लाउडस्पीकरों की जांच में लगे एसडीएम व थानेदार

सहारनपुर : लाउडस्पीकर को लेकर आए हाईकोर्ट के आदेश के बाद सरकारी मशीनरी ने का

By JagranEdited By: Publish:Mon, 08 Jan 2018 11:03 PM (IST) Updated:Mon, 08 Jan 2018 11:03 PM (IST)
लाउडस्पीकरों की जांच में लगे एसडीएम व थानेदार
लाउडस्पीकरों की जांच में लगे एसडीएम व थानेदार

सहारनपुर : लाउडस्पीकर को लेकर आए हाईकोर्ट के आदेश के बाद सरकारी मशीनरी ने काम शुरू कर दिया है। डीएम ने बाकायदा मी¨टग के बाद जनपद के धार्मिक स्थलों पर लगे लाउडस्पीकर के ¨चहीकरण की प्रक्रिया शुरू करा दी है। साथ ही नोटिस के माध्यम यह भी पूछा जा रहा है कि उनके पास लाउडस्पीकर बजाने की अनुमति है या नहीं है। इतना ही नहीं डीएम ने यह भी स्पष्ट कर दिया है कि सुबह 4-6 के बीच में होने वाली फज्र की अ•ान में किसी भी सूरत में लाउडस्पीकर बजने नहीं दिया जाएगा।

गत दिवस धार्मिक स्थलों पर लगे लाउडस्पीकर बजाने पर हाईकोर्ट ने आदेश दिया था। इसमें कहा था कि 15 जनवरी के बाद बिना अनुमति के लाउडस्पीकर नहीं बजाए जाएंगे। शासन ने सभी जिलाधिकारियों को 10 जनवरी तक बिना अनुमति के लाउडस्पीकरों के बजने की सूचना एकत्र करने का आदेश दिया था। इस आदेश के बाद अपर जिलाधिकारी प्रशासन ने सभी उप जिलाधिकारियों को पत्र लिखकर अपने क्षेत्र के लाउडस्पीकरों को ¨चहित कर अनुमति के लिए निर्धारित प्रारूप पर आवेदन लेने का आदेश दिया है। पत्र की प्रतिलिपि पुलिस अधीक्षक ग्रामीण और नगर को भेजते हुए अनुरोध किया गया है कि वह अपने-अपने क्षेत्र में सभी क्षेत्राधिकारियों और थानाध्यक्षों को भी लाउडस्पीकरों की जांच में लगा दें। जिले में 20 जनवरी के बाद बिना अनुमति लाउडस्पीकर नहीं बजने दिया जाएगा।

अपर जिलाधिकारी प्रशासन एसके दूबे ने बताया कि लाउडस्पीकरों को ¨चहित करने का काम शुरू करा दिया गया है। 15 जनवरी से नोटिस दिये जाएंगे, इसके बाद अभियान चलाया जाएगा। अनुमति का प्रारूप भी शासन से आया है। वह प्रारूप उन्हें उपलब्ध कराया जाएगा। उनका कहना है कि हाईकोर्ट के आदेश के अनुसार रात दस बजे से सुबह 6 बजे तक कहीं पर भी लाउडस्पीकर नहीं बजने दिया जाएगा। यह आदेश सभी धर्म स्थलों के लिए है। उन्होंने कहा कि शहर में कितने धार्मिक या सार्वजनिक स्थलों पर लाउडस्पीकर की अनुमति है या नहीं है। इसका सर्वे थानों के माध्यम से कराया जा रहा है। ताकि अनुमति न होने की स्थिति में वह 20 जनवरी तक अनुमति ले लें। अपर जिलाधिकारी प्रशासन एसके दुबे ने बताया कि इस आदेश का पालन सभी तरह के जुलूसों और बरातों में भी कराया जाएगा, जो आयोजक ध्वनि प्रदूषण विनियमन और नियंत्रण नियम 2000 के प्रावधानों का पालन नहीं करेगा उसके खिलाफ भी कार्रवाई की जाएगी। इसके उल्लंघन पर 5 वर्ष की सजा और एक लाख रुपए जुर्माना का भी प्राविधान है।

एसपी देहात विद्या सागर मिश्र का कहना है कि थानेदारों के माध्यम से इनको ¨चहित करने का काम शुरू कर दिया गया है। थानेदारों के माध्यम से ही नोटिस जारी करने का काम किया जाएगा। किसी को भी नियम विरुद्ध कार्य करने की अनुमति नहीं दी जाएगी।

इनका कहना है..

नायब शहर काजी नदीम अख्तर का कहना है कि सभी धर्मों के प्रमुख धार्मिक स्थलों पर लाउडस्पीकर की छूट होनी चाहिए। यह बात सही है कि ज्यादा तेज आवाज के लाउडस्पीकर पर पाबंदी होनी जरूरी है।

पंडित योगेश दीक्षित का कहना है कि यह अदालत का अच्छा फैसला है। यह फैसला सभी के लिए एक समान लागू हो। लाउडस्पीकर की अनुमति लेने के लिए कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए।

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