नैनीताल में तीन दशक से झील संवार रहे राजा साह

राजा साह सरोवर नगरी का एक ऐसा नाम जो यहां की झील को संरक्षित करने के लिए तीन दशक से पानी की एक-एक बूंद को संरक्षित कर रहे हैं।

By JagranEdited By: Publish:Sat, 05 Jan 2019 05:00 AM (IST) Updated:Sat, 05 Jan 2019 05:00 AM (IST)
नैनीताल में तीन दशक से झील संवार रहे राजा साह
नैनीताल में तीन दशक से झील संवार रहे राजा साह

जासं, नैनीताल : राजा साह सरोवर नगरी का एक ऐसा नाम जो यहां की झील को संरक्षित करने के लिए तीन दशक से एक-एक बूंद पानी को संरक्षित कर रहे हैं। ताल है तो नैनीताल है का संकल्प लेकर वह झील संरक्षित करने में जुटे हैं। व्यावसायिक पत्रक के माध्यम से पर्यटकों को पर्यावरण के लिए प्रेरित करना, पौधरोपण करना, साफ सफाई करना, झील में गिरने वाले नदी नालों की देखरेख करने के अलावा स्थानीय स्कूलों के बच्चों को इस ताल का महत्व और पर्यावरण से संबंध बताने का कार्य वह बखूबी कर रहे हैं।

ट्रेवल एजेंसी के संचालक नैनीताल निवासी राजा साह ने सन 1982 में ताल है तो नैनीताल है के नारे के साथ झील को संरक्षित करने का संकल्प लिया। तब से वह निरंतर इस अभियान को आगे बढ़ाने का कार्य कर रहे हैं। इसके बाद 1996 में साह की इस मुहिम को आगे बढ़ाने के लिए नैनीताल एक्वेटिक एडवेंचर स्पोट्स एसोसिएशन नासा संस्था भी बनाई गई। इस संस्था से जुड़े करीब पांच सौ सदस्य नालों व झील की सफाई करने के साथ ही झील के चारों ओर पौधरोपण का कार्य निरंतर करते आ रहे हैं।

----------------------

मकसद एक स्वच्छ रहे झील

मकसद एक ही हैं कि झील में किसी प्रकार की गंदगी न हो इसके लिए हमेशा अलर्ट रहते हैं। समय मिलते ही वह मुहिम से जुड़े लोगों के साथ सफाई में लग जाते हैं। शहर के निजी स्कूलों और सरकारी स्कूलों के बच्चों को भी इस मुहिम से जोड़ा गया है, जो छुट्टी के दिन ताल का निरीक्षण कर इसे साथ-सुथरा रखने के लिए कार्य करते हैं। झील का जलस्तर बना रहे इसके लिए झील के चारों ओर चौड़ी पत्तीदार पोधों का रोपण करवाया गया है। साह ने झील के अस्तित्व को बचाने के लिए डीएम विनोद कुमार सुमन द्वारा 24 घंटे पेयजल सप्लाई की प्रणाली में बदलाव को भी अपना पूरा समर्थन दिया। साह ट्रेकिंग के भी शौकीन है उन्होंने पिंडारी, मिलम आदि ग्लेशियर तक ट्रेकिंग की है।

chat bot
आपका साथी