IIM में मंत्रियों की ट्रेनिंग के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा-जीवन में सीखने का जहां मौका मिले, सीखें जरूर

योगी सरकार के मंत्री भारतीय प्रबंध संस्थान लखनऊ में मैनेजमेंट के गुरुजन से सुशासन और प्रबंधन के गुर सीख रहे हैं।

By Umesh TiwariEdited By: Publish:Sun, 08 Sep 2019 09:32 AM (IST) Updated:Mon, 09 Sep 2019 07:05 AM (IST)
IIM में मंत्रियों की ट्रेनिंग के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा-जीवन में सीखने का जहां मौका मिले, सीखें जरूर
IIM में मंत्रियों की ट्रेनिंग के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा-जीवन में सीखने का जहां मौका मिले, सीखें जरूर

लखनऊ, जेएनएन। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के साथ उनके मंत्रिमंडल के अधिकांश सदस्य आज भारतीय प्रबंध संस्थान की कलास में थे। यहां पर तीन सत्र में मंत्रिमंडल के सभी सदस्यों को टाइम मैनेजमेंट के साथ ही अन्य विधा की शिक्षा दी जा रही है। आज रविवार को पहला सत्र था। दूसरा सत्र 15 सितम्बर को और तीसरा सत्र 22 सितम्बर को होगा।

योगी आदित्यनाथ सरकार के मंत्री भारतीय प्रबंध संस्थान (आइआइएम) लखनऊ में मैनेजमेंट के गुरुजन से सुशासन और प्रबंधन के गुर सीख रहे हैं। प्रबंधन के गुरुकुल में उन्हें वैश्विक, राष्ट्रीय और राज्य के आर्थिक परिदृश्य के बारे में बताया जा रहा है। यहां उनको तीन सत्र में बताया जाएगा कि भविष्य द्रष्टा के रूप में वे कैसे सफल रणनीतियां बुनें और उन्हें हकीकत में बदलें, इसकी नसीहत भी दी जा रही है। रविवार को पहला सत्र था। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ खुद भी इस ट्रेनिंग सेशन में मौजूद रहे और मैनेजमेंट के गुर सीखने के अपने मंत्रियों की क्लास ली।

मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने आइआइएम में लीडरशिप डेवलपमेंट मंथन-1 को सम्बोधित किया। सीएम योगी आदित्यनाथ ने कहा कि जीवन सीखने के लिए होता है। सीखने के लिए जहां कहीं भी अवसर मिले उसका लाभ अवश्य लेना चाहिए। प्रदेश के सर्वांगीण विकास में इस तरह के प्रशिक्षण कार्यक्रम काफी कार्यक्रम सहायक सिद्ध हो सकते हैं। प्रदेश सरकार तो उत्तर प्रदेश को श्रेष्ठ राज्य बनाने की दिशा में सकारात्मक प्रयास कर रही। प्रदेश सरकार सुशासन, प्रबंधन, नेतृत्व कौशल व जनभागीदारी को बेहतर ढंग जानने के लिए आइआइएम संस्थान से सहयोग प्राप्त कर रही है। पहली बार किसी राज्य सरकार ने देश में अपने राजनीतिक  नेतृत्व की दक्षता के लिए देश के श्रेष्ठ प्रबन्धन संंस्थान से प्रशिक्षण लेने के लिए देश के श्रेष्ठ प्रबन्धन संस्थान से प्रशिक्षण लेने का फैसला किया है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ढाई वर्ष में जनता की आशा व आकांक्षाओं की कसौटी पर खरी उतरी है। प्रदेश सरकार 'सबका साथ-सबका विकास-सबका विश्वास' की अवधारणा को अपनाते हुए जनता की सेवा कर रही है। अपना अनुभव साझा करते हुए उन्होंने कहा एक प्रशासनिक अधिकारी के  सुझावों को प्राथमिक विद्यालयों पर लागू किया, जिसके सकारात्मक परिणाम आये। शासन की योजनाओं को जनता तक पहुंचाने में शिक्षण संस्थान महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकते हैं। उन्होंने कहा कि आइआइएम के सहयोग मंथन कार्यक्रम के तीन विशेष सत्रों का आयोजन किया जा रहा है। जिसका प्रथम सत्र आज आयोजित किया गया। प्रदेश के सर्वांगीण विकास में इस तरह के प्रशिक्षण कार्यक्रम सहायक सिद्ध हो सकते हैं। 

कार्यक्रम को सम्बोधित करते हुए आइआइएम, लखनऊ की निदेशक प्रो. अर्चना शुक्ला ने कहा कि प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की प्रेरणा से यह कार्यक्रम सम्पन्न हो रह है। उत्तर प्रदेश तो भारत की रीढ़ है। उत्तर प्रदेश का सर्वांगीण विकास करके ही हम देश के विकास में सहभागी बन सकते हैं। उन्होंने कहा कि एक राजनेता से जनता को काफी उम्मीदें होती हैं। इन उम्मीदों को पूरा करने में यह मंथन कार्यक्रम महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।

इंडियन इंस्टिट्यूट ऑफ मैनेजमेंट लखनऊ में रविवार योगी आदित्यनाथ सरकार के मंत्रियों ने प्रबंधन के गुर सीखे। सभी मंत्री आईआईएम लखनऊ में सुबह नौ बजे पहुंचे। उनको प्रबंधन के गुर सिखाने के लिए आईआईएम के प्रोफेसर ने क्लास ली जिसमें उनको टाइम मैनेजमेंट और ऑफिस के कामकाज को बेहतर ढंग से करने के गुर सिखाए गए। पहले ब्रेक के बाद योगी के मंत्रियों ने इस ट्रेनिंग सेशन को बेहद कारगर बताया। 

जीवन भर सीखने की जरूरत : सुरेश खन्ना

सरकार के मंत्री सुरेश खन्ना ने कहा कि इंसान को बेहतर करने के लिए जीवन भर सीखने की जरूरत पड़ती है और यह सतत प्रक्रिया है। उन्होंने इस प्रशिक्षण कार्यक्रम के लिए सरकार का धन्यवाद अदा किया। इस मौके पर योगी आदित्यनाथ के नए मंत्रियों ने इसे एक अनूठा प्रयोग बताया। उनका कहना है, इंसान को पूरी जिंदगी कुछ न कुछ सीखते रहना चाहिए। प्रशिक्षण पाने वाले सभी मंत्री व्यवहारिक और राजनीतिक जीवन में इस अनुभव को साझा करेंगे। इसके साथ ही साथ अपने दैनिक कामकाज में इस प्रशिक्षण का प्रयोग भी करेंगे। 

दो दर्जन से अधिक मंत्री

पहले दिन ट्रेनिंग पर आए मंत्रियों में खासतौर पर ऊर्जा मंत्री श्रीकांत शर्मा, खादी ग्राम उद्योग मंत्री सिद्धार्थ नाथ सिंह, कानून मंत्री बृजेश पाठक, जल शक्ति मंत्रालय के मंत्री महेंद्र सिंह, गन्ना मंत्री मंत्री सुरेश राणा, राज्यमंत्री महिला एवं बाल कल्याण मंत्री स्वाति सिंह व अल्पसंख्यक कल्याण राज्यमंत्री मंत्री मोहसिन रजा थे। करीब दो दर्जन से ज्यादा राज्यमंत्री और कैबिनेट मंत्री भी थे। 

रविवार को प्रशिक्षण के पहले दिन सीएम योगी आदित्यनाथ खुद अपनी टीम को लेकर आइआइएम पहुंचे हैं। सभी मंत्रियों को रविवार सुबह सात बजे ही मुख्यमंत्री के सरकारी आवास पर पहुंचने के लिए कहा गया था। यहां से सारे मंत्री एक बस में बैठक प्रशिक्षण लेने आइआइएम परिसर पहुंचे। युवा व नए मंत्रियों के लिए यह कवायद खासी उपयोगी मानी जा रही है। मंत्रियों की कार्यकुशलता बढ़ाने व अनुभव दिलाने के लिए यह सत्र अहम होगा। इन्हें बताया जाएगा कि किसी लक्षित समूह तक योजनाएं किस तरह पहुंचानी हैं। जनता से सीधा संवाद व संपर्क, छवि निर्माण आदि पर भी विशेषज्ञ अपनी राय रखेंगे। प्रशिक्षण का दूसरा सत्र 15 सितंबर को योजना भवन और तीसरा सत्र मुख्यमंत्री के सरकारी आवास पर प्रस्तावित है।

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