Kedarnath Disaster: केदारनाथ क्षेत्र में आज भी मौजूद हैं नर कंकाल? फिर तलाश शुरू, जानें पूरी खबर

Kedarnath Disaster केदारनाथ आपदा में लापता हुए देश-विदेश के यात्रियों की खोजबीन के लिए बुधवार को पुलिस टीमें विभिन्न ट्रैकों से केदारनाथ के लिए रवाना हुईं।

By Raksha PanthariEdited By: Publish:Wed, 16 Sep 2020 09:17 PM (IST) Updated:Wed, 16 Sep 2020 11:20 PM (IST)
Kedarnath Disaster: केदारनाथ क्षेत्र में आज भी मौजूद हैं नर कंकाल? फिर तलाश शुरू, जानें पूरी खबर
Kedarnath Disaster: केदारनाथ क्षेत्र में आज भी मौजूद हैं नर कंकाल? फिर तलाश शुरू, जानें पूरी खबर

रुद्रप्रयाग, जेएनएन। Kedarnath Disaster साल 2013 में केदारनाथ आपदा में लापता हुए देश-विदेश के यात्रियों की खोजबीन के लिए बुधवार को पुलिस टीमें विभिन्न ट्रैकों से केदारनाथ के लिए रवाना हुईं। ये टीमें सात साल पहले लापता हुए तीन हजार से अधिक लोगों के नरकंकाल खोजने का काम करेंगी। न्यायालय के निर्देश पर यह चार दिवसीय सर्च अभियान चलाया जा रहा है। नरकंकालों की खोजबीन के लिए 10 टीमों का गठन किया गया था, जिन्हें पुलिस कप्तान नवीनत सिंह ने दस अलग-अलग मार्गों (ट्रैकों) के लिए रवाना किया। 

पुलिस अधीक्षक ने रवाना होने वाली टीमों के सभी सदस्यों को सोनप्रयाग में ब्रीफ करते हुए आवश्यक दिशा-निर्देश दिए। इसके बाद सभी टीमें सुबह आठ बजे सोनप्रयाग से अपने-अपने ट्रैकों के लिए रवाना हुईं। सर्च अभियान भी शुरू कर दिया गया है। यह टीमें गौरीकुंड से केदारनाथ, जिसमें वर्तमान पैदल मार्ग के आस-पास का क्षेत्र, गौरीकुंड से गोऊंमुखड़ा, गौरीकुंड से मुनकटिया का ऊपरी क्षेत्र होते हुए सोनप्रयाग, त्रियुगीनारायण से गरूड़चट्टी होते हुए केदारनाथ, कालीमठ से चौमासी होते हए रामबाड़ा, जंगलचट्टी का ऊपरी क्षेत्र, रामबाड़ा का ऊपरी क्षेत्र, केदारनाथ बेस कैंप का ऊपरी क्षेत्र और केदारनाथ मंदिर के आसपास का क्षेत्र, केदारनाथ से चौराबाड़ी और आसपास का क्षेत्र, केदारनाथ से वासुकीताल ट्रैक शामिल है। 

केदारनाथ क्षेत्र से अभियान शुरू करने वाली टीमों ने दोपहर में केदारनाथ पहुंचने के बाद सर्च अभियान की शुरुआत की। सभी टीमें उनको आवंटित क्षेत्रों या ट्रैक रूटों पर सर्च करने के बाद शाम को सुरक्षित स्थानों पर कैंपिंग करते हुए रात्रि विश्राम करेंगी। इसके बाद दूसरे दिन अभियान को आगे बढ़ाया जायेगा। हर टीम को पर्याप्त मात्रा में रात्रि विश्राम के लिए टैंट, स्लीपिंग बैग, मैट्रस, रसद सामग्री, आवश्यक सुरक्षा उपकरण, संचार के लिए वायरलेस सेट, फोटो-वीडियोग्राफी के लिए कैमरे और अभियान के दौरान मिलने वाले नर कंकालों को रखने के लिए बॉडी बैग उपलब्ध कराए गए हैं। 

पुलिस कप्तान नवनीत सिंह भी केदारनाथ पैदल पहुंचे हैं। वे यहां सर्च टीम को दिशा-निर्देश देंगे। इस अभियान में पुलिस, एसडीआरएफ के 50 जवान और स्वास्थ्य विभाग के 10 फार्मसिस्ट समेत कुल 60 कार्मिक शामिल हुए हैं। गौरतलब है कि केदारनाथ आपदा में अभी तक 699 नर कंकाल बरामद किए गए हैं, जबकि अब भी तीन हजार से अधिक लोग लापता चल रहे हैं।

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