यात्रीगण कृपया ध्‍यान दें...रेलवे से विदा हो गई सरला की सुरीली आवाज Gorakhpur News

यात्रीगण कृपया ध्यान दें... की नींव वर्ष 1991 में पड़ी थी। यह मधुर आवाज रेलकर्मी सरला चौधरी की थी। रेलवे में उनकी तैनाती 1982 में एक उद्घोषक के रूप में हुई थी। 1986 में उन्हें स्थ

By Satish ShuklaEdited By: Publish:Sat, 21 Sep 2019 07:38 PM (IST) Updated:Sun, 22 Sep 2019 03:30 PM (IST)
यात्रीगण कृपया ध्‍यान दें...रेलवे से विदा हो गई सरला की सुरीली आवाज Gorakhpur News
यात्रीगण कृपया ध्‍यान दें...रेलवे से विदा हो गई सरला की सुरीली आवाज Gorakhpur News

गोरखपुर, जेएनएन। रेलवे स्टेशनों से दूर खड़े लोगों तक पहुंचने वाली खनखनाती आवाज यात्रीगण कृपया ध्यान दें... अब नहीं सुनाई पड़ेगी। भारतीय रेलवे में अब सरला चौधरी की सुरीली आवाज विदा हो गई है। अब यात्रियों को दमदार आवाज में ट्रेनों की जानकारी मिलेगी। यह आवाज ख्यातिलब्ध उद्घोषक हरीश भिमानी की होगी, जो आम जन के दिलों तक पहुंचेगी। यह वही हरीश हैं जिनकी आवाज मैं समय हूं... को सुनने के लिए लोग घंटो पहले टीवी के सामने बैठ जाते थे। सर्वाधिक लोकप्रिय टीवी सीरियलों में शामिल महाभारत में आवाज देकर वह काफी लोकप्रिय हुए थे।

स्टेशनों पर अपग्रेड हो रहा ट्रेन मैनेजमेंट सिस्टम

भारतीय रेलवे के स्टेशनों पर ट्रेन मैनेजमेंट सिस्टम (टीएमएस) को अपग्रेड किया जा रहा है। जिसमें स्टेशन परिसर में अति आधुनिक घोषणा उपकरण और डिस्प्ले बोर्ड लगाए जा रहे हैं। नए सिस्टम को लगाने की जिम्मेदारी बेंगलुरु की एक निजी संस्था को दी गई है। गोरखपुर में सिस्टम लगा रहे संस्था के सुपरवाइजर इमरान के अनुसार महाभारत फेम हरीश भिमानी की आवाज रिकार्ड की गई है। प्रथम चरण में भारतीय रेलवे के समस्त प्रमुख स्टेशनों पर नया सिस्टम लगाया जाएगा। छोटे स्टेशनों पर पुरानी आवाज ही गूंजती रहेगी। द्वितीय चरण में छोटे स्टेशनों को भी नए सिस्टम से जोड़ दिया जाएगा। फिलहाल, पूर्वोत्तर रेलवे के गोरखपुर और लखनऊ में यह सिस्टम कार्य करने लगा है। वाराणसी में प्रक्रिया चल रही है। इसके अलावा आगरा, मथुरा, जयपुर और जोधपुर आदि स्टेशनों पर हरीश भिमानी की दमदार आवाज गूंजने लगी है।

1991 में पड़ी थी यात्रीगण, कृपया ध्यान दें...की नींव

यात्रीगण कृपया ध्यान दें... की नींव वर्ष 1991 में पड़ी थी। यह मधुर आवाज रेलकर्मी सरला चौधरी की थी।  रेलवे में उनकी तैनाती 1982 में एक उद्घोषक के रूप में हुई थी। 1986 में उन्हें स्थाई कर दिया गया। वह आल इंडिया रेडियो से भी जुड़ी थीं। पिछले वर्ष तक वह मुंबई स्थित कल्याण स्टेशन पर कार्यालय अधीक्षक के पद पर तैनात रहीं। वर्ष 1991 तक तैनात रेलकर्मी ही अपनी आवाज में ट्रेनों आदि की जानकारी देते थे। 

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