महिलाओं को आराम, पुरुष संभाल रहे घर का काम

कुशीनगर में लॉकडाउन की घोषणा कर दी गई है। लॉकडाउन का असर लोगों की दिनचर्या पर साफ दिख रहा है। लोग समय बिताने के लिए रसोई का काम संभाल रहे। कई महिलाएं तो बच्चों की जिम्मेदारी भी पुरुषों को सौंप घर के अन्य जरूरी काम कर रही हैं।

By JagranEdited By: Publish:Thu, 26 Mar 2020 11:25 PM (IST) Updated:Fri, 27 Mar 2020 06:03 AM (IST)
महिलाओं को आराम, पुरुष संभाल रहे घर का काम
महिलाओं को आराम, पुरुष संभाल रहे घर का काम

कुशीनगर : कुशीनगर में लॉकडाउन की घोषणा कर दी गई है। लॉकडाउन का असर लोगों की दिनचर्या पर साफ दिख रहा है। लोग समय बिताने के लिए रसोई का काम संभाल रहे। कई महिलाएं तो बच्चों की जिम्मेदारी भी पुरुषों को सौंप घर के अन्य जरूरी काम कर रही हैं।

श्रीनाथ संस्कृत महाविद्यालय हाटा के प्रबंधक अग्निवेश मणि महाविद्यालय की देख-रेख के बाद अपना समय समाज सेवा में बिताते हैं। वैश्विक महामारी कोरोना के संक्रमण से बचाव को लेकर बुधवार को लॉकडाउन की घोषणा के बाद घर पर रह कर ही समय बिता रहे हैं। परिवार में मां विद्यावती देवी के अलावे पत्नी विजयलक्ष्मी व तीन बच्चे हैं। विजयलक्ष्मी नौ दिन की उपासना का संकल्प लिए व्रत हैं और घर में कलश स्थापित कर हवन-पूजन कर रहीं हैं। पूजन-अर्चन कर आज सुबह साढ़े दस बजे जब वह पूजा घर से बाहर निकलीं तो पति को चाय बनाते देख हंस पड़ीं। मणि ने कहा कि अक्सर सुबह निकलने के बाद देर रात ही घर लौटना होता हैं। ऐसे में मौका नहीं मिलता। लॉकडाउन में घर में रहकर किचन के काम में हाथ बंटाना अच्छा लग रहा है। अविनाश शुक्ल व उनकी पत्नी नीलम शुक्ला दोनों सरकारी शिक्षक हैं। स्कूल से आने के बाद अविनाश चाचा उमापति शुक्ल की देख-रेख के अलावे घर की जिम्मेदारियों को निभाने में लगे रहते हैं। लॉकडाउन के चलते अब दिनर्चया पूरी तरह बदल गई है। गुरुवार सुबह पत्नी को बेटे कुशाग्र में व्यस्त देखा तो खुद ही किचन में तहरीर बनाने लगे। अविनाश कहते हैं कि किचन का काम हमेशा नीलम ही करती है। घर पर रहने का मौका मिला है तो उसका हांथ बंटाने की कोशिश कर रहा हूं।

chat bot
आपका साथी