कुकृत्य छिपाने को पीड़ित छात्रा की जान जोखिम में डाली

जागरण संवाददाता, देहरादून: अपने कुकृत्य को छिपाने के लिए प्रबंधन ने सामूहिक दुष्कर्म का श्ि

By JagranEdited By: Publish:Thu, 20 Sep 2018 03:04 AM (IST) Updated:Thu, 20 Sep 2018 03:04 AM (IST)
कुकृत्य छिपाने को पीड़ित छात्रा की जान जोखिम में डाली
कुकृत्य छिपाने को पीड़ित छात्रा की जान जोखिम में डाली

जागरण संवाददाता, देहरादून:

अपने कुकृत्य को छिपाने के लिए प्रबंधन ने सामूहिक दुष्कर्म का शिकार हुई नाबालिग छात्रा की जान जोखिम में डाल दी। तीन दिन से पुलिस से बच रही नर्सिग होम की डॉक्टर आखिरकार पुलिस के सामने आई। डॉक्टर ने खुलासा किया कि जब छात्रा को उनके पास लाया गया तो छात्रा को ब्लीडिंग हो रही थी। ऐसे में यह बात पुख्ता हो गई कि ब्लीडिंग स्कूल में देशी दवा पिलाने के बाद ही शुरू हो गई थी। वहीं पुलिस ने वारदात के चौथे दिन छात्रा और उसके पिता के बयान दर्ज कराए। बुधवार को पुलिस को मिली छात्रा की मेडिकल रिपोर्ट में दुष्कर्म की पुष्टि हुई है। उधर, जीआरडी स्कूल की बोर्डिग में रह रहे अधिकांश बच्चों को उनके अभिभावक घर ले गए। वहीं आम आदमी पार्टी व अन्य संगठनों ने स्कूल के बाहर प्रदर्शन किया।

जांच में सामने आया है कि 16 अगस्त को जब छात्रा को गर्भवती होने का अहसास हुआ तो उसने यह बात स्कूल की आया मंजू को बताई। पुलिस के अनुसार इसके बाद प्रबंधन तक बात पहुंची, फिर दीपक और उसकी पत्‍‌नी को जिम्मेदारी सौंपी गई कि जैसे भी हो छात्रा का गर्भपात कराया जाए। इसके बाद छात्रा को देशी दवा पिलाई गई, जिसके बाद उसे ब्लीडिंग होने लगी। इसके बाद छात्र की तबीयत बिगड़ गई। लेकिन छात्रा को किसी को भी यह बात न बताने की धमकी दी गई और उसे राजपुर रोड स्थित स्कूल की शाखा में शिफ्ट कर दिया। जब ब्लीडिंग नहीं रुकी तो प्रबंधन के लोग नई साजिश में लग गए। फर्जी अभिभावक तैयार कर छात्रा को राजपुर रोड पर न्यू अंपायर सिनेमा स्थित नर्सिग होम में ले जाया गया। एसओ नरेश राठौड़ ने बताया कि डाक्टर ने पूछताछ में बताया कि छात्रा के साथ एक महिला और एक पुरुष थे। दोनों ने खुद को छात्रा का अभिभावक बताया था। डाक्टर ने बताया कि उन्हें बताया कि छात्रा को तेज ब्लीडिंग हो रही थी। ऐसे में उसे मल्टीविटामिन और इन्फेक्शन रोकने की दवा दी गई। हालांकि डाक्टर के बयान की पुलिस अभी क्रॉस चेक करेगी। बता दें कि 14 अगस्त को सहसपुर के भाऊवाला स्थित जीआरडी व‌र्ल्ड स्कूल की निदेशक लता गुप्ता, पि्रंसिपल जितेंद्र शर्मा समेत नौ आरोपितों पर मुकदमा दर्ज हुआ है। इसमें तीन नाबालिग आरोपित इस समय हरिद्वार स्थित बाल सुधार गृह में हैं, जबकि अन्य आरोपित सुद्धोवाला जिला कारागार में रखे गए हैं।

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