देहरादून: किटी के नाम पर 15 लाख की ठगी, चेक बाउंस मामले में एक गिरफ्तार

किटी के नाम पर 10 व्यक्तियों से 14 लाख 70 हजार रुपये की ठगी का मामला सामने आया है। इस मामले में तीन के खिलाफ डालनवाला कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया गया है। वहीं दूसरी ओर चेक बाउंस होने के मामले डालनवाला कोतवाली पुलिस ने एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया।

By Raksha PanthariEdited By: Publish:Wed, 25 Nov 2020 02:43 PM (IST) Updated:Wed, 25 Nov 2020 02:43 PM (IST)
देहरादून: किटी के नाम पर 15 लाख की ठगी, चेक बाउंस मामले में एक गिरफ्तार
किटी के नाम पर 15 लाख की ठगी, चेक बाउंस मामले में एक गिरफ्तार।

देहरादून, जेएनएन। देहरादून में किटी के नाम पर 10 व्यक्तियों से 14 लाख 70 हजार रुपये की ठगी का मामला सामने आया है। इस मामले में तीन के खिलाफ डालनवाला कोतवाली में मुकदमा दर्ज किया गया है। वहीं, दूसरी ओर चेक बाउंस होने के मामले डालनवाला कोतवाली पुलिस ने एक व्यक्ति को गिरफ्तार किया है। आरोपित को अदालत ने न्यायिक हिरासत में भेज दिया है।

डालनवाला कोतवाली के इंस्पेक्टर मणिभूषण श्रीवास्तव के अनुसार विकासलोक रायपुर निवासी राजेश कुमार ने धोखाधड़ी की तहरीर दी है। राजेश का कहना है कि नवीन कुमार उनका पुराना परिचित है, जो किटी चलाता है। नवीन ने जनवरी 2017 में उन्हें अधिक ब्याज दिलाने का झांसा देकर किटी में निवेश करने के लिए कहा। राजेश के साथ किटी में उनके पड़ोसियों राखी पाल, पूजा पाल, सीमा पाल, पूनम पाल, निशांत, कविता, सरला, सुभाष व सरिता पाल ने भी निवेश कर दिया। नवीन ने सभी से कुल मिलाकर 14 लाख 70 हजार रुपये जमा कराए। किटी की अवधि पूरी होने पर राजेश और उनके पड़ोसी अपनी रकम लेने के लिए नवीन के पास गए तो उसने गाली-गलौज की। इसके बाद उसने अपना फोन बंद कर दिया। इंस्पेक्टर ने बताया कि नवीन के अलावा कुसुम पाल और सुनील पाल निवासी ओल्ड डालनवाला के खिलाफ भी धोखाधड़ी का मुकदमा दर्ज किया गया है। 

देनदारी चुकाने को दिए चेक बाउंस, आरोपित गिरफ्तार  

पुलिस के अनुसार, कालीदास रोड पर रहने वाले 90 वर्षीय एसके सूदन रेलवे से चीफ ऑपरेटिंग सुपिरिटेंडेंट के पद से सेवानिवृत्त हैं। उनका रिश्तेदार बांके बिहारी संपत्ति खरीदने और बेचने का काम करता है। उसने मैसर्स शर्मा एसोसिएट नाम से फर्म भी बना रखी है। बांके बिहारी लंबे समय से एसके सूदन से रुपये उधार लेता आ रहा है। इसके लाभांश के रूप में उसने 15 प्रतिशत वार्षिक ब्याज देने का आश्वासन दिया था। वर्ष 2012-13 तक बांके बिहारी पर एसके सूदन के 27 लाख 75 हजार रुपये की धनराशि बकाया हो गई। 

इस देनदारी के एवज में आरोपित ने 25 जून 2018 से 25 जून 2019 के बीच उन्हें कई चेक दिए, लेकिन बैंक खाते में धनराशि नहीं होने के कारण चेक बाउंस हो गए। इसपर एसके सूदन कोर्ट चले गए। इतना ही नहीं, देनदारी से बचने के लिए बांके बिहारी ने धन वापसी की फर्जी रसीद भी बना डाली। डालनवाला कोतवाली के इंस्पेक्टर मणिभूषण श्रीवास्तव ने बताया कि वारंट जारी होने के बाद भी बांके बिहारी कोर्ट में पेश नहीं हुआ था। सोमवार को उसे गिरफ्तार कर लिया गया।

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