Lockdown 3 : राहत के कदमों में रहेंगी शर्तों की सख्त बेड़ियां, हर जिले में तैनात होंगे इंसीडेंट कमांडर

Lockdown 3 अब उत्तर प्रदेश में सार्वजनिक स्थल पर थूकना भी अपराध माना जाएगा। लॉकडाउन के तीसरे चरण के लिए गाइडलाइन जारी कर दी गई है।

By Umesh TiwariEdited By: Publish:Sun, 03 May 2020 10:52 PM (IST) Updated:Mon, 04 May 2020 12:58 AM (IST)
Lockdown 3 : राहत के कदमों में रहेंगी शर्तों की सख्त बेड़ियां, हर जिले में तैनात होंगे इंसीडेंट कमांडर
Lockdown 3 : राहत के कदमों में रहेंगी शर्तों की सख्त बेड़ियां, हर जिले में तैनात होंगे इंसीडेंट कमांडर

लखनऊ, जेएनएन। Lockdown 3 : आमजन की परेशानी को देखते हुए उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने लॉकडाउन-3 में तमाम सहूलियतों का रास्ता खोल दिया है। चूंकि, कोरोना संक्रमण का खतरा अभी टला नहीं है, इसलिए राहत के इन कदमों में शर्तों की भी सख्त बेड़ियां डाल दी गई हैं। अंदाजा इससे लगा सकते हैं कि अब उत्तर प्रदेश में सार्वजनिक स्थल पर थूकना भी अपराध माना जाएगा।

उत्तर प्रदेश सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन का पालन कराने के लिए हर जिले में जिलाधिकारी द्वारा इंसीडेंट कमांडर की भी तैनाती की जाएगी। लॉकडाउन के तीसरे चरण के लिए जारी गाइडलाइन के साथ ही मुख्य सचिव आरके तिवारी ने आदेश जारी किए हैं कि सभी जिलाधिकारी राष्ट्रीय निर्देशों का पालन कराएंगे। रोकथाम के उपायों को लागू करने के लिए इंसीडेंट कमांडर की तैनाती करेंगे।

इंसीडेंट कमांडर अपने क्षेत्राधिकार में उपायों को लागू कराने के उत्तरदायी होंगे। सभी लाइन डिपार्टमेंट के अधिकारी इंसीडेंट कमांडर के दिशा-निर्देशन में काम करेंगे। आने-जाने संबंधी या अन्य जरूरी पास भी यही कमांडर जारी करेंगे। आदेश में कहा गया है कि लॉकडाउन के दिशा निर्देशों का उल्लंघन करने पर किसी भी व्यक्ति के विरुद्ध आपदा प्रबंधन अधिनियम के प्रावधानों के तहत कार्रवाई की जाएगी।

सार्वजनिक स्थल पर रखें ख्याल

फेसकवर-मास्क लगाना अनिवार्य। कोई भी संगठन-आयोजक सार्वजनिक स्थल पर एक साथ पांच से अधिक व्यक्तियों को इकट्ठा नहीं होने देगा। शादी में बीस से अधिक लोग शामिल नहीं होंगे। इसके लिए भी अनुमति लेनी होगी। अंतिम संस्कार में भी शारीरिक दूरी का पालन करना होगा। बीस से अधिक लोगों को जाने की अनुमति नहीं। सार्वजनिक स्थानों पर थूकना जुर्माने के साथ दंडनीय होगा। शराब पीना, पान का सेवन प्रतिबंधित। इनकी दुकानों पर छह फीट की शारीरिक दूरी रखनी होगी और एक बार में पांच से अधिक व्यक्ति एकत्र नहीं होंगे।

कार्यस्थल के शर्तें फेसकवर-मास्क अनिवार्य, इनका पर्याप्त स्टॉक होना चाहिए। दो शिफ्ट के बीच करीब एक घंटे का अंतर रखना होगा। भोजनावकाश में भी न जुटे भीड़। प्रवेश-निकासी और कॉमन प्लेस पर थर्मल स्कैनिंग, हैंडवॉश, सैनिटाइजर की व्यवस्था हो। सभी कार्मिकों के लिए आरोग्य सेतु एप का इस्तेमाल अनिवार्य। बैठकों पर प्रतिबंध रहेगा। कर्मियों-श्रमिकों के लिए चिकित्सा बीमा अनिवार्य होगा।

इन्हें रहेगी राहत

ग्रामीण क्षेत्र में सभी प्रकार की निर्माण गतिविधियां अनुमन्य। बस डिपो 50 फीसद क्षमता के साथ चल सकेंगे। जिन गतिविधियों को पहले अनुमति दी जा चुकी है, उन्हें दोबारा अनुमति की जरूरत नहीं। माल-वस्तुओं के अंतरराज्यीय परिवहन हो सकेगा। इसमें खाली ट्रक भी शामिल हैं। पड़ोसी देशों के साथ संधियों के अनुरूप अंतरराष्ट्रीय सीमा पार माल परिवहन की अनुमति होगी।

ऐसे निर्धारित होंगे कंटेनमेंट जोन

एक पॉजिटिव केस मिलने पर... शहरी क्षेत्र में संबंधित आवासीय कॉलोनी, मोहल्ला, वार्ड की प्रशासनिक सीमा के अंतर्गत न्यूनतम चार सौ मीटर तक। ग्रामीण क्षेत्र में संबंधित राजस्व गांव। एक से अधिक केस मिलने पर... शहरी क्षेत्र में संबंधित आवासीय कॉलोनी, मोहल्ला, वार्ड, खंड की प्रशासनिक सीमा या अधिकतम एक किलोमीटर का क्षेत्र। ग्रामीण क्षेत्र में संबंधित राजस्व गांव का एक किलोमीटर का दायरा।

क्या है कंटेनमेंट एरिया

वैसे तो केंद्र सरकार ने कोरोना वायरस को रोकने के लिए कंटेनमेंट एरिया तय करने का अधिकार स्थानीय प्रशासन पर छोड़ दिया है, लेकिन वह शहरी इलाके में किसी बिल्डिंग से छोटा और पूरे शहर से बड़ा नहीं हो सकता है। सुविधानुसार प्रशासन किसी मोहल्ले, थाना या निगम के एरिया को कंटेनमेंट एरिया घोषित कर सकता है। इसी तरह ग्रामीण इलाके में यह कम-से-कम पूरा गांव और अधिक-से-अधिक एक ब्लॉक तक हो सकता है। कंटेनमेंट एरिया में रहने वाले सभी लोगों के लिए आरोग्य सेतु एप का मोबाइल में डाउनलोड करना होगा, ताकि कोरोना के फैलने की आशंकाओं पर कड़ी नजर रखी जा सके।

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