छूट मिली तो बेलगाम हो गए फैक्ट्री संचालक

जागरण संवाददाता, उन्नाव: कुंभ के दौरान फैक्ट्रियों को बंद कराने के फरमान से कुछ फैक्ट्र

By JagranEdited By: Publish:Sat, 19 Jan 2019 08:05 PM (IST) Updated:Sat, 19 Jan 2019 08:05 PM (IST)
छूट मिली तो बेलगाम हो गए फैक्ट्री संचालक
छूट मिली तो बेलगाम हो गए फैक्ट्री संचालक

जागरण संवाददाता, उन्नाव: कुंभ के दौरान फैक्ट्रियों को बंद कराने के फरमान से कुछ फैक्ट्री संचालकों को छूट क्या मिली वह बेलगाम हो गए। इन उद्यमियों ने अब पहले से भी अधिक अंधेर मचाना शुरू कर दिया। हालात यह हैं कि दही चौकी स्थित साइड नंबर-1 व 2 से बड़ी मात्रा में बिना शोधित किया हुआ हजारों लीटर पानी लोनी ड्रेन में गिराया जा रहा है। उनकी इस कारस्तानी की ओर प्रदूषण व प्रशासनिक अधिकारी ध्यान भी नहीं दे रहे हैं।

प्रयागराज में आयोजित हो रहा कुंभ मेला शुरू हो चुका है। यहां पहुंचने वाले श्रद्धालुओं को शुद्ध गंगाजल मिल सके इसके लिए शासन व प्रशासन ने सभी प्रदूषणकारी फैक्ट्रियों को बंद कराने के आदेश जारी किए थे। साथ ही डीएम की अध्यक्षता में एक जिला स्तरीय अनुश्रवण निगरानी समिति का गठन कर जिम्मेदारी दी थी कि वह गंगा में गिर रहे सभी प्रमुख नालों की निगरानी करने के साथ फैक्ट्रियों की भी समय-समय पर जांच करे। इसमें समिति के अधिकारियों ने लोनी ड्रेन का पानी गंगा में न जाने की बात कह इससे जुड़ी फैक्ट्रियों में उत्पादन बंद नहीं कराया। वहीं सिटी ड्रेन से जुड़ी फैक्ट्रियों को बंद कराने का फरमान जारी किया गया। इसके बाद से दही चौकी स्थित फैक्ट्रियों के संचालित होने की छूट मिल गई। छूट मिलते ही यहां के उद्योग बेलगाम हो गए। मौजूदा हालात यह हैं कि दही चौकी क्षेत्र की साइड नंबर-1 व 2 की दर्जनों फैक्ट्रियों से बेतहाशा प्रदूषित पानी लोनी ड्रेन में बहाया जा रहा है।

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फैक्ट्रियां खुली, सीईटीपी पहुंच रहा सिर्फ एक चौथाई पानी

दही चौकी क्षेत्र की फैक्ट्रियों को चाल रखने के निर्देश हैं। इसके बाद भी सीईटीपी की क्षमता करीब 2150 केएल के सापेक्ष यहां सिर्फ 5 से 6 सौ केएल पानी पहुंच रहा है। इससे उद्यमियों की कारस्तानी का अंदाजा साफ लगाया जा सकता है।

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अकरमपुर व बंथर का काम भी निपटा रहे यहां के उद्योग

जानकारों की मानें तो अकरमपुर व बंथर स्थित फैक्ट्रियों की बंदी का फायदा दही चौकी क्षेत्र के उद्यमी जमकर उठा रहे हैं। वह मानकों को दरकिनार कर भारी मात्रा में अवैध कार्य भी कर रहे हैं। ---- फैक्ट्रियों में जल उत्प्रवाह पहले ही 50 फीसद करवाया जा चुका था। काम कम होने के चलते उद्योगों से प्रदूषित पानी काफी कम निकल रहा है। वैसे भी लोनी ड्रेन से जुड़ी फैक्ट्रियों को संचालित करने के आदेश हैं।

- विमल कुमार, आरओ, जिला प्रदूषण कंट्रोल बोर्ड।

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