अनुच्छेद 370 राजनीतिक मुद्दा नहीं बल्कि एक राष्ट्रीय मुद्दा है - वेंकैया नायडू
उप-राष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने आंध्र प्रदेश के एक कार्यक्रम में कहा कि अनुच्छेद 370 राजनीतिक मुद्दा नहीं बल्कि एक राष्ट्रीय मुद्दा है।
हैदराबाद, पीटीआइ। जम्मू कश्मीर से अनुच्छेद 370 को हटाए जाने पर उप-राष्ट्रपति वेंकैया नायडू ने भी अपनी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। आंध्र प्रदेश के अमरावती में एक कार्यक्रम को संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 राजनीतिक मुद्दा नहीं, बल्कि एक राष्ट्रीय मुद्दा है और इसको जम्मू कश्मीर से हटाने का फैसला काफी अच्छा है।
अनुच्छेद 370 को लेकर काफी चिंतित थे वैंकेया
इस कार्यक्रम के दौरान उन्होंने कहा कि जब अनुच्छेद 370 को जम्मू कश्मीर से हटाए जाने का फैसला हुआ और राज्य के पुनर्गठन बिल को संसद में पेश किया गया था तो उस वक्त वह चिंतित थे। वे सारी रात यही सोच रहे थे कि जम्मू कश्मीर के अस्थायी बिल पर संसद में बहस होनी चाहिए।
अनुच्छेद 370 था अस्थायी
नवंबर 1963 के जवाहरलाल नेहरू के भाषण का हवाला देते हुए उपराष्ट्रपति ने कहा कि अनुच्छेद 370 केवल अस्थायी था। उन्होंने कहा कि उस दौरान संसद में कम से कम 110 कानून पास किए गए थे। इसके तहत जम्मू कश्मीर के लिए कुछ अस्थायी कानून बनाए गए थे। कई पार्टियों ने इसका विरोध किया और कहा कि इससे राज्य के लोगों के साथ अन्याय हो रहा है।
अनुच्छेद 370 पर बहस के लिए मिले थे चार घंटे
उन्होंने कहा कि अनुच्छेद 370 पर संसद में बहस करने के लिए केवल चार घंटे दिए गए थे, इस दौरान सभी सदस्यों को इसे खत्म करने को लेकर अपने विचार प्रकट करने का मौका दिया गया था। उन्होंने बताया है कि राज्यसभा से जम्मू-कश्मीर पुनर्गठन बिल को दो तिहाई बहुमत से इस बिल को पास किया था, जबकि लोकसभा में 80 फीसद सांसदों ने इसका समर्थन किया।
5 अगस्त को अनुच्छेद 370 हटाने का हुआ फैसला
उन्होंने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई में राज्य को दो अलग-अलग केंद्र शासित प्रदेशों (जम्मू-कश्मीर और लद्दाख) में बांटने पर मुहर लगी और राष्ट्रपति के आदेश से अनुच्छेद 370 को हटाने पर भी मुहर लगी।
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