अन्य बुनियादी ढांचे की आवश्यकता के संदर्भ में मेडिकल कॉलेजों की स्थापना के लिए मानदंडों में छूट की भी अनुमति दी गई है।
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