अगर आपको भी है पालतू जानवरों को पालने का शौक और नहीं किया है ये काम तो हो जाएं सावधान, वरना भरना पड़ सकता है जुर्माना

अगर आपने अपने पालतू कुत्ते का नगर निगम में पंजीकरण नहीं कराया है तो आगामी हफ्ते के पहले सोमवार से जुर्माना भरने को तैयार रहिये। नगर निगम द्वारा मकान मालिकों पर जुर्माने की कार्रवाई के लिए चार टीम गठित की गई हैं।

By Raksha PanthriEdited By: Publish:Tue, 05 Jan 2021 04:11 PM (IST) Updated:Tue, 05 Jan 2021 04:11 PM (IST)
अगर आपको भी है पालतू जानवरों को पालने का शौक और नहीं किया है ये काम तो हो जाएं सावधान, वरना भरना पड़ सकता है जुर्माना
अगर आपके पास भी हैं पालतू कुत्ते और नहीं किया ये काम तो सचेत हो जाएं।

जागरण संवाददाता, देहरादून। अगर आपने अपने पालतू कुत्ते का नगर निगम में पंजीकरण नहीं कराया है तो आगामी हफ्ते के पहले सोमवार से जुर्माना भरने को तैयार रहिये। नगर निगम द्वारा मकान मालिकों पर जुर्माने की कार्रवाई के लिए चार टीम गठित की गई हैं। यह टीमें सुबह-शाम शहरभर में घूमकर पालतू कुत्तों की तलाश करेंगी और पंजीकरण नहीं होने पर संबंधित मालिक का 500 रुपये का चालान किया जाएगा। दूसरी बार पकड़े जाने पर 5000 रुपये का चालान और तीसरी बार मुकदमे की कार्रवाई होगी। 

नगर निगम ने 2014 में पालतू कुत्तों का पंजीकरण शुरू किया था, जिसमें अभी तक महज 65 कुत्तों का ही पंजीकरण हुआ था। बीते एक महीने में निगम के पशु चिकित्सा अनुभाग ने शहर में सर्वे किया और मौजूदा समय में आंकड़ा 980 पहुंच गया है। शहर में एक अनुमान के अनुसार पालतू कुत्तों की संख्या 50 हजार के आसपास है। निगम के वरिष्ठ पशु चिकित्साधिकारी डा. दिनेश चंद्र तिवारी के अनुसार शहर में सुबह-शाम सैर के लिए निकलते हुए लोग अपने साथ गले में चेन-पट्टा डाले हुए पालतू कुत्ते को संग लेकर चलते हैं।

ये कुत्ते जगह-जगह गंदगी फैलाते हैं और दूसरे जन पर गुर्राते हैं। नगर निगम पिछले कुछ दिनों से पालतू कुत्तों का पंजीकरण कराने को लेकर गंभीर है। निगम में पंजीकरण कराने पर कुत्ते को मालिक को 200 रुपये सालाना शुल्क देना पड़ता है पर यह मामूली शुल्क देने से बचने को मालिक कुत्तों का पंजीकरण नहीं कराते। अब निगम ने पंजीकरण नहीं कराने पर जुर्माना निर्धारित कर दिया है। 

पंजीकरण के लिए प्रविधान

-पंजीकरण फार्म के साथ पशु चिकित्सक से रैबीज से बचाने को लगने वाले टीके के लगे होने का प्रमाण-पत्र लाना होगा। 

-जीवाणुनाशक का प्रमाण पत्र भी साथ लाना होगा। 

-पंजीकरण के बाद नगर निगम संबंधित व्यक्ति को उसके नाम और पते वाला एक टोकन देगा। 

-पंजीकरण के लिए 200 रुपये शुल्क जमा होगा।

-पालतू कुत्ते के किसी को काटने पर नुकसान की प्रतिपूर्ति उसके मालिक को करनी पड़ेगी।

वरिष्ठ पशु चिकित्साधिकारी डॉ. दिनेश चंद्र तिवारी ने बताया कि आगामी सोमवार से नगर निगम ने अपने पालतू कुत्तों के पंजीकरण नहीं कराने वालों पर कार्रवाई के लिए चार टीमें गठित कर दी हैं। इसमें पहली बार में 500 रुपये व दूसरी बार में 5000 रुपये चालान होगा। यदि तब भी संबंधित मालिक ने पंजीकरण न कराया तो मुकदमे की कार्रवाई की जाएगी। निगम की टीमें सुबह-शाम शहर में घूमकर पालतू कुत्तों का पता लगाएंगी।

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