एसजीआरआर पीजी कॉलेज में अभाविप के बागी ने मारा मैदान
एसजीआरआर पीजी कॉलेज में अभाविप के बागी प्रत्याशी प्रविन्द गुप्ता ने भारी मतों के साथ अध्यक्ष पद पर अपना कब्जा जमाया है।
देहरादून, [जेएनएन]: एसजीआरआर पीजी कॉलेज में अभाविप को बड़ा झटका लगा है। यहां संगठन के बागी प्रविन्द गुप्ता ने भारी मतों के साथ अध्यक्ष पद पर अपना कब्जा जमाया है। जबकि अभाविप के गिरीश भट्ट तीसरे स्थान पर रहे। एनएसयूआइ की गौरांगना क्षेत्री दूसरे स्थान पर रहीं। महासचिव पद पर अकमल अली ने शिवांग प्रताप राणा को शिकस्त दी। यह दोनों ही उ मीदवार आर्यन से जुड़े हैं, पर टिकट बंटवारे पर उपजे घमासान के बीच संगठन ने अपना कोई अधिकृत उ मीदवार मैदान में नहीं उतारा था।
एसजीआरआर पीजी कॉलेज में बुधवार को हुए मतदान में1269 मतदाताओं में से 879 (69.27 फीसद) ने मतदान किया। मतदान शांतिपूर्ण रहा। अपराह्न मतगणना शुरू हुई और शाम को परिणाम जारी किए गए। मु य चुनाव अधिकारी डॉ. प्रदीप सिंह ने बताया कि कॉलेज में छह पदों के लिए 15 प्रत्याशी मैदान में थे। परिणाम घोषित किए जाने के बाद विजेता छात्र संघ पदाधिकारियों को शपथ ग्रहण कराई गई। मतदान के लिए कॉलेज को चार जोन में बांटा गया था। इनमें दो जोन छात्राओं के लिए थे। अध्यक्ष पद पर अभाविप के बागी प्रविन्द गुप्ता ने एनएसयूआइ की गौरांगना क्षेत्री को 338 मतों के भारी अंत से हराया। महासचिव पद पर अकमल अली ने शिवांग प्रताप राणा को 89 वोट से हराया।
एकसाथ मनी होली-दिवाली
परिणाम घोषित होने से पहले ही अध्यक्ष पद पर आगे चल रहे प्रविन्द के समर्थकों ने कॉलेज के बाहर जश्न शुरू कर दिया था। इस दौरान छात्र ढोल की थाप पर जमकर थिरके। जीत की घोषणा होते ही परिसर नारों और ढोल की थाप से गूंज उठा। कॉलेज के अंदर और बाहर होली के त्यौहार जैसा मौसम हो गया। विजेताओं ने जीत का जश्न नाचते गाते हुए विजय जुलूस निकाल कर मनाया। वहीं, हारने वाले प्रत्याशी और समर्थकों के चेहरे लटके रहे।
इस बार रिकॉर्ड मतदान
पिछले सालों की अपेक्षा छात्रसंघ चुनाव में इस बार रिकॉर्ड मतदान हुआ है। पिछले साल मतदान प्रतिशत महज 45.25 फीसद पर आकर ठहर गया था। वर्ष 2017 में 58.57 प्रतिशत वोटिंग हुई थी। इस बार वोटिंग का ग्राफ तकरीबन 70 प्रतिशत तक पहुंच गया।
नोटा पर लगाई मुहर
छात्रसंघ चुनाव में उ मीदवार को नकारने वाले मतदाता भी कम नहीं थे। नोटा का विकल्प भी उन्होंने खूब इस्तेमाल किया। सह सचिव पद पर सर्वाधिक 114 छात्र-छात्राओं ने नोटा का विकल्प चुना। जबकि सबसे कम नोटा का इस्तेमाल अध्यक्ष पद पर हुआ। इस पद पर 9 छात्र-छात्राओं ने नोटा का विकल्प चुना। कोषाध्यक्ष पद पर 79, विवि प्रतिनिधि के पद पर 52, उपाध्यक्ष पद पर 45 और महासचिव पद पर 34 ने नोटा का विकल्प चुना।ये बने विजेता
पद-विजेता-प्राप्त मत-प्रतिद्वंदी-प्राप्त मत
अध्यक्ष-प्रविन्द गुप्ता-550-गौरांगना क्षेत्री -212
उपाध्यक्ष-मो. आसिफ -295-वर्षा धीमान-277
महासचिव-अकमल अली-464-शिवांग प्रताप राणा-375
सह-सचिव-दीपा गड़िया-383-दिव्या अरोड़ा -367
कोषाध्यक्ष-शिवानी नेगी-402-सनावर नाज -220
विवि प्रतिनिधि-दमनजीत सिंह भाटिया-465-मृदुल भट्ट -350
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