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Bhojshala: भोजशाला के भीतरी हिस्से की कार्बन डेटिंग से पहले सैंपल एकत्र कर रही टीम, सातवें दिन छत की ऊपरी सतह का हुआ सर्वे

मध्य प्रदेश के धार में ऐतिहासिक भोजशाला में एएसआई सर्वे गुरुवार को भी जारी रहा। सातवें दिन विशेषज्ञों ने आधुनिक उपकरणों के माध्यम से भोजशाला की छत की ऊपरी सतह का सर्वे किया और भोजशाला के 50 मीटर के दायरे में जो भी धरोहरें हैं उन्हें रिकॉर्ड में दर्ज किया। भोजशाला के भीतरी भाग के फर्श का सर्वे पूरा कर लिया गया है।

By Jagran News Edited By: Sonu Gupta Published: Thu, 28 Mar 2024 09:43 PM (IST)Updated: Thu, 28 Mar 2024 09:52 PM (IST)
Bhojshala: भोजशाला के भीतरी हिस्से की कार्बन डेटिंग से पहले सैंपल एकत्र कर रही टीम, सातवें दिन छत की ऊपरी सतह का हुआ सर्वे
भोजशाला के भीतरी हिस्से की कार्बन डेटिंग से पहले सैंपल एकत्र कर रही टीम।

जागरण न्यूज नेटवर्क, धार। मध्य प्रदेश के धार में ऐतिहासिक भोजशाला में एएसआई सर्वे गुरुवार को भी जारी रहा। सातवें दिन विशेषज्ञों ने आधुनिक उपकरणों के माध्यम से भोजशाला की छत की ऊपरी सतह का सर्वे किया और भोजशाला के 50 मीटर के दायरे में जो भी धरोहरें हैं, उन्हें रिकॉर्ड में दर्ज किया।

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भोजशाला के भीतरी भाग के फर्श का सर्वे पूरा

भोजशाला के भीतरी भाग के फर्श का सर्वे पूरा कर लिया गया है। आगामी कुछ दिनों में भीतरी क्षेत्र में भी कुछ स्थानों पर खोदाई की जा सकती है। भोजशाला में तीन स्थानों पर नींव की जांच के लिए गहराई तक खोदाई हो चुकी है। कार्बन डेटिंग प्रक्रिया के पहले टीम कई तरह की सैंपलिंग भी कर रही है। यहां से प्राप्त नमूनों को लैब में परीक्षण के लिए भेजा जाएगा।

कल भी होगा सर्वे

मालूम हो कि मप्र हाई कोर्ट की इंदौर खंडपीठ के आदेश पर भोजशाला में एएसआइ की टीम सर्वे कर रही है। शुक्रवार को भी सुबह छह बजे से सर्वे शुरू होगा, जबकि दोपहर एक से तीन बजे तक वहां नमाज पढ़ी जाएगी। गुरुवार को सर्वे के लिए सुबह आठ बजे टीम के साथ हिंदू पक्ष के याचिकाकर्ता आशीष गोयल एवं गोपाल शर्मा तथा मुस्लिम पक्ष के अब्दुल समद भीतर पहुंचे थे। उच्च न्यायालय ने भोजशाला के 50 मीटर के दायरे का सर्वे करने के लिए कहा है।

गुरुवार को इस सीमा क्षेत्र में एएसआइ की टीम ने करीब तीन घंटे कार्य किया। आसपास के क्षेत्र में जो मकान बने या जो भी धरोहर हैं, उनकी छोटी से छोटी जानकारी सदस्य दर्ज कर रहे हैं। परिसर में मौजूद बावड़ी आदि का दस्तावेजीकरण भी किया गया।

भोजशाला एक मिस्ट्री हैः मुस्लिम पक्ष के अब्दुल समद

मुस्लिम पक्ष के अब्दुल समद ने कहा कि भोजशाला एक मिस्ट्री है। राजा भोज का किला कहां था, भोजशाला कहां थी, यह अस्पष्ट है। इसे ढूंढा जाना चाहिए। हम भी चाहते हैं कि इसे ढूंढा जाना चाहिए। इस पर हम भी खुलासा करेंगे।

भोजशाला की कुई से मिली थी विष्णु की मूर्ति : गोपाल शर्मा

मुस्लिम पक्ष के बयान पर हिंदू संगठन के गोपाल शर्मा ने कहा कि एएसआई अपना कार्य कर रहा है। निश्चित रूप से आगामी दिनों में सुखद परिणाम आएंगे। भोजशाला के पास अकल कुई (एक कुएं का नाम) है, जहां सालों पहले की गई खोदाई के दौरान भगवान विष्णु की एक बड़ी पाषाण प्रतिमा मिली थी, जो 10 टन वजनी है। इसे वर्तमान में मांडू के जहाज महल परिसर के तवेली महल स्थित संग्रहालय में रखा हुआ है। यह अपने आप में बहुत बड़ा प्रमाण है कि भोजशाला मंदिर है।

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पूरे प्रमाण मंदिर के हैंः शर्मा

उन्होंने कहा कि स्काउट-गाइड के पुराने प्रशिक्षण केंद्र के पास आज भी एक प्रतिमा रखी हुई है, जो कि 50 मीटर के दायरे में ही आती है। धार कभी नाथ संप्रदाय का एक महत्वपूर्ण स्थान हुआ करता था। यहां 437 से अधिक समाधि नाथ संप्रदाय की हुआ करती थी। यहां कमलनाथ महाराज का स्थान था, जहां शिवलिंग भी था। इस तरह से पूरे प्रमाण मंदिर के हैं। आसपास के खेत में हल चलाने पर भी मूर्तियां ही मिलती थीं, इस तरह से सभी साक्ष्य हमारे पक्ष में हैं। कमाल मौलाना की मजार तो अहमदाबाद में है।

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