नियमित रोजगार के लिये पीआरडी ने किया सचिवालय कूच

नियमित रोजगार समेत विभिन्न मांगों को लेकर प्रांतीय रक्षक दल हित संगठन (पीआरडी) के जवानों ने सोमवार को सचिवालय कूच किया।

By Sunil NegiEdited By: Publish:Mon, 16 Apr 2018 06:53 PM (IST) Updated:Tue, 17 Apr 2018 05:03 PM (IST)
नियमित रोजगार के लिये पीआरडी ने किया सचिवालय कूच
नियमित रोजगार के लिये पीआरडी ने किया सचिवालय कूच

देहरादून, [जेएनएन]: नियमित रोजगार समेत विभिन्न मांगों को लेकर प्रांतीय रक्षक दल हित संगठन (पीआरडी) के जवानों ने सोमवार को सचिवालय कूच किया। सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए जवानों को पुलिस सेंट जोजफ्स ऐकेडमी के बाहर ही बैरिकेडिंग लगाकर रोक दिया। इसके बाद जवान सड़क पर ही बैठ गये और शासन से अधिकारियों को वार्ता के लिये बुलाने की मांग करने लगे। मौके पर पहुंची सीओ डालनवाला जया बलूनी ने जवानों की वार्ता युवा कल्याण निदेशक से करवाने का आश्वासन दिया जिसके बाद जवानों ने प्रदर्शन खत्म किया। संगठन के प्रतिनिधिमंडल को निदेशक से आज वार्ता का समय दिया गया है।

प्रांतीय रक्षक दल हित संगठन ने परेड ग्राउंड धरना स्थल से सचिवालय कूच किया। सरकार के खिलाफ नारेबाजी करते हुए महिला व पुरुष पीआरडी जवानों ने सरकारी विभागों में नियमित रोजगार देने की मांग की। प्रदेश अध्यक्ष प्रमोद मंद्रवाल ने बताया कि वर्ष 2012 से वे मांगों को लेकर धरना-प्रदर्शन करते आ रहे हैं। कांग्रेस सरकार ने भी उनकी मांगों को अनसुना किया और अब भाजपा सरकार भी उसे ढर्रे पर चल रही है। प्रदेश में भाजपा की सरकार बनने के बाद विभागीय मंत्री ने वादा किया था कि वे जवानों की मांगें जरूर पूरी करेंगे, लेकिन एक साल बाद भी कोई कार्रवाई नहीं हुई है।

मंद्रवाल का कहना है कि यदि उनकी मांगें अब भी नहीं मानी गईं तो वे उग्र आंदोलन के लिये बाध्य होंगे। इस मौके पर जिलाध्यक्ष अशोक शाह, बिजेंद्र सिंह लोधी, हर्षपति केडियाल, सोहन सिंह लोधी, विनीता क्षेत्री, संजय कुमार, अजय कुमार, दीपा रावत, अनिल आर्य, राजीव कुमार, संजय कुमार, रोहित, गजेंद्र सिंह, दिलीप कुमार आदि मौजूद रहे। 

पीआरडी की प्रमुख मांगें

-नियमित रोजगार और विभागीय संविदा का लाभ

-बैल्ट व बैच नंबर आवंटित हो

-राच्य कर्मचारी की तरह मूलभूत सुविधाएं, वेतन में बढोत्तरी, बीमा, मेडिकल सुविधा, आकस्मिक अवकाश

-डयूटी के दौरान मृत्यु पर दस लाख रुपए परिजनों को आर्थिक लाभ

-रिटायरमेट के दौरान एकमुश्त धनराशि देना

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