दिल्ली में प्रचार, पिथौरागढ़ में धरातल से गायब पैराग्लाइडिंग

संवाद सहयोगी पिथौरागढ़ पैराग्लाइडिंग के जरिए पिथौरागढ़ में पर्यटन विकास के लिए सरकार दिल्ली

By JagranEdited By: Publish:Fri, 15 Mar 2019 11:20 PM (IST) Updated:Fri, 15 Mar 2019 11:20 PM (IST)
दिल्ली में प्रचार, पिथौरागढ़ में धरातल से गायब पैराग्लाइडिंग
दिल्ली में प्रचार, पिथौरागढ़ में धरातल से गायब पैराग्लाइडिंग

संवाद सहयोगी, पिथौरागढ़: पैराग्लाइडिंग के जरिए पिथौरागढ़ में पर्यटन विकास के लिए सरकार दिल्ली में तो प्रचार-प्रसार कर रही है, लेकिन उत्तराखंड में पर्यटन गतिविधियां धरातल पर नहीं उतर रही हैं। पिथौरागढ़ जिले को पैराग्लाइडिंग का हब बनाने की योजना पर हवाई सेवा शुरू होने के बाद विराम लग गया है।

सीमांत जिले पिथौरागढ़ में वर्ष 2016 में अंतरराष्ट्रीय स्तर का पैराग्लाइडिंग कंपटीशन कराया गया था, जिसमें देश-विदेश से आए पायलटों ने भागीदारी की। तमाम विशेषज्ञों ने पिथौरागढ़ में नेपाल के पोखरा और हिमाचल की तर्ज पर पैराग्लाइडिंग की बेहतरीन संभावनाएं जताई गई थी। विशेषज्ञों की राय के बाद सरकार ने इसके लिए खाका भी खींचा और इसका प्रचार-प्रसार भी शुरू कर दिया। दिल्ली में मेट्रो पर राज्य के टूरिस्ट डेस्टिनेशनों का उल्लेख करते हुए उन्हें राज्य में आने आमंत्रण भी दिया गया। इसमें पिथौरागढ़ में पैराग्लाइडिंग का विशेष उल्लेख किया गया है, लेकिन जिले में पिछले दो वर्ष से पैराग्लाइडिंग का कोई आयोजन ही नहीं हुआ है।

इधर अब पिथौरागढ़ नैनीसैनी हवाई पट्टी से उड़ान शुरू कर दी गई है। उड़ान शुरू हो जाने के बाद अब सोर घाटी के आसमान में पैराग्लाइडर नहीं उड़ सकेंगे। एअर ट्रैफिक कंट्रोल (एटीसी) के नियम इसकी इजाजत नहीं देते हैं। यह तय है कि सोर घाटी के आसमान में अब पैराग्लाइडिंग नहीं हो सकेगी। इससे पैराग्लाइडिंग के जरिए पर्यटन विकास की एक बड़ी उम्मीद धराशायी हो गई है। ======== पिथौरागढ़ जिला मुख्यालय के आसमान में पैराग्लाइडिंग में अब दिक्कत आएगी। इसे देखते हुए नए टैकिंग और लैंडिंग प्वाइंट का सर्वे किया जा रहा है। इसके लिए एक दो उड़ाने हो चुकी है। नए रू ट शहर से कुछ दूर होंगे।

- शंकर सिंह, सचिव उत्तराखंड पैराग्लाइडिंग एसोसिएशन

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